शिमला: भारतीय जनता पार्टी प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद सुरेश कश्यप ने सभी हिमाचल वासियों एवं देशवासियों को हिंदी दिवस की शुभकामनाएं दी. इस अवसर पर उन्होंने कहा एक देश की पहचान उसकी सीमा और भूगोल से होती है, लेकिन उसकी सबसे बड़ी पहचान उसकी भाषा है.
सुरेश कश्यप ने कहा भारत की विभिन्न भाषाएं और बोलियां उसकी शक्ति भी हैं और उसकी एकता का प्रतीक भी. सांस्कृतिक व भाषाई विविधता से भरे भारत में ‘हिंदी’ सदियों से पूरे देश को एकता के सूत्र में पिरोने का काम कर रही है. उन्हींने सभी भाजपा कार्यकर्ताओं से यह आवाहन भी किया कि हिंदी का अधिक से अधिक प्रयोग कर उनके संरक्षण एवं संवर्धन में अपना योगदान देने का संकल्प लें.
बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष सुरेश कश्यप ने कहा, हिंदी भारतीय संस्कृति का अटूट अंग है. स्वतंत्रता संग्राम के समय से यह राष्ट्रीय एकता और अस्मिता का प्रभावी और शक्तिशाली माध्यम रही है. हिंदी की सबसे बड़ी शक्ति इसकी वैज्ञानिकता, मौलिकता और सरलता है. मोदी सरकार की नई शिक्षा नीति 2020 से हिंदी और अन्य भारतीय भाषाओं का समांतर विकास होगा. उन्होंने कहा कि हिंदी हमारी मातृभाषा है और हिंदी पर हमें गर्व है. 14 सितम्बर 1949 को संविधान सभा ने एक मत से यह निर्णय लिया कि हिंदी ही भारत की राजभाषा होगी.
बता दें कि 949 में भारत की संविधान सभा ने हिंदी को नवगठित राष्ट्र की आधिकारिक भाषा के रूप में अपनाया. इसी महत्वपूर्ण निर्णय के महत्व को प्रतिपादित करने और हिंदी को हर क्षेत्र में प्रसारित करने के लिए राष्ट्रभाषा प्रचार समिति, वर्धा के अनुरोध पर वर्ष 1953 से पूरे भारत में 14 सितंबर को प्रतिवर्ष हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है.
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