धनबाद: हमारे देश की राष्ट्रभाषा हिंदी है और 14 सितंबर को हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है. कोयलांचल धनबाद में भी हिंदी दिवस के अवसर पर कई जगह अनेक कार्यक्रम किए जाते हैं. कुछ सरकारी और प्राइवेट कार्यालयों में हिंदी दिवस के अवसर पर हिंदी में कामकाज किया जाता है, लेकिन यह सिर्फ 1 दिन का दिखावा होता है. चुकी हमारी राष्ट्रभाषा हिंदी है और हिंदी को लेकर कोई भी ऐसा कार्य कभी नहीं किया गया है जिसको लेकर हमारी राष्ट्रभाषा को बढ़ावा मिल सके.
छात्र नहीं दे पाए जवाब
बता दें कि ईटीवी भारत धनबाद के संवाददाता ने हिंदी दिवस के अवसर पर कुछ छात्रों और शिक्षकों के साथ बातचीत की. शिक्षकों का जवाब तो सही मिला, लेकिन छात्रों का जवाब हिंदी से संबंधित सही नहीं था. वह जवाब देने में सक्षम नहीं थे.
हिंदी को कम तवज्जो
हमारी नई पीढ़ी अब हिंदी को कम तवज्जो दे रहे है या फिर हिंदी की तरफ ज्यादा ध्यान नहीं दे रही है. देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हिंदी को बढ़ावा देने की बात कहते हैं, भारत को विश्व गुरु बनाने की बात करते हैं तो उसमें कहीं न कहीं हिंदी भाषा का भी रोल होता है.
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इंग्लिश को ज्यादा तवज्जो
जब धनबाद के छात्र और शिक्षकों से हिंदी के बारे में पूछा गया तो शिक्षकों ने तो सही जवाब दिया, लेकिन कुछ छात्र सही जवाब नहीं दे पाए. ऐसे में यह सवाल उठना लाजमी है कि आने वाली पीढ़ी शायद इंग्लिश को ज्यादा तवज्जो दे रही है. जबकि हमारी राष्ट्रभाषा हिंदी है.