रांचीः राजधानी में आदतन अपराध करने वालों पर अब पुलिस लगातार नजर रखेगी. इसके लिए थानों की गुंडा सूची को अपडेट करने का काम किया जा रहा है. इस गुंडा सूची में पॉकेटमार से लेकर गैंगस्टर के नाम तक शामिल किए जा रहे हैं.
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अपराध पर ब्रेक लगाने की कोशिश
शहर में बढ़ते अपराध पर अंकुश लगाने के लिए अब हर थानों में नए सिरे से गुंडा सूची तैयार की जाएगी. इस सूची में वैसे लोगों के नाम शामिल किए जाएंगे. जिन पर दंगा फैलाने, मारपीट, छेड़खानी, ड्रग्स आदि के मामले थानों में दर्ज हैं. सूची तैयार करने के बाद उसे आधार मान कर बदमाशों पर पुलिस निगरानी करेगी. संदिग्ध पाए जाने पर उनसे प्रत्येक दिन थाना में हाजिरी भी लगवायी जाएगी. हाजिरी नहीं लगाने वाले अपराधियों पर मुकदमा भी दर्ज किया जा सकता है.
काम हुआ शुरू, तस्वीर भी लगाई जाएगी
रांची के सिटी एसपी सौरभ के अनुसार शहर के थानेदारों ने सूची तैयार करने की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी है. इसमें पहले से तैयार सूची में अंकित अपराधियों की भी जानकारी इक्ट्ठा की जा रही है. यह पता किया जा रहा है कि वर्तमान में उन पर कोई मुकदमा दर्ज है कि नहीं. अगर दर्ज है तो उसे भी गुंडा सूची में डाला जाएगा. सूची के साथ अपराधियों की तस्वीर भी लगायी जाएगी.
अलग-अलग बनेगी सूची
मारपीट और दंगा फैलाने वाले लोगों की सूची अलग से तैयार की जाएगी. वहीं हत्या, लूट, छिनतई आदि मामलों में शामिल अपराधियों की अलग सूची बनेगी. सूची में अपराधियों के अपराध और उन पर कितने मामले दर्ज हैं, वे सभी अंकित किए जाएंगे.
शराब कारोबारियों को लगानी होगी हाजिरी
सिटी एसपी ने बताया कि पांच साल के भीतर जितने भी अवैध शराब कारोबारियों का गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है. उनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल हो चुकी है. वैसे सभी का नाम गुंडा सूची में डाला जाएगा. थानेदारों को अवैध शराब कारोबारियों पर निगरानी रखने का भी निर्देश दिया गया है. यह भी कहा गया है कि अगर उनके खिलाफ फिर से शराब का कारोबार करने की शिकायत मिले तो उनसे थाना हाजिरी लगवायी जाए.
थानों में नहीं है मवालियों की सूची
शहर के किसी भी थानों में मारपीट, दंगा फैलाने आदि मामले से जुड़े लोगों की सूची नहीं है. सिटी एसपी ने बताया कि सूची नहीं होने की वजह से वही लोग दंगा भड़काते हैं. सूची बनने से ऐसे लोग चिहिन्त होंगे और दंगा भड़का भी नहीं पाएंगे.
नए थानेदारों को भी होगी आसानी
वहीं पुलिस का यह भी मानना है कि जब हर थाने में गुंडा सूची तैयार कर ली जाएगी, तब अगर कोई नया थानेदार थाने में आता है तो उसे भी अपराधियों के बारे में तुरंत पूरी जानकारी मिल पाएगी. फायदा यह भी होगा कि अगर इलाके में कोई अपराध होता है तब उस तरह के अपराध करने वाले अपराधियों को थाने लाकर पूछताछ की जा सकती है. इससे मामलों को सुलझाने में पुलिस को काफी हद तक मदद मिलेगी.