रांची: झारखंड कांग्रेस के नेता, कार्यकर्ता समेत विधायक लगातार कोरोना की चपेट में आ रहे हैं. बावजूद इसके प्रदेश कांग्रेस लगातार कार्यक्रमों का आयोजन कर रहा है. हालांकि, इन कार्यक्रमों में सोशल डिस्टेंसिंग का कड़ाई से पालन किया जा रहा है. बढ़ते कोरोना प्रसार में जहां बीजेपी ज्यादातर वर्चुअल कार्यक्रम का आयोजन कर रही है तो वहीं, कांग्रेस सड़क पर उतर कर कार्यक्रम का आयोजन कर रही है.
झारखंड की गठबंधन सरकार में कांग्रेस का अहम रोल है. सरकार बनने के बाद ही कोरोना संक्रमण काल भी शुरू हो गया, जिसके बाद लगातार कांग्रेस नेता, कार्यकर्ता जरूरतमंदों को सहायता पहुंचाने के लिए सड़क पर उतरे और अन्य राजनीतिक दलों की अपेक्षा सबसे ज्यादा राहत पहुंचाया. इसके साथ ही जहां सभी राजनीतिक दल के कार्यालय बंद रहे. वहीं, प्रदेश कांग्रेस कार्यालय खुला रहा. हालांकि, चुनाव के दौरान जनता से किए गए वादों को कोरोना की वजह से अब तक पूरा नहीं किया जा सका है. ऐसे में कहीं न कहीं आलाकमान के निर्देश पर जनता का ध्यान इस तरफ से भटकाने के लिए भी प्रदेश कांग्रेस को टास्क दिए जा रहे हैं.
कोरोना काल में कांग्रेस के कार्यक्रम
राजस्थान में मचे सियासी घमासान पर प्रदेश कांग्रेस का राजभवन के समक्ष धरना प्रदर्शन करना. इसके बाद राम जन्मभूमि पूजन के दौरान दीप प्रज्वलन, आदिवासी दिवस के दिन बापू वाटिका में माल्यार्पण और कांग्रेस स्टेट हेड क्वार्टर में सम्मान कार्यक्रम का आयोजन किया गया. वहीं, अब स्वतंत्रता दिवस के दिन सेमिनार का आयोजन किया जाएगा और 20 अगस्त को स्वर्गीय राजीव गांधी की जयंती पर भी कार्यक्रम के आयोजन किए जाएंगे.
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'जरूरतमंदों की कर रहे मदद'
कार्यक्रमों का आयोजन करने के पीछे की वजह को लेकर कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता आलोक दुबे ने कहा कि प्रधानमंत्री ने लंबे समय तक लॉकडाउन किया. इस दौरान लगातार कांग्रेस के कार्यकर्ता काम करते रहे और कार्यकर्ता गौरवान्वित महसूस करते हैं कि उन्होंने जरूरतमंदों की मदद की. उन्होंने कहा कि वर्तमान में अब लोग सीख रहे हैं कि कोरोना से बच कर कैसे आगे बढ़ना है और उसी के तहत पार्टी कार्यक्रम कर रही है. उन्होंने कहा कि हम अपने घर में कैद नहीं हो सकते हैं क्योंकि जनता की कई अपेक्षाएं हैं. ऐसे में हमारी जिम्मेवारी बनती है कि उनके सुख दुख में खड़ा रहे.