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निजी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को बड़ी राहत, एक माह में खाते में आएगी छात्रवृत्ति की राशि

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Published : Oct 17, 2019, 1:02 PM IST

सीबीआई ने छात्रों को राहत देते हुए छात्रों के आवेदनों की वेरिफिकेशन करने के बाद शिक्षा विभाग को छात्रवृत्ति जारी करने की मंजूरी दी है. अब जब मंजूरी शिक्षा विभाग को मिली है तो विभाग ने छात्रों के दस्तावेजों को जांचने के लिए कमेटी का गठन कर दिया है. दस्तावेजों की जांच कर छात्रों के खाते में छात्रवृत्ति जारी कर दी जाएगी.

निजी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को बड़ी राहत, एक माह में खाते में आएगी छात्रवृत्ति की राशि

शिमला: प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों को बड़ी राहत मिली है. जिन छात्रों को अभी तक छात्रवृत्ति जारी नहीं की जा रही थी अब उनकी छात्रवृत्ति एक माह के अंदर उनके खाते में जारी कर दी जाएगी. छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था, लेकिन अब सीबीआई की मंजूरी मिलने के बाद शिक्षा विभाग छात्रों के दस्तावेजों की जांच करेगा और उसके बाद छात्रों के खाते में छात्रवृत्ति जारी कर दी जाएगी. प्रदेश के बाहर 22 शैक्षणिक संस्थान ऐसे हैं जिन्हें छात्रवृत्ति घोटाले सीबीआई की जांच के चलते छात्र भी जारी नहीं की जा रही थी.

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बता दें कि इन कॉलेजों को डिफॉल्टर कॉलेज घोषित किया गया था जिसकी वजह से सीबीआई शिक्षा विभाग को इन शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों को छात्रवृत्ति देने की मंजूरी नहीं दे रही थी. अब जब सीबीआई ने मंजूरी दी है तो छात्रों को साल 2017-18 की छात्रवृत्ति शिक्षा विभाग की ओर से जारी की जाएगी. छात्रवृत्ति जारी करने से पहले छात्रों में जो आवेदन छात्रवृत्ति के लिए किए हैं उन्हें सतर्कता से जांचा जाएगा जिसके बाद यह पुष्टि की जाएगी कि छात्र उस संस्थान में शिक्षा ग्रहण कर भी रहा है या नहीं. यह पुष्टि होने के बाद ही छात्र के खाते में छात्रवृत्ति की राशि जारी की जाएगी.

प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते उनकी फीस तक जमा नहीं हो पा रही थी. ऐसे में निजी शिक्षण संस्थान इन छात्रों को संस्थान से बाहर का रास्ता दिखा रहे थे. वहीं कुछ संस्थानों ने छात्रों की डिग्रियां तक भी रोक दी थी. इसके बाद छात्रों ने यह मुद्दा शिक्षा विभाग के समक्ष उठाने के साथ ही सरकार के समक्ष भी उठाया और छात्रों के भविष्य को देखते हुए सरकार ने इस मामले को सीबीआई के समक्ष उठाया.

शिमला: प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों को बड़ी राहत मिली है. जिन छात्रों को अभी तक छात्रवृत्ति जारी नहीं की जा रही थी अब उनकी छात्रवृत्ति एक माह के अंदर उनके खाते में जारी कर दी जाएगी. छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था, लेकिन अब सीबीआई की मंजूरी मिलने के बाद शिक्षा विभाग छात्रों के दस्तावेजों की जांच करेगा और उसके बाद छात्रों के खाते में छात्रवृत्ति जारी कर दी जाएगी. प्रदेश के बाहर 22 शैक्षणिक संस्थान ऐसे हैं जिन्हें छात्रवृत्ति घोटाले सीबीआई की जांच के चलते छात्र भी जारी नहीं की जा रही थी.

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बता दें कि इन कॉलेजों को डिफॉल्टर कॉलेज घोषित किया गया था जिसकी वजह से सीबीआई शिक्षा विभाग को इन शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों को छात्रवृत्ति देने की मंजूरी नहीं दे रही थी. अब जब सीबीआई ने मंजूरी दी है तो छात्रों को साल 2017-18 की छात्रवृत्ति शिक्षा विभाग की ओर से जारी की जाएगी. छात्रवृत्ति जारी करने से पहले छात्रों में जो आवेदन छात्रवृत्ति के लिए किए हैं उन्हें सतर्कता से जांचा जाएगा जिसके बाद यह पुष्टि की जाएगी कि छात्र उस संस्थान में शिक्षा ग्रहण कर भी रहा है या नहीं. यह पुष्टि होने के बाद ही छात्र के खाते में छात्रवृत्ति की राशि जारी की जाएगी.

प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते उनकी फीस तक जमा नहीं हो पा रही थी. ऐसे में निजी शिक्षण संस्थान इन छात्रों को संस्थान से बाहर का रास्ता दिखा रहे थे. वहीं कुछ संस्थानों ने छात्रों की डिग्रियां तक भी रोक दी थी. इसके बाद छात्रों ने यह मुद्दा शिक्षा विभाग के समक्ष उठाने के साथ ही सरकार के समक्ष भी उठाया और छात्रों के भविष्य को देखते हुए सरकार ने इस मामले को सीबीआई के समक्ष उठाया.

Intro:प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों के लिए बड़ी राहत की बात है। जिन छात्रों को अभी तक छात्रवृत्ति जारी नहीं की जा रही थी अब उनकी छात्रवृत्ति एक माह के अंदर उनके खाते में जारी कर दी जाएगी। छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था लेकिन अब सीबीआई की मंजूरी मिलने के बाद शिक्षा विभाग छात्रों के दस्तावेजों की जांच करेगा और उसके बाद छात्रों के खाते में छात्रवृत्ति जारी कर दी जाएगी। प्रदेश के बाहर 22 शैक्षणिक संस्थान ऐसे हैं जिन्हें छात्रवृत्ति घोटाले सीबीआई की जांच के चलते छात्र भी जारी नहीं की जा रही थी।


Body:इन कॉलेजों को डिफॉल्टर कॉलेज घोषित किया गया था जिसकी वजह से सीबीआई शिक्षा विभाग को इन शिक्षण संस्थानों में शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्रों को छात्रवृत्ति देने की मंजूरी नहीं दे रही थी। अब जब सीबीआई ने मंजूरी दी है तो छात्रों को साल 2017-18 की छात्रवृत्ति शिक्षा विभाग की ओर से जारी की जाएगी। छात्रवृत्ति जारी करने से पहले छात्रों में जो आवेदन छात्रवृत्ति के लिए किए हैं उन्हें सतर्कता से जांचा जाएगा जिसके बाद यह पुष्टि की जाएगी कि छात्र उस संस्थान में शिक्षा ग्रहण कर भी रहा है या नहीं। यह पुष्टि होने के बाद ही छात्र के खाते में छात्रवृत्ति की राशि जारी की जाएगी।


Conclusion:बता दे कि प्रदेश के बाहर निजी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को छात्रवृत्ति ना मिलने के चलते उनकी फीस तक जमा नहीं हो पा रही थी। ऐसे में निजी शिक्षण संस्थान इन छात्रों को संस्थान से बाहर का रास्ता दिखा रहे थे। वहीं कुछ संस्थानों ने छात्रों की डिग्रियां तक भी रोक दी थी। इसके बाद छात्रों ने यह मुद्दा शिक्षा विभाग के समक्ष उठाने के साथ ही सरकार के समक्ष भी उठाया और छात्रों के भविष्य को देखते हुए सरकार ने इस मामले को सीबीआई के समक्ष उठाया। सीबीआई ने छात्रों को राहत देते हुए छात्रों के आवेदनों की वेरिफिकेशन करने के बाद शिक्षा विभाग को छात्रवृत्ति जारी करने की मंजूरी दी है। अब जब मंजूरी शिक्षा विभाग को मिली है तो विभाग ने छात्रों के दस्तावेजों को जांचने के लिए कमेटी का गठन कर दिया है । दस्तावेजों की जांच कर छात्रों के खाते में छात्रवृत्ति जारी कर दी जाएगी।
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