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पारा टीचर मामले में सुदेश महतो के सवाल पर बोले CM, कहा- प्रशासनिक सुधार आयोग की अनुशंसा के बाद होगा समाधान - झारखंड बजट सत्र

रांची में चल रहे झारखंड विधानसभा सत्र के 12 वें दिन भी सदन शुरू होते ही विपक्षों का हंगामा देखने को मिला. दरअसल आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो ने पारा टीचर मामले में सवाल उठाए. जिसका सीएम हेमंत सोरेन ने जवाब देते हुए कहा कि प्रशासनिक सुधार आयोग की अनुशंसा के बाद समाधान होगा.

Sudesh Mahato raised questions on para teacher case in ranchi
सुदेश के सवाल पर सीएम का जवाब
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Published : Mar 19, 2020, 3:05 PM IST

रांची: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने गुरुवार को कहा कि सरकार पारा टीचर की समस्या को लेकर गंभीर है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ओर बनाए गए प्रशासनिक सुधार आयोग की जो भी अनुशंसा इस बाबत आएगी उसके बाद पारा शिक्षकों के नियमितीकरण और स्थायीकरण को लेकर कोई निर्णय लिया जाएगा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने प्रशासनिक सुधार आयोग बनाया है. यह आयोग तय करेगा कि जिन-जिन विभागों में जरूरत होगी, वहां कर्मचारी तैनात किए जाएंगे. इसके साथ ही जिन विभागों में कर्मचारी बेकार बैठे हैं, उन्हें दूसरे विभागों में शिफ्ट किया जाएगा. उन्होंने कहा कि कई विभाग ऐसे जिसमें लोग बेकार है.

पारा टीचर मामले में सुदेश महतो ने मांगा जवाब
आजसू सुप्रीमो ने उठाया सवालआजसू सुप्रीमो सुदेश कुमार महतो ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव दिया था. जिसमें यह स्पष्ट रूप से पूछा गया था कि राज्य सरकार पारा टीचरों के स्थायीकरण और नियमितीकरण को लेकर क्या करने जा रही है. हालांकि मुख्यमंत्री से पहले राज्य के शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने जवाब देते हुए कहा कि सरकार इस मामले में काफी गंभीर है और नियमावली बनाने के लिए एक समिति भी बनी है. उन्होंने कहा कि चूंकि हाईकोर्ट में इससे जुड़ा मामला चल रहा है और लगभग 150 केस हैं. उन्होंने कहा कि पिछली सरकार ने पारा शिक्षकों पर लाठियां बरसाईं उनकी सरकार ऐसा कुछ भी नहीं करने जा रही है.
सीएम हेमंत ने सुदेश महतो के सवाल का दिया जवाब

ये भी पढे़ं- विधानसभा सत्रः भूख से मौत के मामले में विपक्ष का सरकार पर हमला, 10 लाख का मुआवजा देने की मांग


गैर मजरुआ जमीन घोटाले का भी उठाया सवाल
वहीं, आजसू पार्टी के लंबोदर महतो के प्रोविडेंट फंड में घालमेल से जुड़े सवाल पर मामला ध्यानाकर्षण समिति को हैंडोवर कर दिया गया. बीजेपी के जेपी पटेल ने गैरमजरूआ जमीन में फर्जीवाड़े का मामला उठाया. उन्होंने कहा कि सरकार ने भी इस बात को स्वीकार किया है. इस बाबत असेंबली की एक विशेष समिति बननी चाहिए. इस पर मंत्री महतो ने कहा कि जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया में लोगों को नौकरी और मुआवजा दिया गया है. जिसकी पूरी सूची है. उन्होंने कहा कि कानून के आधार पर निर्णय किया गया है. उन्होंने कहा कि अगर गलत पेपर बनाकर किसी ने मुआवजा लिया होगा तो वैसे शख्स के खिलाफ की सरकार कार्रवाई करेगी, साथ ही दोषी अधिकारियों को भी नहीं बख्शा जाएगा.

रांची: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने गुरुवार को कहा कि सरकार पारा टीचर की समस्या को लेकर गंभीर है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ओर बनाए गए प्रशासनिक सुधार आयोग की जो भी अनुशंसा इस बाबत आएगी उसके बाद पारा शिक्षकों के नियमितीकरण और स्थायीकरण को लेकर कोई निर्णय लिया जाएगा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने प्रशासनिक सुधार आयोग बनाया है. यह आयोग तय करेगा कि जिन-जिन विभागों में जरूरत होगी, वहां कर्मचारी तैनात किए जाएंगे. इसके साथ ही जिन विभागों में कर्मचारी बेकार बैठे हैं, उन्हें दूसरे विभागों में शिफ्ट किया जाएगा. उन्होंने कहा कि कई विभाग ऐसे जिसमें लोग बेकार है.

पारा टीचर मामले में सुदेश महतो ने मांगा जवाब
आजसू सुप्रीमो ने उठाया सवालआजसू सुप्रीमो सुदेश कुमार महतो ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव दिया था. जिसमें यह स्पष्ट रूप से पूछा गया था कि राज्य सरकार पारा टीचरों के स्थायीकरण और नियमितीकरण को लेकर क्या करने जा रही है. हालांकि मुख्यमंत्री से पहले राज्य के शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने जवाब देते हुए कहा कि सरकार इस मामले में काफी गंभीर है और नियमावली बनाने के लिए एक समिति भी बनी है. उन्होंने कहा कि चूंकि हाईकोर्ट में इससे जुड़ा मामला चल रहा है और लगभग 150 केस हैं. उन्होंने कहा कि पिछली सरकार ने पारा शिक्षकों पर लाठियां बरसाईं उनकी सरकार ऐसा कुछ भी नहीं करने जा रही है.
सीएम हेमंत ने सुदेश महतो के सवाल का दिया जवाब

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गैर मजरुआ जमीन घोटाले का भी उठाया सवाल
वहीं, आजसू पार्टी के लंबोदर महतो के प्रोविडेंट फंड में घालमेल से जुड़े सवाल पर मामला ध्यानाकर्षण समिति को हैंडोवर कर दिया गया. बीजेपी के जेपी पटेल ने गैरमजरूआ जमीन में फर्जीवाड़े का मामला उठाया. उन्होंने कहा कि सरकार ने भी इस बात को स्वीकार किया है. इस बाबत असेंबली की एक विशेष समिति बननी चाहिए. इस पर मंत्री महतो ने कहा कि जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया में लोगों को नौकरी और मुआवजा दिया गया है. जिसकी पूरी सूची है. उन्होंने कहा कि कानून के आधार पर निर्णय किया गया है. उन्होंने कहा कि अगर गलत पेपर बनाकर किसी ने मुआवजा लिया होगा तो वैसे शख्स के खिलाफ की सरकार कार्रवाई करेगी, साथ ही दोषी अधिकारियों को भी नहीं बख्शा जाएगा.

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