हमीरपुर: जिला में पैंगोलिन (Pangolin) की खाल यानि स्केलस की तस्करी के मामले में वन विभाग के अधिकारियों ने नया खुलासा किया है. पहले वन विभाग के अधिकारियों की तरफ से कहा जा रहा था कि हिमाचल में पैंगोलिन नहीं पाया जाता है, लेकिन अब पिछली रिपोर्टस की जांच के बाद पैंगोलिन के हिमाचल में पाए जाने के विभाग को प्रमाण प्राप्त हुए हैं.
वहीं, पुलिस की तरफ से पहले ही इस मामले में यह दावा किया जा रहा था कि पैंगोलिन (Pangolin) हिमाचल में पाया जाता है. वहीं, अब डीएफओ हमीरपुर एलसी वंदना ने भी इसकी पुष्टि की है. शनिवार को मीडिया से रूबरू होते हुए उन्होंने कहा कि वाइल्ड लाइफ विंग से प्राप्त जानकारी के अनुसार हिमाचल में कुछ समय पहले पैंगोलिन को रेस्कयू करने की रिपोर्ट दर्ज हुई हैं.
हिमाचल के कांगड़ा में पैंगोलिन रिपोर्ट हुआ है
डीएफओ एलसी वंदना का कहना है कि हिमाचल के कांगड़ा में पैंगोलिन रिपोर्ट हुआ है. वाइल्ड लाइफ विंग की तरफ से पैंगोलिन को कुछ समय पहले रेस्कयू किया गया है. ऐसे में निचले हिमालय में पैंगोलिन (Pangolin) पाए जाने की संभावना है.
पहले यह कयास लगाए जा रहे थे कि हिमाचल में यह नहीं पाया जाता है, लेकिन यह कुछ समय पहले हिमाचल में रिपोर्ट हुआ है. निचले हिमालय के गर्म इलाकों कांगड़ा, हमीरपुर और ऊना में इसके पाए जाने की संभावना है.
जांच में जुटी पुलिस
गौरतलब है कि इस मामले सदर थाना हमीरपुर पुलिस जांच में जुटी है. आरोपी पुलिस रिमांड पर है. सदर थाना हमीरपुर के एसएचओ प्रशांत ठाकुर का कहना है कि मामले में कुछ और लोगों से भी पूछताछ की जा रही है.
लाखों में स्केलस की कीमत
कुछ दिन पहले हमीरपुर जिला के भोटा क्षेत्र में पैंगोलिन (Pangolin) की स्केलस के साथ एक आरोपी को पकड़ा गया था. यह आरोपी ऑनलाइन पैंगोलिन (Pangolin) की स्केलस को बेचने की फिराक में था. इन स्केलस की कीमत लाखों रुपये बताई जा रही है. वहीं, वन विभाग के अधिकारियों की पुष्टि के बाद पुलिस की जांच को दिशा और अधिक बल मिलेगा.
क्या होता है पैंगोलिन?
सांप, छिपकली की तरह दिखने वाला ये जीव स्तनधारी जीवों की श्रेणी में आता है. दशकों से दुनियाभर के देशों से इसकी तस्करी हो रही है और तस्करी के जरिए पैंगोलिन चीन या फिर वियतनाम पहुंच रहे हैं.
इस जीव को मार कर दवाएं बनाई जाती हैं, जो काफी महंगे दामों पर चीन के कोने-कोने में अमीरों तक पहुंचती हैं. हालत ये हुई कि पैंगोलिन (Pangolin) विलुप्त होने वाले जीवों की श्रेणी में पहुंच गए. ये शर्मीले जीव धरती पर लगभग 60 मिलियन सालों से पाए जाते हैं. ये चींटियां खाकर गुजारा करते हैं.
लालच में तस्कर पैंगोलिन को देते हैं दर्दनाक मौत
बेहद शर्मीले स्वभाव का पैंगोलिन (Pangolin) खुद को जरा सा भी खतरा महसूस होने पर फुटबॉल का आकार ले लेता है. उसका बाहरी आवरण यानी शल्क इतना कठोर होता है कि हमलावर कोई नुकसान नहीं पहुंचा पाते हैं, मगर इस शल्क के लालच में तस्कर उसे दर्दनाक मौत के घाट उतार देते हैं. पकड़ने के बाद उसे जिंदा ही खौलते पानी में डाल दिया जाता है, ताकि आसानी से शल्क शरीर से अलग हो जाए.
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