डिंडीगुल (तमिलनाडु): तिरुपति मंदिर में भक्तों को प्रसाद के रूप में मिलने वाले लड्डू में मिलावट के आरोप के बाद विवाद खड़ा हो गया है. तमिलनाडु के डिंडीगुल जिले में स्थित एआर डेयरी फूड्स उन कंपनियों में से एक है, जिसे तिरुपति मंदिर को घी सप्लाई करने का ठेका मिला था. इस कंपनी की ओर से पिछले जून और जुलाई में दो महीने तक तिरुपति मंदिर को घी की सप्लाई की गई थी.
एआर डेयरी कंपनी को मंदिर की तरफ से 8.50 लाख किलो घी का ऑर्डर मिला था, लेकिन कंपनी ने दो महीने में 68 हजार किलो घी की डिलीवरी की गई. तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) ने इसी साल 22 जुलाई को यह कहते हुए ठेका रद्द कर दिया कि घी की गुणवत्ता ठीक नहीं है. मंदिर प्रशासन ने कंपनी को ब्लैक लिस्ट भी कर दिया था. मंदिर के प्रशासनिक अधिकारी श्यामला राव ने उस समय इस संबंध में घोषणा भी की थी.
तिरुपति लड्डू में मिलावट के आरोप के बाद एआर डेयरी कंपनी ने भी स्पष्टीकरण जारी किया है. 20 सितंबर को डेयरी कंपनी के गुणवत्ता नियंत्रण विभाग के अधिकारियों ने कहा कि उनके उत्पादों में कोई कमी नहीं है. इसकी जांच की जा सकती है. साथ ही उन्होंने कहा कि उनके पास इस बात का सबूत है कि टीटीडी की तरफ से घी उत्पादों को भेजने से पहले उनका परीक्षण किया गया था.
तमिलनाडु सरकार प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की सहायक कार्यकारी अभियंता अनीता ने कंपनी के अपशिष्ट जल की जांच के लिए सैंपल लिए हैं. वहीं, भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI) के अधिकारियों ने शुक्रवार 20 सितंबर को 2 घंटे से अधिक समय तक एआर डेयरी का निरीक्षण किया. उन्होंने दूध, घी, पनीर, मक्खन, दही, छाछ, मिठाई आदि की जांच के लिए उनके सैंपल एकत्र किए गए.
पलानी मुरुगन मंदिर में घी की आपूर्ति पर सवाल
इस बीच, भाजपा के राज्य सचिव विनोज पी सेल्वम और भाजपा व्यापार इकाई के उपाध्यक्ष सेल्वाकुमार ने एक्स पर पोस्ट कर दावा किया कि डिंडीगुल स्थित एआर डेयरी कंपनी पलानी मुरुगन मंदिर को घी की आपूर्ति कर रही है और उस कंपनी के प्रमुख राजशेखरन पलानी मंदिर के प्रबंध समिति के अध्यक्ष के रूप में कार्य कर रहे हैं, जो संदेह पैदा करता है. उन्होंने कहा कि तमिलनाडु सरकार को उन्हें हटाकर कंपनी से घी की खरीद बंद करने के लिए कदम उठाने चाहिए.
तमिलनाडु सरकार ने इस संबंध में कहा है कि पलानी मंदिर के लिए प्रसाद में आविन कंपनी की घी का इस्तेमाल किया जाता है. साथ ही पलानी मंदिर न्यासी मंडल का कार्यकाल पिछले महीने समाप्त हो गया था. यह स्पष्ट किया गया कि राजशेखरन पलानी मंदिर के प्रबंध समिति के अध्यक्ष नहीं बल्कि सदस्य थे.
वहीं, इस मामले में पलानी मंदिर प्रशासन की ओर से भाजपा नेताओं विनोज पी सेल्वम और सेल्वाकुमार के खिलाफ गलत सूचना फैलाने के आरोप में पलानी आदिवरम पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई गई है.
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