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धनबादः कोरोना संक्रमित शवों के अंतिम संस्कार के लिए चिन्हित जमीन को लेकर पुलिस और ग्रामीणों में झड़प - Dispute over land identified for funeral of corona infected bodies

धनबाद में कोरोना संक्रमित शवों के अंतिम संस्कार के लिए प्रशासन की चिन्हित जमीन का ग्रामीण रात से ही विरोध कर रहे हैं. इस दौरान पुलिस और ग्रामीणों में जोरदार झड़प भी हो गई.

Dispute over land identified for funeral of corona infected bodies
पुलिस और ग्रामीणों में झड़प
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Published : Jul 19, 2020, 2:07 PM IST

धनबादः कोरोना संक्रमित शवों के अंतिम संस्कार के लिए बलियापुर प्रखंड के आमझर में प्रशासन की चिन्हित जमीन का ग्रामीण रात से ही विरोध कर रहे हैं. ग्रामीणों के विरोध किए जाने की सूचना पर सिंदरी एसडीपीओ दल-बल के साथ मौके पर पहुंचे, लेकिन ग्रामीणों का गुस्सा चरम पर था और ग्रामीणों का गुस्सा आखिरकार फूट पड़ा. जिसके बाद पुलिस और ग्रामीणों के बीच झड़प हो गई.

Dispute over land identified for funeral of corona infected bodies
पुलिस और ग्रामीणों में झड़प

ग्रामीणों के आक्रोश को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस बल मौके पर तैनात किया गया. ग्रामीण रह-रहकर आक्रोशित हो रहे थे, जिसको पुलिस बल सख्ती से शांत करा रही थी. देखते ही देखते स्थिति काफी तनावपूर्ण हो गई. ग्रामीणों ने पुलिस के ऊपर पथराव कर दिया जिसके बाद पुलिस ने भी लाठियां चटका दी.

ये भी पढ़ें-गुमला में ठंडा पड़ गया है कपड़े का कारोबार, दुकानों पर नहीं पहुंच रहे ग्राहक

बता दें कि धनबाद में वैश्विक महामारी कोविड-19 से संक्रमित व्यक्ति की मृत्यु के बाद उसकी अंत्येष्टि करने के लिए स्थल चिह्नित किया गया था. बलियापुर प्रखंड के आमझर में चिन्हित जमीन पर अंत्येष्टि के लिए डीसी उमाशंकर सिंह ने शनिवार को उस जगह का निरीक्षण भी किया था. निरीक्षण के दौरान उन्होंने युद्ध स्तर पर साफ-सफाई करने और उसकी घेराबंदी करने का निर्देश दिया.

डीसी के निर्देश के बाद वहां उक्त जेसीबी लगाकर साफ-सफाई की गई. स्थानीय लोगों को किसी भी प्रकार की जानकारी नहीं दी गई. स्थानीय लोगों को जब इस बात की भनक लगी तो ग्रामीण स्थल पर पहुंचकर जिला प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.

कुछ लोगों का कहना है कि यह जमीन रैयतों की है. जिला प्रशासन रैयती जमीन में कैसे सरकारी कार्य कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि प्रशासन की ओर से कोई जानकारी नहीं दी गई थी. वहीं, उनका कहना है कि आस-पास के इलाकों में घनी आबादी है. 150 से 200 मीटर की दूरी पर सरकारी स्कूल है जहां बच्चों की पढ़ाई होती है. किसानों के खेत भी आसपास ही हैं. लोग खेती करने लिए दिनभर लगे रहते हैं. ग्रामीणों का कहना है कि अगर इस जमीन पर संक्रमित मृत व्यक्ति का अंतिम संस्कार किया गया तो कई लोग कोरोना की चपेट में आ सकते हैं लोगों ने कहा कि सरकार पहले हमारा अंतिम संस्कार कर दे फिर यहां उन्हें जो करना है वह कर सकते हैं.

धनबादः कोरोना संक्रमित शवों के अंतिम संस्कार के लिए बलियापुर प्रखंड के आमझर में प्रशासन की चिन्हित जमीन का ग्रामीण रात से ही विरोध कर रहे हैं. ग्रामीणों के विरोध किए जाने की सूचना पर सिंदरी एसडीपीओ दल-बल के साथ मौके पर पहुंचे, लेकिन ग्रामीणों का गुस्सा चरम पर था और ग्रामीणों का गुस्सा आखिरकार फूट पड़ा. जिसके बाद पुलिस और ग्रामीणों के बीच झड़प हो गई.

Dispute over land identified for funeral of corona infected bodies
पुलिस और ग्रामीणों में झड़प

ग्रामीणों के आक्रोश को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस बल मौके पर तैनात किया गया. ग्रामीण रह-रहकर आक्रोशित हो रहे थे, जिसको पुलिस बल सख्ती से शांत करा रही थी. देखते ही देखते स्थिति काफी तनावपूर्ण हो गई. ग्रामीणों ने पुलिस के ऊपर पथराव कर दिया जिसके बाद पुलिस ने भी लाठियां चटका दी.

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बता दें कि धनबाद में वैश्विक महामारी कोविड-19 से संक्रमित व्यक्ति की मृत्यु के बाद उसकी अंत्येष्टि करने के लिए स्थल चिह्नित किया गया था. बलियापुर प्रखंड के आमझर में चिन्हित जमीन पर अंत्येष्टि के लिए डीसी उमाशंकर सिंह ने शनिवार को उस जगह का निरीक्षण भी किया था. निरीक्षण के दौरान उन्होंने युद्ध स्तर पर साफ-सफाई करने और उसकी घेराबंदी करने का निर्देश दिया.

डीसी के निर्देश के बाद वहां उक्त जेसीबी लगाकर साफ-सफाई की गई. स्थानीय लोगों को किसी भी प्रकार की जानकारी नहीं दी गई. स्थानीय लोगों को जब इस बात की भनक लगी तो ग्रामीण स्थल पर पहुंचकर जिला प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.

कुछ लोगों का कहना है कि यह जमीन रैयतों की है. जिला प्रशासन रैयती जमीन में कैसे सरकारी कार्य कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि प्रशासन की ओर से कोई जानकारी नहीं दी गई थी. वहीं, उनका कहना है कि आस-पास के इलाकों में घनी आबादी है. 150 से 200 मीटर की दूरी पर सरकारी स्कूल है जहां बच्चों की पढ़ाई होती है. किसानों के खेत भी आसपास ही हैं. लोग खेती करने लिए दिनभर लगे रहते हैं. ग्रामीणों का कहना है कि अगर इस जमीन पर संक्रमित मृत व्यक्ति का अंतिम संस्कार किया गया तो कई लोग कोरोना की चपेट में आ सकते हैं लोगों ने कहा कि सरकार पहले हमारा अंतिम संस्कार कर दे फिर यहां उन्हें जो करना है वह कर सकते हैं.

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