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किसान की मौत: जिला प्रशासन ने दुर्घटना की जताई आशंका, नहीं था कोई कर्ज!

रांची चान्हो प्रखंड के पतरातू गांव में लखन महतो नाम के किसान की मौत मामले ने एक नया मोड़ ले लिया है. डीसी राय महिमापत रे ने बताया कि जांच में किसान की मौत नशे की हालत में कुएं में गिर जाने की वजह से सामने आ रही है.

किसान और अवधेश कुमार पांडेय
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Published : Jul 27, 2019, 8:55 PM IST

Updated : Jul 27, 2019, 10:07 PM IST

रांची: चान्हो प्रखंड के पतरातू गांव में लखन महतो नाम के किसान की आत्महत्या मामले में जिले के डीसी राय महिमापत रे के द्वारा दो सदस्य टीम को जांच के निर्देश दिए गए थे. जांच में नशेपान के कारण दुर्घटना की आशंका जिला प्रशासन की जांच टीम ने जताई है.

जानकारी देते अवधेश कुमार पांडेय

201554 रुपए की राशि का भुगतान किया जा चुका था
आईटीडीए के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अवधेश कुमार पांडेय ने इस मामले को लेकर शनिवार को कलेक्ट्रेट में मीडिया से रूबरू होकर पूरे मामले की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि लखन महतो को मनरेगा की तरफ से एक कुआं दिया गया था. जिसका एग्रीमेंट 15 दिसंबर 2017 को किया गया था और 18 जनवरी से कुएं का काम शुरू हुआ था. कुएं पर 13 जुलाई 2019 लिखा हुआ पाया गया है. जिससे यह पता चलता है कि यह कुआं कंप्लीट होने की तारीख है. उन्होंने बताया कि कुएं के लिए 354000 रुपए की राशि में से 201554 रुपए की राशि का भुगतान किया जा चुका है.

आर्थिक स्थिति भी खराब नहीं
उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि जांच में पाया गया कि उनके घर की आर्थिक स्थिति भी ज्यादा खराब नहीं है. क्योंकि उनकी डेढ़ एकड़ जमीन में करेले और अदरक की खेती की गई है. जिसे वर्तमान में निकाला जाए तो एक क्विंटल से ज्यादा सब्जियां निकलेंगी. वहीं उनका पक्के का मकान भी पाया गया है. जिसमें वाटर सप्लाई के लिए टंकी लगी हुई है. साथ ही उनके घर में अनाज भी पाया गया है और एक सप्ताह पहले ही पास के डीलर से उन्होंने 30 किलो अनाज भी लिया था.

नशे में था किसान!
डीसी ने बताया कि लखन महतो को नशापान की आदत थी और ऐसी आशंका है कि नशे की हालत में वह अपने खेत की ओर फसल देखने गए होंगे और दुर्घटना के तहत वह कुएं में गिर गए होंगे. जिससे उनकी मौत हो गई होगी. वहीं उन्होंने बताया कि ग्रामीणों से पूछताछ में कर्ज का मामला सामने नहीं आया है.

किसान को कोई कर्ज नहीं था: मुखिया
हालांकि, उन्होंने कहा कि बैंक बंद होने की वजह से जांच नहीं हो पाई है. लेकिन वहां के मुखिया ने बताया कि कर्ज नहीं था. साथ ही इस मामले में उनके बेटे ने जो थाने में एफआईआर किया है, उसमें स्पष्ट लिखा हु आ है कि मेरे पिता की मौत कुएं में गिर जाने से हुई है. इसमें किसी का दोष नहीं है.

ये भी पढ़ें- मरीज की मौत के बाद हंगामा, परिजनों ने कहा- यहां डॉक्टर नहीं, नर्स और स्टाफ करते हैं इलाज

पूरी जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा
उन्होंने माना है कि उस इलाके में लोगों का आक्रोश बीडीओ के प्रति है. क्योंकि कुछ स्कीम में पेमेंट समय पर नहीं हुए हैं. बुधवार तक पेमेंट किए जाने का आदेश जारी किया गया है. साथ ही पूरी जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा की उनकी मौत कैसे हुई है.

रांची: चान्हो प्रखंड के पतरातू गांव में लखन महतो नाम के किसान की आत्महत्या मामले में जिले के डीसी राय महिमापत रे के द्वारा दो सदस्य टीम को जांच के निर्देश दिए गए थे. जांच में नशेपान के कारण दुर्घटना की आशंका जिला प्रशासन की जांच टीम ने जताई है.

जानकारी देते अवधेश कुमार पांडेय

201554 रुपए की राशि का भुगतान किया जा चुका था
आईटीडीए के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अवधेश कुमार पांडेय ने इस मामले को लेकर शनिवार को कलेक्ट्रेट में मीडिया से रूबरू होकर पूरे मामले की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि लखन महतो को मनरेगा की तरफ से एक कुआं दिया गया था. जिसका एग्रीमेंट 15 दिसंबर 2017 को किया गया था और 18 जनवरी से कुएं का काम शुरू हुआ था. कुएं पर 13 जुलाई 2019 लिखा हुआ पाया गया है. जिससे यह पता चलता है कि यह कुआं कंप्लीट होने की तारीख है. उन्होंने बताया कि कुएं के लिए 354000 रुपए की राशि में से 201554 रुपए की राशि का भुगतान किया जा चुका है.

आर्थिक स्थिति भी खराब नहीं
उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि जांच में पाया गया कि उनके घर की आर्थिक स्थिति भी ज्यादा खराब नहीं है. क्योंकि उनकी डेढ़ एकड़ जमीन में करेले और अदरक की खेती की गई है. जिसे वर्तमान में निकाला जाए तो एक क्विंटल से ज्यादा सब्जियां निकलेंगी. वहीं उनका पक्के का मकान भी पाया गया है. जिसमें वाटर सप्लाई के लिए टंकी लगी हुई है. साथ ही उनके घर में अनाज भी पाया गया है और एक सप्ताह पहले ही पास के डीलर से उन्होंने 30 किलो अनाज भी लिया था.

नशे में था किसान!
डीसी ने बताया कि लखन महतो को नशापान की आदत थी और ऐसी आशंका है कि नशे की हालत में वह अपने खेत की ओर फसल देखने गए होंगे और दुर्घटना के तहत वह कुएं में गिर गए होंगे. जिससे उनकी मौत हो गई होगी. वहीं उन्होंने बताया कि ग्रामीणों से पूछताछ में कर्ज का मामला सामने नहीं आया है.

किसान को कोई कर्ज नहीं था: मुखिया
हालांकि, उन्होंने कहा कि बैंक बंद होने की वजह से जांच नहीं हो पाई है. लेकिन वहां के मुखिया ने बताया कि कर्ज नहीं था. साथ ही इस मामले में उनके बेटे ने जो थाने में एफआईआर किया है, उसमें स्पष्ट लिखा हु आ है कि मेरे पिता की मौत कुएं में गिर जाने से हुई है. इसमें किसी का दोष नहीं है.

ये भी पढ़ें- मरीज की मौत के बाद हंगामा, परिजनों ने कहा- यहां डॉक्टर नहीं, नर्स और स्टाफ करते हैं इलाज

पूरी जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा
उन्होंने माना है कि उस इलाके में लोगों का आक्रोश बीडीओ के प्रति है. क्योंकि कुछ स्कीम में पेमेंट समय पर नहीं हुए हैं. बुधवार तक पेमेंट किए जाने का आदेश जारी किया गया है. साथ ही पूरी जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा की उनकी मौत कैसे हुई है.

Intro:रांची.चान्हो प्रखंड के पतरातू गांव में लखन महतो नाम के किसान की आत्महत्या मामले में जिले के डीसी राय महिमापत रे के द्वारा 2 सदस्य टीम को जांच के निर्देश दिए गए थे और जांच में नशेपान के कारण दुर्घटना की आशंका जिला प्रशासन की जांच टीम ने जताई है.

Body:आईटीडीए के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अवधेश कुमार पांडे ने इस मामले को लेकर शनिवार को कलेक्ट्रेट में मीडिया से रूबरू होकर पूरे मामले की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि लखन महतो को मनरेगा की तरफ से एक कुआं दिया गया था. जिसका एग्रीमेंट 15 दिसंबर 2017 को किया गया था और 18 जनवरी से कुंए का काम शुरू हुआ था. कुए पर 13 जुलाई 2019 लिखा हुआ पाया गया है. जिससे यह पता चलता है कि यह कुआं कंप्लीट होने की तारीख है. उन्होंने बताया कि कुंवे के लिए 354000 रुपए की राशि में से 201554 रुपए की राशि का भुगतान किया जा चुका है.

उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि जांच में पाया गया कि उनके घर की आर्थिक स्थिति भी ज्यादा खराब नहीं है.क्योंकि उनकी डेढ़ एकड़ जमीन में करेले और अदरक की खेती की गई है. जिसे वर्तमान में निकाला जाए तो 1 क्विंटल से ज्यादा सब्जियां निकलेंगी. वही उनका पक्के का मकान भी पाया गया है.जिसमें वाटर सप्लाई के लिए टंकी लगी हुई है.साथ ही उनके घर में अनाज भी पाया गया है और 1 सप्ताह पहले ही बगल के डीलर से उन्होंने 30 किलो अनाज भी लिया था.


वहीं उन्होंने बताया कि लखन महतो को नशापान की आदत थी और ऐसी आशंका है कि नशे की हालत में वह अपने खेत की ओर फसल देखने गए होंगे और दुर्घटना के तहत वह कुएं में गिर गए होंगे. जिससे उनकी मौत हो गई होगी.वहीं उन्होंने बताया कि ग्रामीणों से पूछताछ में कर्ज़ का मामला सामने नहीं आया है.हालांकि उन्होंने कहा कि बैंक बंद होने की वजह से जांच नहीं हो पाई है. लेकिन वहां के मुखिया ने बताया कि कर्ज नहीं था.साथ ही इस मामले में उनके बेटे ने जो थाने में एफआईआर किया है.उसमें स्पष्ट लिखा हु आ है कि मेरे पिता की मृत्यु कुएं में गिर जाने से हुई है. इसमें किसी का दोष नहीं है.
Conclusion:हालांकि उन्होंने माना है कि उस इलाके में लोगों का आक्रोश बीडीओ के प्रति है. क्योंकि कुछ स्कीम में पेमेंट समय पर नहीं हुए हैं. बुधवार तक पेमेंट किए जाने का आदेश जारी किया गया है. साथ ही पूरी जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा की उनकी मौत कैसे हुई है.
Last Updated : Jul 27, 2019, 10:07 PM IST
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