मंडीः गांव में लोगों को आर्थिक तौर पर समृद्ध बनाने के लिए आरंभ की गई मनरेगा योजना जमीन पर काम नहीं कर पा रही है. इस बात का खुलासा 31 मार्च 2019 को समाप्त हुए वित्त वर्ष में तैयार की गई रिपोर्ट में हुआ है.
इस रिपोर्ट के मुताबिक करसोग की 54 पंचायतों में मनरेगा के 550 के करीब ऐसे काम हैं, जो शुरू तो हुए, लेकिन तय समयावधि में इन कार्यों को समाप्त नहीं किया गया है. जिस कारण ये सभी काम बीडीओ ऑफिस की सूची में पेंडिंग चल रहे हैं.
जिससे पंचायतों में नए काम के लिए मस्टररोल जारी करने में भी परेशानियां हो रही है. मामले की गंभीरता को देखते हुए बीडीओ करसोग ने सभी पंचायतों को मनरेगा नियमों के तहत काम को पूरा करने के आदेश जारी किए हैं.
वहीं, बीडीओ करसोग राजेंद्र सिंह टेजटा का कहना है कि पंचायतों में मनरेगा के काम डमी पर पूरे नही हो रहे हैं. इस बारे में 31 मई को सभी पंचायतों को दिशा निर्देश-जारी किए गए हैं. उन्होंने कहा कि सभी पंचायतों को इन आदेशों की सख्ती से पालना करना होगा.
पंचायतों को इन आदेशों का भी करना होगा पालन:
बीडीओ ऑफिस से जारी आदेशों के मुताबिक पंचायतों को काम की डिमांड करने वाले लोगों को समय पर रोजगार देना होगा. इसके अतिरिक्त लोगों को मस्टररोल में निर्धारित दिन से ही काम पर भेजना होगा.
लाभार्थी द्वारा मस्टररोल को कार्य स्थल पर साथ रखना होगा. यही नहीं मनरेगा के कार्य को केवल रोजगार चाहने वालों से ही पूरा करवाना होगा. इसमें किसी भी तरह की मशीनरी का उपयोग नहीं किया जा सकता है.
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