रांची: मुख्यमंत्री राहत किट से गांवों में कोरोना पर वार होगा. इसके लिए किट तैयार कराई जा रही है, जेएसएलपीएस संपोषित सखी मंडल की बहनें और आंगनबाड़ी सेविकाएं गांवों में संक्रमितों की पहचान के बाद इसे बांटेंगी. फिलहाल यहां एक लाख मुख्यमंत्री राहत किट तैयार की गई है.
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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद कर रहे मॉनिटरिंग
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद इसकी निगरानी कर रहे हैं. इसके लिए जेएसएलपीएस की मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी आईएएस अधिकारी नैंसी सहाय को नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है. प्रत्येक आंगनबाड़ी वर्कर को 10-10 किट दिया जा रहा है, जिन्हें वो संक्रमित लोगों को उपलब्ध करा रहीं हैं. राज्य भर में 38, 432 आंगनबाड़ी केंद्र हैं. इसके लिए 3,84,320 किट वितरण के लिए उपलब्ध कराई जानी है. किट निर्माण का कार्य युद्ध स्तर पर किया जा रहा है.
रोजाना 10 हजार किट कराई जा रही तैयार
किट को तैयार करने में जेएसएलपीएस से जुड़ी करीब 100 महिलाएं अगर साथ नहीं देतीं, तो यह कार्य इतना आसान नहीं होता. ये महिलाएं हर दिन 10 हजार किट पैक कर रहीं हैं. इसके अतिरिक्त आयुर्वेदिक, होम्योपैथिक, यूनानी किट भी जरूरतमंदों को उपलब्ध कराने की प्रक्रिया चल रही है, ताकि लोगों को बीमारियों से लड़ने के अलावा उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ाई जा सके.
बेसिक हेल्थ किट उपलब्ध कराने की है योजना
इतना ही नहीं, बेसिक हेल्थ किट भी उपलब्ध कराने की योजना है. इसमें सामान्य दवाइयां और पैरासिटामोल, जिंक, विटामिन सी, विटामिन डी और आयरन की गोलियां रहेंगी. झारखंड स्टेट लाइवलीहुड की CEO नैंसी सहाय ने कहा कि जल्द से जल्द किट जरूरतमंद ग्रामीणों को उपलब्ध कराना है, ताकि ग्रामीण इलाकों में संक्रमण को रोका जा सके. इस कार्य में JSLPS से जुड़ी महिलाओं का सहयोग तारीफ के लायक है.