सोलन: हिमाचल प्रदेश की सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार ने इस सीजन में सेब वजन के हिसाब से बेचने की व्यवस्था लागू करने का फैसला लिया है, लेकिन इस फैसले को मानने से आढ़तियों ने साफ इनकार कर दिया है. आढ़तियों का कहना है कि वे किलो के हिसाब से सेब नहीं बेचेंगे. इसके साथ ही आज से कालका से लेकर रोहड़ू तक सेब बहुल क्षेत्रों की सभी मंडियों में सेब नहीं खरीदने और हड़ताल पर जाने का ऐलान भी आढ़तियों ने कर दिया है.
वजन के हिसाब से सेब बेचने से इनकार: प्रदेश सरकार ने बागवानों की मांग पर पहली बार सेब को वजन के हिसाब से बेचने का निर्णय लिया. ऐसा इसलिए भी है, क्योंकि एपीएमसी एक्ट में भी किलो के हिसाब से बेचने का प्रावधान है. हालांकि, कई सालों तक इसको कड़ाई से लागू नहीं किया गया. अब प्रदेश में सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार ने इसको लागू कर सेब वजन के हिसाब से बेचने का प्रावधान किया है, लेकिन आढ़ती इसके लिए इनकार कर रहे हैं.
आढ़तियों ने की यूनिवर्सल कार्टन की मांग: आढ़ती उदय चौहान, सुनील ठाकुर और स्वरूप ठाकुर का कहना है कि मंडियो में इतनी जगह नहीं है कि यहां सेब की पेटियों का वजन किया जा सके. आढतियों के इस फैसले से बागवानों की मुश्किलें बढ़ गई हैं. इस तरह से हड़ताल पर जाने से बागवानों को दिक्कतें उठानी पड़ेगीं. खासकर जिन बागवानों ने बागीचों में सेब का तुड़ान कर दिया है. अगर कुछ दिन ऐसी ही स्थिति रही उससे बागवानों का सेब खराब होगा और उनको नुकसान उठाना पड़ेगा. उन्होंने कहा सरकार अगले साल से यूनिवर्सल कार्टन लागू करे, ताकि सेब का वजन करने की जरुरत न रहे.
आढ़तियों की हड़ताल से बागवान परेशान: वहीं, मंडी सोलन में सेब लेकर पुलबहाल चौपाल से पहुंचे बागवानों ने कहा कि वह अपना सेब लेकर सुबह से ही मंडी में है, लेकिन सेब नहीं बिक रहा है. उन्होंने कहा सरकार यूनिवर्सल कार्टन लेकर आए. क्योंकि इससे न तो आढ़तियों को कोई भी कोई समस्या होगी और न ही बागवानों को भी कोई समस्या होगी. उन्होंने कहा यदि हिमाचल में सेब नहीं बिकता है तो वह हरियाणा, पंजाब और बाहरी राज्यों की सेब मंडियों में बेचने के लिए तैयार है.
ये भी पढ़ें: किलो के हिसाब से सेब बेचने पर सरकार और आढ़तियों में टकराव, आज से करेंगे हड़ताल