धनबाद: वैश्विक महामारी कोरोना के संक्रमण के दौर में एक बार फिर कोयलांचल धनबाद के निजी नर्सिंग होम विवादों में हैं. शहर के सरायढेला थाना क्षेत्र में स्थित प्रगति नर्सिंग होम में सोमवार की सुबह तीन मरीजों की मौत के बाद उनके परिवार वालों ने नर्सिंग होम के डॉक्टर और प्रबंधन पर इलाज में लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया, जिसके बाद सरायढेला थाने की पुलिस मौके पर पहुंची और मामले को शांत कराने का प्रयास किया.
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वहीं, पीड़ित परिजनों का कहना है कि निजी नर्सिंग होम में उनके मरीज को कोरोना निगेटिव कहकर इलाज के लिए भर्ती किया गया था, लेकिन एक के बाद एक 3 मौत होने के बाद मरीजों को पॉजिटिव बताया गया, जिसके बाद परिजनों ने हंगामा शुरू कर दिया. परिजनों का स्पष्ट कहना है कि अगर उनके परिजन संक्रमित पाए गए तो फिर उनके शव को कोविड-19 प्रोटोकोल के अनुरूप क्यों नहीं रखा गया है. उन्हें पहले क्यों नहीं बताया गया कि मरीज कोरोना संक्रमित हैं.
ऐसे में परिजनों ने नर्सिंग होम प्रबंधन पर कई आरोप लगाए हैं. वहीं परिजनों का यह भी आरोप है कि नर्सिंग होम में इलाजरत मरीजों को देखने के लिए कोई चिकित्सक नहीं आते हैं, जिससे कि सही तरीके से मरीजों का इलाज नहीं हो पा रहा है. हंगामे के बाद मौके पर काफी भीड़ इकट्ठा हो गई. पुलिस सभी को हटाने की कोशिश में लगी हुई है.
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मालूम हो कि अभी पिछले सप्ताह भी इस नर्सिंग होम में एक मरीज के मौत के बाद परिजनों ने इलाज में लापरवाही और पैसे की उगाही का आरोप लगाते हुए हंगामा किया था, जिसके बाद भारी संख्या में पुलिस बल मौके पर पहुंचकर मामले को शांत कराया था.
पूरा मामला
धनबाद के मनोरम नगर के रहने वाले 40 साल के मरीज अरुण कुमार की मौत हो गई. परिजनों का आरोप है कि पीएमसीएच में रिपोर्ट निगेटिव आई थी. प्रगति में भर्ती के बाद भी कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव बताई गई. मौत के बाद रिपोर्ट पॉजिटिव बताई जा रही है, जबकि शव को कोविड प्रोटोकॉल के तहत नहीं रखा गया. इलाज भी जनरल वार्ड में किया गया.
वहीं, पुटकी परिधान टेक्सटाइल के मालिक विनोद की मौत पर भी परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है. साथ ही कहा कि कोई भी डॉक्टर कुछ नहीं बता रहे, सभी फरार हैं. पुलिस पर भी परिजनों ने आरोप लगाया है. परिजनों का कहना है कि पुलिस भी डॉक्टर की टेक्निकल बात बता रहे हैं.
तीसरे मामले में जोड़ापोखर शालीमार की रहने वाली एक महिला चंदाकर अपने पति का यहां इलाज करा रही थी लेकिन अचानक कहा गया कि उनके पति की मौत हो गई और एक लाख 15 हजार का बिल थमा दिया. कोई भी डॉक्टर कुछ नहीं बता रहे हैं, सभी फरार हैं.