ऊना: फर्जी मतदान को रोकने के लिए चुनाव आयोग ने इस बार नियमों में बदलाव करने के साथ-साथ मतदाताओं के घर पहुंचने वाली वोटर स्लिप पहचान पत्र के तौर पर मान्य नहीं होगी. ये जानकारी डीसी और जिला निर्वाचन अधिकारी राकेश कुमार प्रजापति ने दी.
जिला निर्वाचन अधिकारी व डीसी राकेश कुमार प्रजापति ने बताया कि वोट डालने के लिए चुनाव आयोग से तय 11 पहचान पत्रों में से किसी एक को वोटिंग के समय साथ लेकर आना जरूरी होगा. उन्होंने बताया कि रैली के बाद सभा स्थल पर साफ -सफाई का जिम्मा भी राजनीतिक दलों का होगा. अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो सफाई का खर्च भी पार्टी या फिर उम्मीदवार के खाते में जोड़ा जाएगा.
डीसी ने बताया कि निजी संपत्ति पर लगे होर्डिंग व इश्तेहार आदि को हटाने के लिए चुनाव की घोषणा के बाद 72 घंटों का समय मिलता है. ऐसे में राजनीतिक दल प्राथमिकता के आधार पर प्रचार सामग्री को हटाने के निर्देश दिए गए हैं.