शिमला: आज हनुमान जयंती पर राजधानी शिमला के प्रसिद्ध जाखू मंदिर सहित प्रदेश के हनुमान मंदिरों में पूजा-अर्चना का दौर सुबह से जारी है,जो रात तक जारी रहेगा.कई मंदिरों में सुबह सुंदरकांड का आयोजन हुआ तो कई जगहों पर शाम को हनुमान चालीसा और सुंदरकांड का आयोजन सहित हनुमान जी की आरती की जाएगी.
जाखू मंदिर में चढ़ा सवा क्विंटल का रोट: राजधानी शिमला में हनुमान जयंती धूमधाम से मनाई जा रही है. हनुमान जयंति के उपलक्ष्य में जाखू मंदिर में सुबह 4 बजे मंदिर के कपाट खुलने के साथ ही भक्तों का तांता लग गया. भक्तों की तरफ से हनुमान की विशेष पूजा -अर्चना का आयोजन किया गया. इस अवसर पर जाखू मंदिर में बजरंगबली को सवा क्विंटल का रोट चढ़ाया गया, जिसे विशेषकर गाय के दूध से बनाया गया था. मंदिर के पुजारी ने सवा क्विंटल रोट का भोग भगवान हनुमान को लगाया. उसके बाद यह प्रसाद के रूप में भक्तों को वितरित किया गया.
10 सालों से चढ़ाया जा रहा रोट : मंदिर के पुजारी बीपी शर्मा ने बताया कि सचिवालय के अधिकारी और कर्मचारी पिछले 10 सालों से लगातार यहां पर रोट और भंडारे का आयोजन करते आ रहे हैं. यह आयोजन लोक कल्याण के लिए प्रतिवर्ष किया जाता है. इस वर्ष भंडारे में स्थानीय लोगों सहित पर्यटकों की भारी संख्या देखने को मिली. इस दौरान जाखू मंदिर व संकटमोचन मंदिर में सुदंर कांड पाठ, हनुमान चालीसा का पाठ किया गया.
सुबह 7 बजे विशेष आरती का आयोजन: इसके अलावा सुबह 7 बजे विशेष आरती के बाद हवन किया गया. साथ ही मंदिर के पुजारी ने हनुमान जी का हार श्रृगांर किया. इसके पश्चात मंदिर में डेढ क्विंटल का रोट हनुमान जी को भोग लगाया गया. इसके साथ हलवे का प्रसाद व लड्डू का भोग भी लगाया गया, जिसे बाद में श्रद्धालुओं को प्रसाद के रूप में वितरित किया गया. वहीं,आज मंदिर परिसर में भजन -कीर्तन का आयोजन चलता रहेगा.
ऐसे बनाया गया भगवान हनुमान के लिए रोट: जाखू मंदिर में हनुमान जी को चढ़ाया जाने वाला रोट को बहुत ही शुद्धता के साथ बनाया गया. इसके लिए सबसे पहले आटे को आटे को गाय के दूध में गूंथा गया. उसके बाद उसकी पूरियों को गाय के घी में तला गया. तलने के बाद पूरियों का चूरा बनाकर मेवों को मिलाया गया. उसके बाद गोल लड्डू बनाए गए,फिर उसके बाद लड्डुओं को भगवान हनुमान को अर्पित किया गया.
ये भी पढ़ें : पत्नी मल्लिका नड्डा के साथ भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भगवान हनुमान का लिया आशीर्वाद