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झारखंड विधानसभा चुनाव 2019: सरयू राय का दावा, 3 चरण के मतदान में 15 सीट भी नहीं जीतेगी बीजेपी

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Published : Dec 13, 2019, 3:30 PM IST

बीजेपी से सरयू राय ने इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने बीजेपी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि झारखंड विधानसभा चुनाव के 3 चरणों में बीजेपी 15 सीटें भी नहीं ला पाएगी.

Saryu Rai said that BJP will not win even 15 seats in 3 phase polling in jharkhand
सरयू राय

रांची: प्रदेश कि मौजूदा रघुवर दास सरकार में मंत्री रहे और बीजेपी के कद्दावर नेता सरयू राय ने दावा किया है कि विधानसभा चुनाव के 3 चरणों में बीजेपी 15 सीटें भी नहीं ला पाएगी. उन्होंने शुक्रवार को कहा कि बड़ी मुश्किल से बीजेपी 10 का आंकड़ा ला पाए तो यह उपलब्धि होगी. तीनों चरणों में कुल 50 सीटों पर मतदान हुआ है, जबकि चौथे और पांचवें चरण में बाकी की 31 सीटों पर मतदान होना है.

वीडियो में देखें पूरी खबर

उन्होंने कहा कि दरअसल बीजेपी अपने प्रतिद्वंद्वियों को तुच्छ समझती है. शायद पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को ऐसा लगता है कि उनके सामने खड़े लोगों में मजबूती नहीं है. यही वजह है कि चुनाव प्रचार के दौरान उन्होंने किसी भी विरोधी प्रत्याशी का नाम तक नहीं लिया.

ये भी पढ़ें- CAB, 2019 को राष्ट्रपति ने मंजूरी दी, कानून बनने पर जानें प्रतिक्रियाएं

वित्त विभाग की जगह महिला आयोग में हुई शिकायत
उन्होंने बताया कि उन्हें जानकारी मिली है कि जमीन संबंधी मामले को लेकर एक महिला आयोग पहुंची हैं. उन्होंने कहा कि हैरत की बात है कि उस महिला को रेवेन्यू डिपार्टमेंट में शिकायत दर्ज करानी चाहिए थी. महिला आयोग इस मामले में भला क्या निर्णय दे सकता है.

आयोग की अध्यक्ष पर साधा निशाना
वहीं, महिला आयोग की अध्यक्ष के ऊपर पलटवार करते हुए उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार के दौरान आयोग की अध्यक्ष ने उनके खिलाफ प्रचार किया. इस बात के प्रमाण भी हैं. उन्होंने कहा कि हैरत की बात यह है कि संवैधानिक संस्था के पद पर रहते हुए कोई व्यक्ति ऐसा कैसे कर सकता है. वहीं, लोकसभा और राज्यसभा से पास हुए सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल, 2019 को लेकर राय ने कहा कि इस मामले में सरकार को पहले जनमत संग्रह कराना चाहिए था.

रांची: प्रदेश कि मौजूदा रघुवर दास सरकार में मंत्री रहे और बीजेपी के कद्दावर नेता सरयू राय ने दावा किया है कि विधानसभा चुनाव के 3 चरणों में बीजेपी 15 सीटें भी नहीं ला पाएगी. उन्होंने शुक्रवार को कहा कि बड़ी मुश्किल से बीजेपी 10 का आंकड़ा ला पाए तो यह उपलब्धि होगी. तीनों चरणों में कुल 50 सीटों पर मतदान हुआ है, जबकि चौथे और पांचवें चरण में बाकी की 31 सीटों पर मतदान होना है.

वीडियो में देखें पूरी खबर

उन्होंने कहा कि दरअसल बीजेपी अपने प्रतिद्वंद्वियों को तुच्छ समझती है. शायद पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को ऐसा लगता है कि उनके सामने खड़े लोगों में मजबूती नहीं है. यही वजह है कि चुनाव प्रचार के दौरान उन्होंने किसी भी विरोधी प्रत्याशी का नाम तक नहीं लिया.

ये भी पढ़ें- CAB, 2019 को राष्ट्रपति ने मंजूरी दी, कानून बनने पर जानें प्रतिक्रियाएं

वित्त विभाग की जगह महिला आयोग में हुई शिकायत
उन्होंने बताया कि उन्हें जानकारी मिली है कि जमीन संबंधी मामले को लेकर एक महिला आयोग पहुंची हैं. उन्होंने कहा कि हैरत की बात है कि उस महिला को रेवेन्यू डिपार्टमेंट में शिकायत दर्ज करानी चाहिए थी. महिला आयोग इस मामले में भला क्या निर्णय दे सकता है.

आयोग की अध्यक्ष पर साधा निशाना
वहीं, महिला आयोग की अध्यक्ष के ऊपर पलटवार करते हुए उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार के दौरान आयोग की अध्यक्ष ने उनके खिलाफ प्रचार किया. इस बात के प्रमाण भी हैं. उन्होंने कहा कि हैरत की बात यह है कि संवैधानिक संस्था के पद पर रहते हुए कोई व्यक्ति ऐसा कैसे कर सकता है. वहीं, लोकसभा और राज्यसभा से पास हुए सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल, 2019 को लेकर राय ने कहा कि इस मामले में सरकार को पहले जनमत संग्रह कराना चाहिए था.

Intro:रांची। प्रदेश कि मौजूदा रघुवर दास सरकार में मंत्री रहे और बीजेपी के कद्दावर नेता सरयू राय ने दावा किया कि विधानसभा चुनाव के तीन चरणों में भाजपा 15 सीटें भी नहीं ला पाएंगी। उन्होंने शुक्रवार को कहा कि बड़ी मुश्किल से बीजेपी 10 का आंकड़ा ला पाए तो यह उपलब्धि होगी। दरअसल तीनों चरणों में कुल 50 सीटों पर मतदान हुआ है। जबकि चौथे और पांचवें चरण में बाकी की 31 सीटों पर मतदान होना है।

प्रतिद्वंदियों को तुच्छ समझती है बीजेपी
उन्होंने कहा कि दरअसल बीजेपी अपने प्रतिद्वंद्वियों को तुच्छ समझती है। संभवतः पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को ऐसा लगता है कि उनके सामने खड़े लोग में मजबूती नहीं है। यही वजह है कि चुनाव प्रचार के दौरान उन्होंने किसी भी विरोधी प्रत्याशी का नाम तक नहीं लिया।


Body:वित्त विभाग की जगह महिला आयोग में में हुई शिकायत
महिला आयोग में अपने खिलाफ शिकायत के संबंध में उन्होंने बताया कि उन्हें भी इस बात की जानकारी मिली है कि जमीन संबंधी मामले को लेकर एक महिला, आयोग पहुंची है। उन्होंने कहा कि हैरत की बात यह है कि उस महिला को रेवेन्यू डिपार्टमेंट में शिकायत दर्ज करानी चाहिए थी। महिला आयोग इस मामले में भला क्या निर्णय दे सकता है।

आयोग की अध्यक्ष पर साधा निशाना
वहीं महिला आयोग की अध्यक्ष के ऊपर पलटवार करते हुए उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार के दौरान आयोग की अध्यक्ष ने उनके खिलाफ प्रचार किया। इस बात के प्रमाण भी हैं। उन्होंने कहा कि हैरत की बात यह है कि संवैधानिक संस्था के पद पर रहते हुए कोई व्यक्ति ऐसा नहीं कर सकता।


Conclusion:जबकि झारखंड महिला आयोग के अध्यक्ष ने बाकायदा गले में पार्टी का पट्टा लटका कर सत्ता पक्ष के समर्थन में प्रचार किया है उन्होंने कहा कि इस बात की शिकायत भी की गई थी।
वहीं लोकसभा और राज्यसभा से पास हुए सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल, 2019 को लेकर राय ने कहा कि इस मामले में सरकार को पहले जनमत संग्रह कराना चाहिए था।
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