दिल्ली: खनन पट्टा और सेल कंपनी मामले में आज (4 अगस्त) को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में सुनवाई हुई. कोर्ट में हेमंत सोरेन के अधिवक्ता ने अपनी दलील में बताया कि जबरन वसूली मामले में अधिवक्ता खुद गिरफ्तार हो गए हैं. सुनवाई के बाद कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 12 अगस्त की तिथि निर्धारित की है.
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क्या है पूरा मामला: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Chief Minister Hemant Soren) पर पद का दुरुपयोग करते हुए अपने नाम से खनन पट्टा (Mining Lease) लेने के मामले में याचिकाकर्ता शिव शंकर शर्मा ने झारखंड हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर कर मामले की जांच की मांग की है. दोषी पाए जाने पर उनकी सदस्यता रद्द करने की मांग की है.
हेमंत सोरेन के खिलाफ शिव शंकर शर्मा द्वारा दायर जनहित याचिका (Public interest litigation) सुनवाई योग्य नहीं है. यह कहते हुए हेमंत सोरेन की ओर से सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है. उन्होंने याचिका के माध्यम से यह आरोप लगाया है कि यह जनहित याचिका जनहित का नहीं है. राजनीतिक विद्वेष से दायर किया गया याचिका है. इसलिए यह जनहित याचिका नहीं है. यह सुनवाई के योग्य नहीं है. झारखंड हाई कोर्ट ने मामले को जनहित याचिका मानते हुए सुनवाई शुरू कर दी. इसके बाद हेमंत सोरेन की ओर से सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई. उसी याचिका पर सुनवाई होनी है.