पांवटा साहिब: गांवों का कायाकल्प करने के लिए केंद्र और राज्य सरकार हर साल एक-एक ग्राम पंचायत को लाखों-करोड़ों रुपए देते हैं. इन पैसों से वहां शौचालय, नाली खड़ंजा, पानी, साफ सफाई, पक्के निर्माण कार्य होते हैं. ऐसे में जब से पांवटा ब्लॉक अधिकारी प्रताप चौहान ने कार्यभार संभाला है तब से वे ऐसी ही सरकारी योजनाओं के बारे में लोगों को जागरूक कर रहे हैं.
ब्लॉक अधिकारी प्रताप चौहान ने बताया कि मनरेगा का कार्य ग्रामीण इलाकों में ही देखने को मिलता है, लेकिन उन्होंने जब से कार्यभार संभाला है तब से गांव के साथ-साथ शहरों में भी मनरेगा के कार्य पंचायतों में करवाए जा रहे हैं. इसके अलावा सरकार की हर छोटी-बड़ी योजना धरातल पर पहुंचाई जा रही है, ताकि लोगों को सरकारी योजना से फायदा मिले. प्रताप चौहान ने बताया कि उनका लक्ष्य यह है कि पावंटा विकासखंड को विकास की हर योजना से जोड़ा जाए ताकि पंचायतों में चौमुखी विकास हो और लोगों को रोजगार मिल सके.
मनरेगा के फायदे- मनरेगा योजना में 100 दिनों की रोजगार गारंटी प्रदान की जाती है. मनरेगा के तहत काम निवास से 5 किलोमीटर के दायरे में दिया जाता है. इस योजना के तहत किये गए कार्य का भुगतान सीधे बैंक खाते में जमा होता है. विशेष स्थिति में अनुमति लेकर नगद भुगतान की भी व्यवस्था है. काम के लिए आवेदन करने के 15 दिवस में कार्य प्रदान किया जाता है. 15 दिवस में कार्य नहीं दे पाने की स्थिति में राज्य सरकार उन्हें बेरोजगारी भत्ता प्रदान करती है.
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