रांची: रिम्स के डॉक्टरों का चमत्कार एक बार फिर दिखा है. अस्पताल के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है जब 4 महीने की बच्ची जिसके दिल में सुराख (Patent Ductus Arteriosus) था उसका सफलता पूर्वक ऑपरेशन किया गया. डॉक्टरों की इस सफल ऑपरेशन के बाद बच्ची को नया जीवन मिला है.
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काफी सीरियस थी बच्ची: पश्चिमी बंगाल के पुरुलिया की रहने वाली पार्वती मोदी की चार महीने की बच्ची जिसका वजन मात्र ढाई किलो था. ऑपेशन से पहले हालत काफी सीरियस हालत में थी. बच्ची को सांस को लेने के लिए प्रति मिनट 2 लीटर ऑक्सीजन की जरूरत पड़ रही थी. बच्ची के शरीर में खून की भी काफी कमी थी. ऐसी हालत में बच्ची को रिम्स में भर्ती किया गया.
रिम्स से पहले जमशदेपुर में थी भर्ती:बता दें कि कि बच्ची रिम्स में भर्ती होने से पहले नारायणा हृदयालय जमशेदपुर में भर्ती थी. वहां ऑपरेशन नहीं हो पाने की स्थिति में उसके परिजन रांची के रिम्स के शिशु रोग विभाग लेकर आए. वहां से फिर बच्ची को कार्डियक सर्जरी विभाग में रेफर किया गया. बच्ची की जांच के बाद पता चला कि उसके दिल में सुराख है. जिस वजह से फेफड़े का प्रेशर काफी बढ़ गया था. इस बीमारी की वजह से बच्ची का वजन भी नहीं बढ़ रहा था.
काफी चुनौती भरा था ऑपरेशन:रिम्स के डॉक्टर राकेश चौधरी के मुताबिक ढाई किलो वजन के बच्चे का ऑपरेशन करना निश्चित रूप से एक चुनौती था. लेकिन रिम्स के डॉक्टरों की काबिलियत और उनके जज्बे ने इस चुनौती पूर्ण ऑपरेशन को सफल बनाया.
ऑपरेशन में इनका रहा योगदान: बच्ची के ऑपरेशन में डॉक्टर राकेश चौधरी कार्डियक सर्जन रिम्स के नेतृत्व में सीनियर रेसीडेन्ट सर्जन डॉक्टर संजय, जूनियर रेसिडेंट डॉक्टर कृतिका की मदद से किया गया. ऑपरेशन को सफल बनाने में डॉ मुकेश, डॉ नितेश, डॉ खुशबू, डॉ अमित, डॉ अश्विनी, अमित कुमार सिंह, ओटी असिस्टेंट शमीम, राजेन्द्र ,उपेन्द्र, गोल्डी व प्रीति की अहम भुमिका रही.