हमीरपुर: जिले के भोरंज उपमंडल में तेंदुए के डर से दहशत का माहौल बन गया है. ताजा मामले में कड़ोहता गांव के पंचायत उप प्रधान तेंदुए का शिकार होने से बाल-बाल बचा.बताया जा रहा है कि कड़ोहता ग्राम पंचायत में पांच दिनों से लगातार तेंदुआ रात को घरों के आस पास घूम रहा है. वहीं दूसरी ओर वन विभाग को इस बारे सूचित करने पर विभाग तेंदुए को पकड़ने की बजाए लोगों को पटाखे चलाने की हिदायत दे रहा है. ग्रामीणों ने वन विभाग से इस तेंदुए को मारने या पिंजरा लगाकर पकड़ने की मांग उठाई है.
उपप्रधान विरेंद्र डोगरा ने कहा कि कार चालक के हॉर्न बजाने के बाद जैसे ही वह रसोई से बाहर निकले तो तेंदुआ उनके घर के आंगन में पहुंच चुका था. उन्होंने शोर मचाकर अपनी जान बचाई. शोर सुनकर गांव के लोग भी इकट्ठा हो गए और अफरा तफरी मच गई.उपप्रधान ने बताया कि बीते दिन भी यहां तेंदुए ने एक आवारा कुत्ते को अपना शिकार बनाया. तेंदुआ कभी भी ग्रामीणों पर हमला कर सकता है. गांव के करीब एक दर्जन कुत्तों को तेंदुआ अपना शिकार बना चुका है और महज पटाखे चलाने से ये खतरा कम नहीं होगा. विभाग को तेंदुए को पिंजरा लगाकर पकड़ना चाहिए या फिर इसे मार देना चाहिए ताकि ये किसी आदमी को अपना शिकार ना बनाए.
तेंदुए की वजह से हर पल डर के साए में जी रहे ग्रामीण, विभाग ने दी पटाखे चलाने की हिदायत
भोरंज उपमंडल में तेंदुए के डर से दहशत का माहौल बन गया है. ताजा मामले में कड़ोहता गांव के पंचायत उप प्रधान तेंदुए का शिकार होने से बाल-बाल बचा.
हमीरपुर: जिले के भोरंज उपमंडल में तेंदुए के डर से दहशत का माहौल बन गया है. ताजा मामले में कड़ोहता गांव के पंचायत उप प्रधान तेंदुए का शिकार होने से बाल-बाल बचा.बताया जा रहा है कि कड़ोहता ग्राम पंचायत में पांच दिनों से लगातार तेंदुआ रात को घरों के आस पास घूम रहा है. वहीं दूसरी ओर वन विभाग को इस बारे सूचित करने पर विभाग तेंदुए को पकड़ने की बजाए लोगों को पटाखे चलाने की हिदायत दे रहा है. ग्रामीणों ने वन विभाग से इस तेंदुए को मारने या पिंजरा लगाकर पकड़ने की मांग उठाई है.
उपप्रधान विरेंद्र डोगरा ने कहा कि कार चालक के हॉर्न बजाने के बाद जैसे ही वह रसोई से बाहर निकले तो तेंदुआ उनके घर के आंगन में पहुंच चुका था. उन्होंने शोर मचाकर अपनी जान बचाई. शोर सुनकर गांव के लोग भी इकट्ठा हो गए और अफरा तफरी मच गई.उपप्रधान ने बताया कि बीते दिन भी यहां तेंदुए ने एक आवारा कुत्ते को अपना शिकार बनाया. तेंदुआ कभी भी ग्रामीणों पर हमला कर सकता है. गांव के करीब एक दर्जन कुत्तों को तेंदुआ अपना शिकार बना चुका है और महज पटाखे चलाने से ये खतरा कम नहीं होगा. विभाग को तेंदुए को पिंजरा लगाकर पकड़ना चाहिए या फिर इसे मार देना चाहिए ताकि ये किसी आदमी को अपना शिकार ना बनाए.