शिमला: कोरोना की वजह से पर्यटन व्यवसाय बुरी तरह से प्रभावित हुआ है. प्रदेश में रेस्टोरेंट और होटल लंबे समय से बंद पड़े हैं, जिसके चलते हिमाचल में पर्यटन कारोबारियों को बड़ा झटका लगा है.
ऐसे में पर्यटन कारोबारियों ने प्रदेश सरकार से उम्मीद लगा रखी है. समर सीजन खाली जाने की वजह से होटल कारोबारियों को भारी नुकसान के बावजूद होटल मालिकों के लाखों के बिल का भुगतान करना पड़ रहा है. शिमला होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन ने बिलों में रियायत को लेकर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मुलाकात की.
संघ की मांग है कि बिजली, पानी और गारबेज के बिलों में रियायत दी जाए. शिमला होटल एंड रेस्टोरेंट ऐसोसिएशन के अध्यक्ष संजय सूद ने कहा कि इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि समर सीजन पूरी तरह से खाली गया हो और जीरो आमदनी हुई है.
ऐसे में लाखों में बिजली बिल और अन्य चार्जिज देना बहुत मुश्किल है. उन्होंने कहा कि विभिन्न बिलों और फीस में रियायत की मांग को लेकर ऐसोसिएशन ने मुख्यमंत्री से मुलाकात की.
संजय सूद का कहा है कि मुख्यमंत्री ने आश्वासन देते हुए पूरा सरयोग देने की बात कही है. संजय सूद ने बताया कि कोरोना के चलते पर्यटन कारोबारियों को काफी नुकसान हुआ है. ऐसे में अगर सरकार की तरफ से रियायत मिल जाती है तो उन्हें कुछ हद तक राहत मिलेगी.
उन्होंने कहा कि होटलों से आय नहीं हो पा रही है. कर्मचारियों को वेतन देने के साथ भारी भरकम बिल चुकाना मुश्किल है. हालांकि सरकार से सहयोग की उम्मीद दी है.