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पर्यटन क्षेत्र में टैक्स बढ़ाने से पर्यटन व्यवसायियों को हो रहा नुकसान, सरकार ले सुध- शांता नेगी

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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Sep 27, 2023, 4:03 PM IST

किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी ने कहा कि आज प्रदेश के अंदर सरकार द्वारा पर्यटन क्षेत्र में हर काम पर टैक्स बढ़ाया है. जिसके चलते पर्यटन व्यवसाय में आर्थिक रूप से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. पढ़ें पूरी खबर...

Kinnaur Local News
किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी
किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी

किन्नौर: जिला किन्नौर अपने पर्यटन क्षेत्र व प्राकृतिक सौन्दर्य के लिए पूरे विश्वभर में जाना जाता है. लिहाजा अब पर्यटन के माध्यम से यहां के लोग अच्छी आमदनी भी कमा रहे हैं. जिले में सेब, मटर, आलू के बाद लोगों की आमदनी में अब पर्यटन भी शामिल हुआ है. ऐसे में सैकड़ों लोग पर्यटन के व्यवसाय में होटल, होम स्टे, ट्रेकिंग, रिवर राफ्टिंग, बोटिंग, टैक्सी व कई अन्य तरीकों से अच्छी कमाई कर रहे हैं, लेकिन इस साल वर्तमान सरकार द्वारा टूरिज्म के क्षेत्र में टैक्स की बढ़ोतरी कर पर्यटन क्षेत्र के सभी व्यवसायियों पर आर्थिक बोझ डाल दिया है. जिससे पर्यटन व्यवसाय पर इसका प्रभाव भी देखने को मिल रहा है. ये हम नहीं बल्कि पर्यटन व्यवसाय से जुड़े लोग कह रहे हैं.

किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी ने मीडिया से रूबरू होते हुए कहा कि जहां प्रदेश सरकार पर्यटन के क्षेत्र को विकसित करने पर बड़ी-बड़ी बातें करती है. वहीं, धरातल पर वह बातें शून्य साबित हो रही हैं. उन्होंने कहा कि आज प्रदेश के अंदर सरकार द्वारा पर्यटन क्षेत्र में हर कार्य पर टैक्स बढ़ाया है. जिसके चलते पर्यटन व्यवसाय में आर्थिक रूप से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. खासकर टैक्सी चालक जिन्होंने नई टैक्सी खरीदी हैं और वह लोग जिन्होंने नए होटल के भवन निर्माण हेतू बैंकों से कर्ज लिया है व अन्य व्यवसायी जो केवल मात्र पर्यटन के व्यवसाय पर ही आर्थिक रूप से टिके हैं. उन्हें भी टैक्स बढ़ाने के चलते कमाई कम और टैक्स की भरपाई ज्यादा करनी पड़ रही है. जहां कमाई का आधा अंश टैक्स के रूप में भरना पड़ रहा है. जिससे लोगों को पर्यटन क्षेत्र में कई दिक्कतें पेश आ रही हैं.

ये भी पढ़ें- World Tourism Day: अगर जा रहे हैं कुल्लू-मनाली तो विभिन्न पर्यटन स्थलों का करें दीदार

शांता नेगी ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के अधिकतर क्षेत्रों में इस साल जून, जुलाई में बारिश के चलते अन्य क्षेत्रों के साथ-साथ पर्यटन क्षेत्रों में व्यवसायियों को करोड़ों का नुकसान हुआ है, लेकिन सरकार टैक्स कम करने के बजाए पर्यटन व्यवसायियों पर आर्थिक बोझ देकर लोगों से रोजगार छीनने का काम कर रही है. जिससे नए युवा जो पर्यटन क्षेत्र में रोजगार के अवसर तलाश रहे हैं उन्हें भी पर्यटन क्षेत्र में काम करने में दिक्कतें आ रही हैं. ऐसे में उन्होंने प्रदेश सरकार से पर्यटन क्षेत्र में टैक्स को कम करने का आग्रह किया है, ताकि पर्यटन क्षेत्र में काम करने वाले लोगों को परेशानी ना हो.

ये भी पढ़ें- World Tourism Day: हिमाचल आए तो इन जगहों का दीदार करना ना भूलें, शिमला के आसपास कुदरत की गोद में बसे हैं ये टूरिस्ट स्पॉट, यहां की प्राकृतिक सुंदरता मोह लेगी मन

किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी

किन्नौर: जिला किन्नौर अपने पर्यटन क्षेत्र व प्राकृतिक सौन्दर्य के लिए पूरे विश्वभर में जाना जाता है. लिहाजा अब पर्यटन के माध्यम से यहां के लोग अच्छी आमदनी भी कमा रहे हैं. जिले में सेब, मटर, आलू के बाद लोगों की आमदनी में अब पर्यटन भी शामिल हुआ है. ऐसे में सैकड़ों लोग पर्यटन के व्यवसाय में होटल, होम स्टे, ट्रेकिंग, रिवर राफ्टिंग, बोटिंग, टैक्सी व कई अन्य तरीकों से अच्छी कमाई कर रहे हैं, लेकिन इस साल वर्तमान सरकार द्वारा टूरिज्म के क्षेत्र में टैक्स की बढ़ोतरी कर पर्यटन क्षेत्र के सभी व्यवसायियों पर आर्थिक बोझ डाल दिया है. जिससे पर्यटन व्यवसाय पर इसका प्रभाव भी देखने को मिल रहा है. ये हम नहीं बल्कि पर्यटन व्यवसाय से जुड़े लोग कह रहे हैं.

किन्नौर जिले के जिला परिषद सदस्य शांता नेगी ने मीडिया से रूबरू होते हुए कहा कि जहां प्रदेश सरकार पर्यटन के क्षेत्र को विकसित करने पर बड़ी-बड़ी बातें करती है. वहीं, धरातल पर वह बातें शून्य साबित हो रही हैं. उन्होंने कहा कि आज प्रदेश के अंदर सरकार द्वारा पर्यटन क्षेत्र में हर कार्य पर टैक्स बढ़ाया है. जिसके चलते पर्यटन व्यवसाय में आर्थिक रूप से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. खासकर टैक्सी चालक जिन्होंने नई टैक्सी खरीदी हैं और वह लोग जिन्होंने नए होटल के भवन निर्माण हेतू बैंकों से कर्ज लिया है व अन्य व्यवसायी जो केवल मात्र पर्यटन के व्यवसाय पर ही आर्थिक रूप से टिके हैं. उन्हें भी टैक्स बढ़ाने के चलते कमाई कम और टैक्स की भरपाई ज्यादा करनी पड़ रही है. जहां कमाई का आधा अंश टैक्स के रूप में भरना पड़ रहा है. जिससे लोगों को पर्यटन क्षेत्र में कई दिक्कतें पेश आ रही हैं.

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शांता नेगी ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के अधिकतर क्षेत्रों में इस साल जून, जुलाई में बारिश के चलते अन्य क्षेत्रों के साथ-साथ पर्यटन क्षेत्रों में व्यवसायियों को करोड़ों का नुकसान हुआ है, लेकिन सरकार टैक्स कम करने के बजाए पर्यटन व्यवसायियों पर आर्थिक बोझ देकर लोगों से रोजगार छीनने का काम कर रही है. जिससे नए युवा जो पर्यटन क्षेत्र में रोजगार के अवसर तलाश रहे हैं उन्हें भी पर्यटन क्षेत्र में काम करने में दिक्कतें आ रही हैं. ऐसे में उन्होंने प्रदेश सरकार से पर्यटन क्षेत्र में टैक्स को कम करने का आग्रह किया है, ताकि पर्यटन क्षेत्र में काम करने वाले लोगों को परेशानी ना हो.

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