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प्राक्कलन समिति पहुंची बड़कागांव, निर्माणाधीन पुल और जलमीनार का किया निरीक्षण, दिए कड़े निर्देश

हजारीबाग में प्राक्कलन समिति टीम ने बड़कागांव पहुंचकर निर्माणाधीन पुल और जलमीनार का निरीक्षण किया. इस दौरान पानी टंकी को मार्च और पुल को अप्रैल में पूरा करने का निर्देश दिया गया. वहीं, समिति के सदस्यों ने पुल की लंबाई और ऊंचाई अधिक होने पर भी नाराजगी जतायी.

prakalan samiti reached Barkagaon hazaribag
निर्माणाधीन पुल
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Published : Jan 10, 2021, 1:09 PM IST

Updated : Jan 10, 2021, 1:19 PM IST

हजारीबाग: राज्य सरकार की ओर से गठित प्राक्कलन समिति ने बड़कागांव पहुंचकर सिरमा नदी पर पुल और जलमीनार का निरीक्षण किया. पुल निर्माण के समय में विलंब होने पर ठेकेदार को निर्देश देते हुए कहा कि अप्रैल माह के अंदर पुल का कार्य पूरा करें. वहीं, प्राक्कलन समिति अध्यक्ष दीपक बिरुआ से पुल की गुणवत्ता पर पूछे जाने पर बताया कि कार्य संतोषजनक है लेकिन विलंब हो रहा है जिससे ग्रामीणों को परेशानी हो रही है. इसके लिए ठेकेदार ने तीन महीने का समय लिया है.

देखें पूरी खबर

वहीं, उक्त नदी के समीप पेयजल योजना से बन रहे जलमीनार का भी निरीक्षण किया और उसे भी मार्च तक पूर्ण करने का निर्देश दिया गया. प्राक्कलन समिति के सभापति दीपक बिरुआ ने इंजीनियर को स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि अगर समय पर जलमीनार का काम पूर्ण नहीं होता है तो योजना अनुपयोगी हो जाएगी और इंजीनियर पर विभागीय कार्रवाई करते हुए उसे डिमॉलिस किया जा सकता है.

ये भी पढ़ें-कैबिनेट के बाद राजभवन ने लगाई JPSC की नई नियमावली पर मुहर, अधिसूचना जारी

प्राक्कलन समिति अध्यक्ष विधायक दीपक बिरुआ के साथ-साथ सदस्य सह लातेहार विधायक बैजनाथ राम, गोमिया विधायक लंबोदर महतो, बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद, एसडीओ श्रवण कुमार, एसडीपीओ भूपेंद्र राउत, बीडीओ प्रवेश कुमार साव, सीओ वैभव कुमार सिंह, एक्जीक्यूटिव इंजीनियर देवेंद्र प्रसाद, कांग्रेस प्रखंड अध्यक्ष विशेश्वर नाथ चौबे, विधायक प्रतिनिधि संजय कुमार, कनीय अभियंता बजरंग दुबे, मोहम्मद शमशेर, प्रोफेसर अजरुदीन रहमतुल्ला पंकज शाह, मोहम्मद शमीम, मोहम्मद हलीम, मंजूर हुसैन साबिर हुसैन, चंदन गुप्ता सहित दर्जनों कांग्रेसी, ग्रामीण और अधिकारी शामिल थे. पुल निर्माण में विलंब का कारण ठेकेदार रवि शेखर ने जमीन विवाद बताया लेकिन ग्रामीणों ने इससे इनकार किया. जबकि उक्त पुल निर्माण को लेकर कई बार मामला थाने में जा चुका है, जिसका निपटारा आज तक नहीं हो पाया जिसके कारण पूल धीरे-धीरे बनाया जा रहा है.

पुल का शिलान्यास 2014 में तत्कालीन कृषि मंत्री योगेंद्र साव ने शिलान्यास किया था. जानकारी के अनुसार उक्त पुल का शिलान्यास तत्कालीन झारखंड के कृषि मंत्री योगेंद्र साव ने 2 मार्च 2014 को किया था. उक्त पुल मुख्यमंत्री ग्राम सेतु योजना के तहत विशेष प्रमंडल की ओर से किया जा रहा है. पुल की प्राक्कलन राशि 6 करोड़ 63 लाख है जो सार्थक कंट्रक्शन के नाम टेंडर है. समिति के सदस्यों ने पुल की लंबाई और ऊंचाई अधिक होने पर नाराजगी जताई. इसके बाद टीम के सदस्यों ने केरेडारी का अस्पताल, पेटो और मीनार का भी निरीक्षण किया.

हजारीबाग: राज्य सरकार की ओर से गठित प्राक्कलन समिति ने बड़कागांव पहुंचकर सिरमा नदी पर पुल और जलमीनार का निरीक्षण किया. पुल निर्माण के समय में विलंब होने पर ठेकेदार को निर्देश देते हुए कहा कि अप्रैल माह के अंदर पुल का कार्य पूरा करें. वहीं, प्राक्कलन समिति अध्यक्ष दीपक बिरुआ से पुल की गुणवत्ता पर पूछे जाने पर बताया कि कार्य संतोषजनक है लेकिन विलंब हो रहा है जिससे ग्रामीणों को परेशानी हो रही है. इसके लिए ठेकेदार ने तीन महीने का समय लिया है.

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वहीं, उक्त नदी के समीप पेयजल योजना से बन रहे जलमीनार का भी निरीक्षण किया और उसे भी मार्च तक पूर्ण करने का निर्देश दिया गया. प्राक्कलन समिति के सभापति दीपक बिरुआ ने इंजीनियर को स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि अगर समय पर जलमीनार का काम पूर्ण नहीं होता है तो योजना अनुपयोगी हो जाएगी और इंजीनियर पर विभागीय कार्रवाई करते हुए उसे डिमॉलिस किया जा सकता है.

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प्राक्कलन समिति अध्यक्ष विधायक दीपक बिरुआ के साथ-साथ सदस्य सह लातेहार विधायक बैजनाथ राम, गोमिया विधायक लंबोदर महतो, बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद, एसडीओ श्रवण कुमार, एसडीपीओ भूपेंद्र राउत, बीडीओ प्रवेश कुमार साव, सीओ वैभव कुमार सिंह, एक्जीक्यूटिव इंजीनियर देवेंद्र प्रसाद, कांग्रेस प्रखंड अध्यक्ष विशेश्वर नाथ चौबे, विधायक प्रतिनिधि संजय कुमार, कनीय अभियंता बजरंग दुबे, मोहम्मद शमशेर, प्रोफेसर अजरुदीन रहमतुल्ला पंकज शाह, मोहम्मद शमीम, मोहम्मद हलीम, मंजूर हुसैन साबिर हुसैन, चंदन गुप्ता सहित दर्जनों कांग्रेसी, ग्रामीण और अधिकारी शामिल थे. पुल निर्माण में विलंब का कारण ठेकेदार रवि शेखर ने जमीन विवाद बताया लेकिन ग्रामीणों ने इससे इनकार किया. जबकि उक्त पुल निर्माण को लेकर कई बार मामला थाने में जा चुका है, जिसका निपटारा आज तक नहीं हो पाया जिसके कारण पूल धीरे-धीरे बनाया जा रहा है.

पुल का शिलान्यास 2014 में तत्कालीन कृषि मंत्री योगेंद्र साव ने शिलान्यास किया था. जानकारी के अनुसार उक्त पुल का शिलान्यास तत्कालीन झारखंड के कृषि मंत्री योगेंद्र साव ने 2 मार्च 2014 को किया था. उक्त पुल मुख्यमंत्री ग्राम सेतु योजना के तहत विशेष प्रमंडल की ओर से किया जा रहा है. पुल की प्राक्कलन राशि 6 करोड़ 63 लाख है जो सार्थक कंट्रक्शन के नाम टेंडर है. समिति के सदस्यों ने पुल की लंबाई और ऊंचाई अधिक होने पर नाराजगी जताई. इसके बाद टीम के सदस्यों ने केरेडारी का अस्पताल, पेटो और मीनार का भी निरीक्षण किया.

Last Updated : Jan 10, 2021, 1:19 PM IST
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