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घर में अकेला देख लड़की को बनाया हवस का शिकार, अब मिली सजा

धनबाद में 27 मई 2015 को लड़की को घर में अकेला पाकर धर दबोचा और दुष्कर्म जैसी शर्मनाक घटना को अंजाम दिया. वहीं अब जाकर कोर्ट ने आरोपी को 12 साल की सजा और 50 हजार जुर्माना लगाया है.

दुष्कर्म के आरोपी को सजा
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Published : Jun 14, 2019, 2:27 PM IST

धनबाद: नाबालिग के साथ दुष्कर्म और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में अदालत ने आरोपी को 12 साल की सजा सुनाई है, साथ ही 50 हजार जुर्माना की राशि वसुलने का आदेश दिया है. जबकि इस मामले में शामिल आरोपी के माता-पिता और मामा को चेतावनी देते हुए अदालत ने बरी कर दिया है.

दुष्कर्म की सजा

12 साल की सजा
शुक्रवार को जिला एवं सत्र न्यायाधीश सुरेन्द्र शर्मा की अदालत ने बलियापुर थाना क्षेत्र के रहनेवाले आरोपी ईश्वर हांसदा को नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में 12 साल की सजा सुनाई और 50 हजार जुर्माना वसुलने का आदेश दिया.

2015 का मामला
बता दें कि 27 मई 2015 को पीड़िता अपने घर पर अकेली थी. लड़की को अकेला देख ईश्वर हांसदा घर में घुस गया और उसके साथ दुष्कर्म की शर्मनाक घटना को अंजाम दिया. इस दौरान पीड़िता के माता-पिता घर पर पहुंच गए. ईश्वर पीड़िता के माता-पिता से माफी मांगते हुए शादी के लिए राजी हो गया.

ये भी पढ़ें- RJD में दो फाड़, अभय सिंह को गौतम सागर अध्यक्ष के रुप में स्वीकार नहीं

शादी से इनकार
वहीं, लड़के के परिजनों ने भी शादी के लिए हामी भरी, लेकिन बाद में इनकार कर दिया. पीड़िता द्वारा इस मामले में कोर्ट में सीपी केस किया गया था. कोर्ट के आदेश पर स्थानीय थाना ने प्राथमिकी दर्ज कर अनुसंधान किया.

धनबाद: नाबालिग के साथ दुष्कर्म और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में अदालत ने आरोपी को 12 साल की सजा सुनाई है, साथ ही 50 हजार जुर्माना की राशि वसुलने का आदेश दिया है. जबकि इस मामले में शामिल आरोपी के माता-पिता और मामा को चेतावनी देते हुए अदालत ने बरी कर दिया है.

दुष्कर्म की सजा

12 साल की सजा
शुक्रवार को जिला एवं सत्र न्यायाधीश सुरेन्द्र शर्मा की अदालत ने बलियापुर थाना क्षेत्र के रहनेवाले आरोपी ईश्वर हांसदा को नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में 12 साल की सजा सुनाई और 50 हजार जुर्माना वसुलने का आदेश दिया.

2015 का मामला
बता दें कि 27 मई 2015 को पीड़िता अपने घर पर अकेली थी. लड़की को अकेला देख ईश्वर हांसदा घर में घुस गया और उसके साथ दुष्कर्म की शर्मनाक घटना को अंजाम दिया. इस दौरान पीड़िता के माता-पिता घर पर पहुंच गए. ईश्वर पीड़िता के माता-पिता से माफी मांगते हुए शादी के लिए राजी हो गया.

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शादी से इनकार
वहीं, लड़के के परिजनों ने भी शादी के लिए हामी भरी, लेकिन बाद में इनकार कर दिया. पीड़िता द्वारा इस मामले में कोर्ट में सीपी केस किया गया था. कोर्ट के आदेश पर स्थानीय थाना ने प्राथमिकी दर्ज कर अनुसंधान किया.

Intro:दुष्कर्म के बाद शादी से किया था इनकार,12 साल की सजा,मातापिता और मामा बरी


Body:एंकर:--नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में अदालत ने आरोपी को 12 साल की सजा सुनायी है।साथ ही 50 हजार जुर्माना की राशि वसुलने का आदेश अदालत ने दिया है।जबकि इस मामले में शामिल आरोपी के मातापिता और मामा को चेतावनी देते हुए अदालत ने बरी कर दिया है।

शुक्रवार को जिला एवं सत्र न्यायाधीश सुरेन्द्र शर्मा की अदालत ने बलियापुर थाना क्षेत्र के रहनेवाले आरोपी ईश्वर हांसदा को नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने और बाद में शादी से इनकार करने के मामले में 12 साल की सजा सुनायी है और 50 हजार जुर्माना वसुलने का आदेश दिया है।जबकि पिता परमेश्वर मांझी,माता मालती देवी और मामा बबलू सोरेन को अदालत ने चेतावनी देते हुए बरी कर दिया है।

27 मई 2015 को 12 बजे दिन में पीड़िता अपने घर पर अकेली थी।नाबालिग पीड़िता को अकेला देख ईश्वर हांसदा घर मे घुस गया और उसके साथ दुष्कर्म कर डाला।इस दौरान पीड़िता के मातापिता घर पर पहुंच गए।ईश्वर पीड़िता के मातापिता से माफी मांगते हुए शादी के लिए राजी हो गया।

आरोपी ईश्वर के पिता परमेश्वर मांझी, माता मालती देवी, और उसके मामा बबलू सोरेन ने मिलकर 11 मार्च 2017 को शादी की तारीख तय किया था।लेकिन बाद में मातापिता और उसके मामा सभी ने मिलकर इस शादी से इनकार कर दिया था।

पीड़िता द्वारा इस मामले में कोर्ट में सीपी केस किया गया था।कोर्ट के आदेश पर स्थानीय थाना ने प्राथमिकी दर्ज कर अनुसंधान किया।


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