सोलन: हिमाचल में बाहरी राज्यों की टैक्सी, गाड़ियों, टेम्पो ट्रैवलर पर लिए जा रहे टैक्स को लेकर पंजाब टैक्सी ऑपरेटरों का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. वहीं, अब पंजाब टैक्सी ऑपरेटरों के समर्थन में देवभूमि सोलन टैक्सी ऑपरेटर भी उतर चुके हैं. बुधवार को सोलन में देवभूमि सोलन टैक्सी ऑपरेटर के प्रधान अशोक चौहान ने कहा कि जो विवाद पंजाब हरियाणा टैक्सी ऑपरेटर के साथ टैक्स को लेकर चला है, उसको देखते हुए सरकार से आग्रह करते हैं कि इसको कम करने पर विचार किया जाए.
दरअसल,अशोक चौहान ने कहा कि पंजाब, चंडीगढ़, हरियाणा के टैक्सी ऑपरेटरों ने गुजरात एवं कोलकाता के बाद हिमाचल प्रदेश का बॉयकाट कर दिया है. जिससे कहीं ना कहीं टूरिज्म सेक्टर पर इसका असर जरूर पड़ेगा. उन्होंने कहा कि टैक्सी ऑपरेटरों के इस फैसले से हिमाचल के टूरिज्म को घाटा होगा. अशोक चौहान का कहना है कि टेंपो ट्रैवलर रोजाना 4500 से 5000 रुपये तक कमाता है, लेकिन अगर एक ही दिन का टैक्स 5000 टेंपो ट्रैवलर के ऊपर टैक्सी ऑपरेटर को देना पड़े तो उसका घर कैसे चलेगा, ऐसे में सरकार को इस फैसले पर विचार करना चाहिए.
पंजाब के आजाद टैक्सी ऑपरेटर यूनियन के अध्यक्ष शरणजीत सिंह कलसी ने कहा कि फिलहाल हिमाचल सरकार की ओर से कहा गया है कि वे आज होने वाली कैबिनेट बैठक में इसको लेकर फैसला लेंगे. उन्होंने कहा कि अभी वो सरकार के फैसले का इंतजार कर रहे हैं. बता दें कि टैक्स विवाद को लेकर पंजाब की आजाद टैक्सी यूनियन ने हिमाचल के बॉर्डर सील करने की चेतावनी दी थी, लेकिन अब इस विवाद को सुलझाने के लिए सरकार प्रयास कर रही है. अब देखना होगा कि सरकार इसको लेकर क्या फैसला लेती है और आगे की रणनीति टैक्सी ऑपरेटर क्या अपनाते हैं.
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