चंबा: एसएफआई की चंबा इकाई ने शनिवार को छात्र हित की मांगों व समस्याओं को लेकर कॉलेज परिसर में धरना-प्रदर्शन करते हुए जमकर नारेबाजी की. एसएफआई ने मांगों व समस्याओं के जल्द हल न होने की सूरत में उग्र आंदोलन करने चेतावनी दी है.
कक्षाएं लगाने के लिए कमरे तक नहीं
धरना-प्रदर्शन की अगुवाई परिसर अध्यक्षा मीनाक्षी शर्मा व सचिव शाहबाज खान ने की. शाहबाज खान ने कहा कि एचपीयू प्रशासन ने छात्रों को प्रमोट तो कर दिया है, लेकिन अभी तक परिणाम कुछ भी देखने को नहीं मिले हैं. उन्होंने यह भी बताया कि भरमौर जैसे कईं महविद्यालय तो ऐसे हैं जहां कक्षाएं लगाने के लिए कमरे तक नहीं हैं.
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दो क्लर्कों के सहारे चल रहा महाविद्यालय
लिल्हकोठी महाविद्यालय में एक भी प्राध्यापक नहीं है. लिल्ह महाविद्यालय सिर्फ दो क्लर्कों के सहारे है. उन्होंने कहा कि सरकार और एचपीयू प्रशासन को शर्म आनी चाहिए कि फीस देने के बावजूद भी छात्रों को कोई सुविधा नहीं है. उन्होंने कहा कि सरकार व एचपीयू प्रशासन सीधे तौर पर छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं.
सिलेबस में 50 फीसदी कटौती की मांग
मुख्य वक्ता रेहमतुल्ला ने कहा कि कोविड-19 की वजह से लगभग पूरा साल शैक्षणिक संस्थान बंद रहने से कक्षाएं नहीं लग सकी. उन्होंने कहा कि एसएफआई मांग करती है कि एचपीयू सिलेबस में 50 फीसदी की कटौती करे. परीक्षाएं भी आधे सिलेबस के आधार पर करवाई जाएं. उन्होंने कहा कि जल्द इन मांगों के पूर्ण न होने पर एसएफआई आम छात्रों को लामबंद कर बड़ा आंदोलन खड़ा करेगी, जिसकी सारी जिम्मेदारी सरकार व एचपीयू प्रशासन की होगी.
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