शिमला: हिमाचल के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर द्वारा शनिवार को अपना बजट पेश किया गया. इस बजट को विपक्ष ने जन विरोधी करार दिया है और पुरानी योजनाओं को नए तरीके से पेश करने के आरोप लगाए हैं. कांग्रेस विधायक विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि प्रदेश पूरी तरह से कर्ज के बोझ के तले दबा है. प्रदेश सरकार हर महीने टैक्स ले रही है. ऐसे में सरकार ने 50000 करोड़ का बजट पेश किया है. इन योजनाओं के लिए बजट कहां से आए आएगा इसका सरकार ने जिक्र नहीं किया है.
इसके अलावा स्वास्थ्य और रोजगार के क्षेत्र में कोई प्रावधान नहीं किया गया है. इस बजट में कर्मचारियों को कुछ नहीं दिया गया बल्कि और जो नई योजनाएं भी इस बजट में दर्शाई गई हैं वह पहले पिछले बजट में भी शामिल थी. उन्होंने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारी का आंकड़ा 1400000 से भी ऊपर पहुंच गया है. ऐसे में इन बेरोजगारों को रोजगार देने का इस बजट में कहीं प्रावधान नजर नहीं आ रहा है.
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हालांकि सरकार ने बजट में तीस हजार सरकारी पद भरने की घोषणा तो की है, लेकिन यह पद कब भरे जाएंगे इसका भी कोई पता नहीं है उन्होंने कहा कि घोषणाएं करने से कुछ नहीं होता है. विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि इस सरकार ने इन्वेस्टर मीट कर 80 हजार करोड़ का निवेश करने की भी बात कही थी, लेकिन अभी तक कुछ नहीं हुआ.
वहीं, कांग्रेस विधायक आशीष बुटेल ने कहा कि यह बजट आगे दौड़ पीछे चौड़ वाला बजट है. इस बजट से समाज के किसी भी वर्ग का भला होने वाला नहीं है. बजट में किसी भी वर्ग को कोई राहत इस सरकार ने नहीं दी है.
महंगाई को रोकने के लिए कोई भी बात नहीं की गई है और स्वास्थ्य के क्षेत्र में जो करने की बात कर रहे हैं उसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि टांडा मेडिकल कॉलेज में सीटी स्कैन सहित कई मशीनें खराब पड़ी हैं, लेकिन उन्हें दुरुस्त करने का बजट में कोई प्रावधान नहीं है और नई मशीन लेने की बात बजट में कही गई है.
'ना तो कर्मचारियों के लिए और ना ही बेरोजगार युवाओं के लिए कोई घोषणा'
कांग्रेस विधायक सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि इस बजट में ना तो कर्मचारियों के लिए और ना ही बेरोजगार युवाओं के लिए कोई घोषणा इस सरकार ने की है. बजट में किसानों के लिए भी कोई राहत नहीं दी गई है. देशभर में किसान आंदोलन कर रहे हैं इस सरकार को चाहिए था कि प्रदेश में कम से कम किसानों को सब्जियों पर एमएसपी का प्रावधान करती, लेकिन ऐसा इस बजट में कुछ नहीं है.
'नशे को खत्म करने के बजाय प्रदेश में भांग की खेती पर विचार'
सुक्खू ने कहा कि प्रदेश में युवा बेरोजगार घूम रहे हैं और युवा नशे में संलिप्त हो रहे हैं. सरकार नशे को खत्म करने के बजाय प्रदेश में भांग की खेती को कानूनी बनाने की बात कर रही है. सरकार की सबसे ज्यादा कमाई जहां शराब से होती थी अब यह सरकार भांग से भी कमाई करना चाहती है. सुक्खू ने कहा कि जयराम ठाकुर वित्त मंत्री तो थे ही शायरी वाले मंत्री भी बन गए हैं अपने बजट के दौरान उन्होंने 14 बार शेर पढ़े हैं और जैसे ही उनके विधायक सोने लगते थे तो उनको जगाने के लिए मुख्यमंत्री को शेर पढ़ने पढ़ रहे थे.
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