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अफगानिस्तान से सेना वापसी के बाद पहली बार तालिबान से बातचीत करेगा अमेरिका

अफगानिस्तान से अपनी सेना हटाने के बाद पहली बार अमेरिका ने तालिबान के साथ बैठक करेगा. कतर की राजधानी दोहा में होने वाली बैठक में कई मुद्दों पर विचार-विमर्श किया जाएगा.

अफगानिस्तान
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Published : Oct 9, 2021, 7:47 AM IST

Updated : Oct 9, 2021, 11:30 AM IST

वॉशिंगटन/काबुल : अफगानिस्तान से अपनी सेना हटाने के बाद पहली बार अमेरिका ने तालिबान के साथ बैठक करने की घोषणा की है. अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी है कि तालिबान के वरिष्ठ नेताओं के साथ अमेरिका अपनी पहली व्यक्तिगत बातचीत करेगा. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह बैठक शनिवार और रविवार को कतर की राजधानी दोहा में होगी.

इस बैठक का फोकस अफगानिस्तान के तालिबानी नेताओं से इस बात पर मुहर लगवानी है कि वे अमेरिकियों और अन्य विदेशी नागरिकों को अफगानिस्तान से सुरक्षित निकासी की इजाजत देंगे. इनमें वे अफगान के नागरिक भी होंगे जिन्होंने काबुल में अमेरिकी सेना के लिए काम किया है.

ये भी पढ़ें - अफगानिस्तान मस्जिद विस्फोट : 100 से अधिक लोगों के मारे जाने की आशंका, IS ने ली हमले की जिम्मेदारी

अगस्त में तालिबान ने अफगानिस्तान की राजधानी काबुल पर कब्जा कर लिया था. इसके बाद अमेरिका ने अफगानिस्तान से अपने सैनिकों को वापस बुला लिया था. अब ये पहली बार होगा, जब अमेरिका और तालिबान आमने-सामने मुलाकात करेंगे.

अमेरिकी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने एएफपी के हवाले से कहा, 'हम महिलाओं सहित सभी अफगानों के अधिकारों का सम्मान करने और व्यापक समर्थन के साथ एक समावेशी सरकार बनाने के लिए तालिबान पर दबाव डालेंगे. क्योंकि अफगानिस्तान एक गंभीर आर्थिक संकुचन और संभावित मानवीय संकट की संभावना का सामना कर रहा है.' हालांकि अमेरिका ने ये जोर देकर कहा कि संयुक्त राज्य अमेरिका अफगानिस्तान में तालिबान शासन को मान्यता नहीं दे रहा है.

वॉशिंगटन/काबुल : अफगानिस्तान से अपनी सेना हटाने के बाद पहली बार अमेरिका ने तालिबान के साथ बैठक करने की घोषणा की है. अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी है कि तालिबान के वरिष्ठ नेताओं के साथ अमेरिका अपनी पहली व्यक्तिगत बातचीत करेगा. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह बैठक शनिवार और रविवार को कतर की राजधानी दोहा में होगी.

इस बैठक का फोकस अफगानिस्तान के तालिबानी नेताओं से इस बात पर मुहर लगवानी है कि वे अमेरिकियों और अन्य विदेशी नागरिकों को अफगानिस्तान से सुरक्षित निकासी की इजाजत देंगे. इनमें वे अफगान के नागरिक भी होंगे जिन्होंने काबुल में अमेरिकी सेना के लिए काम किया है.

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अगस्त में तालिबान ने अफगानिस्तान की राजधानी काबुल पर कब्जा कर लिया था. इसके बाद अमेरिका ने अफगानिस्तान से अपने सैनिकों को वापस बुला लिया था. अब ये पहली बार होगा, जब अमेरिका और तालिबान आमने-सामने मुलाकात करेंगे.

अमेरिकी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने एएफपी के हवाले से कहा, 'हम महिलाओं सहित सभी अफगानों के अधिकारों का सम्मान करने और व्यापक समर्थन के साथ एक समावेशी सरकार बनाने के लिए तालिबान पर दबाव डालेंगे. क्योंकि अफगानिस्तान एक गंभीर आर्थिक संकुचन और संभावित मानवीय संकट की संभावना का सामना कर रहा है.' हालांकि अमेरिका ने ये जोर देकर कहा कि संयुक्त राज्य अमेरिका अफगानिस्तान में तालिबान शासन को मान्यता नहीं दे रहा है.

Last Updated : Oct 9, 2021, 11:30 AM IST
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