मंडी: हिमाचल प्रदेश शिक्षा विभाग द्वारा 17 अप्रैल 2023 को पत्र जारी करके जेबीटी की भर्ती प्रक्रिया में बीएड डिग्री धारकों को योग्य माने जाने के फैसले से प्रदेश के दो लाख बीएड डिग्री धारकों के चेहरे खिल उठे हैं. आज मंडी में आयोजित पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुए हिमाचल बीएड बेरोजगार यूनियन के प्रदेशाध्यक्ष राजेश गौतम ने प्रदेश के दो लाख बीएड डिग्री धारकों को जेबीटी की भर्ती प्रक्रिया में शामिल करने पर आभार जताया.
यूनियन ने सरकार से मांग उठाई है कि भविष्य में जेबीटी की बैचवाईज या कमीशन वाली भर्ती को जेबीटी की टेट परीक्षा का आयोजन करवाने के बाद ही किया जाए. इन्होंने सरकार से मांग उठाई है कि मंत्रीमंडल ने स्कूल लैक्चरर के जिन 530 पदों को भरने की मंजूरी प्रदान की है उन्हें जल्द से जल्द विज्ञापित किया जाए. वहीं, शेष रह रहे खाली पदों को भरने की प्रक्रिया भी जल्द शुरू की जाए. 2019 में पोस्ट कोड 721 के तहत जो परीक्षा आयोजित की गई थी उसमें 1135 बी.एड. धारकों को बाहर का रास्ता दिखाया गया था. इस मामले में भी सरकार जल्द से जल्द न्याय प्रदान करे.
यूनियन ने सरकार से मांग उठाई कि कोरोना काल और न्यायलय विवादों के कारण बहुत सी भर्तियां प्रभावित हुई हैं. ऐसे में 45 वर्ष की आयु पूरी कर चुके लोगों को एकमुश्त छूट प्रदान की जाए और सेवानिवृति की आयुसीमा को बढ़ाया जाए. नई भर्ती एजेंसी का जल्द से जल्द गठन किया जाए. नए नियमों के तहत भर्ती करने की बातें भी कही जा रही हैं, जबकि पुराने नियमों के तहत ही सारी भर्तियां की जाएं.
एसएमसी के तहत सरकार जो भर्तियां होने जा रही हैं उन भर्तियों को ना किया जाए क्योंकि इसमें बैकडोर से भर्तियां अधिक होती हैं. निजी स्कूलों में कार्यरत अध्यापकों का अनुभव सरकारी नौकरी में मान्य नहीं होता है. माननीय मुख्यमंत्री महोदय से यूनियन ने निवेदन किया है कि इसको तुरंत प्रभाव से लागू किया जाए.
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