रांची: जिले के करमटोली से लेकर बूटी मोड़ तक के सड़क का ईटीवी भारत की टीम ने जायजा लिया. इस दौरान यह देखा गया कि लगभग 6 किमी की दूरी के सड़क में आधे से अधिक सड़क की स्थिति बद से बदतर है. वाहन चालकों का कहना है कि कई बार सड़क खराब होने के कारण कई मोटरसाइकिल चालक हादसे का शिकार भी हो जाते हैं. इस रूट में ऑटो चलाने वाले चालकों ने कहा कि खराब सड़क होने के कारण यात्रियों के साथ-साथ चालकों को भी काफी नुकसान होता है क्योंकि गड्ढे वाले सड़क पर चलने की वजह से गाड़ियों को भी नुकसान होता है और जो यात्री बैठते हैं उन्हें भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
सैकड़ों एंबुलेंसो का आवागमन
खास बात यह है कि करमटोली से लेकर बूटी मोड़ तक के रास्तों में कई अस्पताल हैं. इस वजह से इस सड़क पर मरीजों का भी आने-जाने का सिलसिला लगा रहता है. रिम्स, अग्रवाल नर्सिंग होम, रानी चिल्ड्रेन हॉस्पिटल, मेडिका हॉस्पिटल, आलम हॉस्पिटल सहित कई ऐसे अस्पताल हैं जहां गंभीर मरीजों का इलाज होता है और गंभीर मरीजों को एंबुलेंस से इसी सड़क से आना-जाना पड़ता है.
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सड़क मरम्मत की मांग
वहीं, कई एंबुलेंस चालकों ने भी बताया कि गंभीर मरीजों को जल्द से जल्द अस्पताल पहुंचाने की आवश्यकता होती है लेकिन खराब सड़क होने के कारण एंबुलेंस को धीरे-धीरे चलाना पड़ता है. जिस वजह से कभी-कभी मरीजों को इसका खामियाजा भी भुगतना पड़ जाता है. खासकर रिम्स और हरिहर सिंह मोड़ के पास सड़क की स्थिति और भी खराब है. जिस कारण मरीजों के लिए अत्यधिक समस्या बनी हुई है. ऐसे में जरूरत है कि राजधानी का मुख्य सड़क करमटोली से बरगाईं मोड़ और बूटी मोड़ तक सड़क की मरम्मत कराई जाए ताकि इस सड़क पर आने-जाने वाले एंबुलेंस और मरीजों को ज्यादा दिक्कत ना हो सके.