ETV Bharat / city

स्कूल खुलने से पहले कोरोना से निपटने की तैयारियां पूरी, कमरों को किया गया सेनिटाइज

author img

By

Published : Sep 20, 2020, 1:14 PM IST

Updated : Sep 20, 2020, 1:21 PM IST

शिमला के लक्कड़ बाजार में स्थित राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला में स्कूल खुलने से पहले ही स्कूल प्रशासन ने कोविड 19 के नियमों के तहत सारी तैयारियां कर ली हैं. प्रिंसिपल भूपेंद्र सिंह ने बताया कि मंत्रिमंडल में लिए गए फैसले के अनुसार 21 सितंबर से 50 फीसदी स्टाफ स्कूलों में पहुंचेंगें, जबकि जो छात्र शिक्षकों से परामर्श लेना चाहते हैं, वो भी अपने अभिभावकों की अनुमति लिखित रूप में लेकर स्कूल आ सकते हैं.

special report on opening schools in shimla during corona  epidemic
डिजाइन फोटो

शिमला: 21 सितंबर से प्रदेश के स्कूलों को खोला जा रहा है. 50 फीसदी स्टाफ स्कूलों में आएगा, जबकि छात्र भी शिक्षकों से परामर्श लेने के लिए अपने अभिभावकों की अनुमति लेकर स्कूलों में आ सकेंगे. ऐसे में स्कूल भी अपने स्तर पर पूरी तैयारी करने में जुट गए हैं.

शिक्षा विभाग की ओर से जो एसओपी जारी की गई है. उसी के तहत स्कूलों में पूरी व्यवस्था की जा रही है, जिससे स्कूल आने वाले शिक्षक और गैर शिक्षकों के साथ जो छात्र परामर्श लेने के लिए स्कूलों में पहुंचेंगे, वो पूरी तरह से सुरक्षित रह सके. स्कूलों में सेनिटाइजेशन की उचित व्यवस्था की जा रही है और कमरों को भी पूरी तरह से सेनिटाइज कर उन्हें सुरक्षित किया जा रहा है. इसी कड़ी में शिमला के राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला लक्कड़ बाजार में स्कूल खुलने से पहले ही पूरी तैयारी की गई है. स्कूल के हॉल सहित कमरों को सेनिटाइज किया गया है.

वीडियो रिपोर्ट

स्कूल में प्रवेश गेट के बाहर ही फुट व हैंड सेनिटाइजर स्टैंड लगाया गया है. यहां पहुंचते ही सबसे पहले शिक्षक, गैर शिक्षक कर्मचारियों के साथ ही छात्र अपने हाथ को सेनिटाइज करेंगे. साथ ही थर्मल स्कैनिंग की जाएगी, जिसकी रिपोर्ट आने के बाद ही शिक्षकों, गैर शिक्षकों और छात्रों को स्कूल में प्रवेश दिया जाएगा.

अगर छात्र स्कूल आते हैं, तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए उन्हें पढ़ाया जाएगा. हालांकि कक्षाएं स्कूलों में नहीं लगेंगी, लेकिन फिर भी स्कूल प्रबंधन ने सभी कक्षाओं को सेनिटाइज किया है. रोजाना सेनिटाइजेशन की इस प्रक्रिया को स्कूल में पूरा किया जाएगा, जिससे कोरोना वायरस से बचाव किया जा सके.

स्कूल के प्रिंसिपल भूपेंद्र सिंह ने बताया कि मंत्रिमंडल में लिए गए फैसले के अनुसार 21 सितंबर से 50 फीसदी स्टाफ स्कूलों में पहुंचेंगें, जबकि जो छात्र शिक्षकों से परामर्श लेना चाहते हैं, वो भी अपने अभिभावकों की अनुमति लिखित रूप में लेकर स्कूल आ सकते हैं. इसी को देखते हुए पूरी व्यवस्था स्कूलों में शिक्षा विभाग की ओर से तैयार की गई एसओपी के तहत की गई है. उन्होंने कहा कि हैंड सेनिटाइजर से लेकर हाथ धोने के लिए साबुन की व्यवस्था के साथ ही थर्मल स्कैनर का प्रबंध भी स्कूल में किया गया है.

भूपेंद्र सिंह ने बताया कि सभी कमरों को सेनिटाइज किया गया है और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया जा सके, इसलिए पूरी व्यवस्था बनाई गई है. उन्होंने बताया कि अभिभावकों को अभी ये बात स्पष्ट नहीं है कि उन्हें अपने बच्चों को स्कूल भेजना अनिवार्य नहीं है. मात्र जिन बच्चों को अपने विषयों से संबंधित कुछ दिक्कतें आ रही हैं. वहीं, छात्र स्कूल आ सकते हैं. नौवीं कक्षा से लेकर बाहरवीं कक्षा तक के छात्र अपने अभिभावकों की अनुमति लेकर स्कूल आ सकते हैं.

ये भी पढ़ें: अभिभावकों ने स्कूल खोलने के फैसले पर जताई आपत्ति, कहा: बच्चे घर में रहेंगे सुरक्षित

शिमला: 21 सितंबर से प्रदेश के स्कूलों को खोला जा रहा है. 50 फीसदी स्टाफ स्कूलों में आएगा, जबकि छात्र भी शिक्षकों से परामर्श लेने के लिए अपने अभिभावकों की अनुमति लेकर स्कूलों में आ सकेंगे. ऐसे में स्कूल भी अपने स्तर पर पूरी तैयारी करने में जुट गए हैं.

शिक्षा विभाग की ओर से जो एसओपी जारी की गई है. उसी के तहत स्कूलों में पूरी व्यवस्था की जा रही है, जिससे स्कूल आने वाले शिक्षक और गैर शिक्षकों के साथ जो छात्र परामर्श लेने के लिए स्कूलों में पहुंचेंगे, वो पूरी तरह से सुरक्षित रह सके. स्कूलों में सेनिटाइजेशन की उचित व्यवस्था की जा रही है और कमरों को भी पूरी तरह से सेनिटाइज कर उन्हें सुरक्षित किया जा रहा है. इसी कड़ी में शिमला के राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला लक्कड़ बाजार में स्कूल खुलने से पहले ही पूरी तैयारी की गई है. स्कूल के हॉल सहित कमरों को सेनिटाइज किया गया है.

वीडियो रिपोर्ट

स्कूल में प्रवेश गेट के बाहर ही फुट व हैंड सेनिटाइजर स्टैंड लगाया गया है. यहां पहुंचते ही सबसे पहले शिक्षक, गैर शिक्षक कर्मचारियों के साथ ही छात्र अपने हाथ को सेनिटाइज करेंगे. साथ ही थर्मल स्कैनिंग की जाएगी, जिसकी रिपोर्ट आने के बाद ही शिक्षकों, गैर शिक्षकों और छात्रों को स्कूल में प्रवेश दिया जाएगा.

अगर छात्र स्कूल आते हैं, तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए उन्हें पढ़ाया जाएगा. हालांकि कक्षाएं स्कूलों में नहीं लगेंगी, लेकिन फिर भी स्कूल प्रबंधन ने सभी कक्षाओं को सेनिटाइज किया है. रोजाना सेनिटाइजेशन की इस प्रक्रिया को स्कूल में पूरा किया जाएगा, जिससे कोरोना वायरस से बचाव किया जा सके.

स्कूल के प्रिंसिपल भूपेंद्र सिंह ने बताया कि मंत्रिमंडल में लिए गए फैसले के अनुसार 21 सितंबर से 50 फीसदी स्टाफ स्कूलों में पहुंचेंगें, जबकि जो छात्र शिक्षकों से परामर्श लेना चाहते हैं, वो भी अपने अभिभावकों की अनुमति लिखित रूप में लेकर स्कूल आ सकते हैं. इसी को देखते हुए पूरी व्यवस्था स्कूलों में शिक्षा विभाग की ओर से तैयार की गई एसओपी के तहत की गई है. उन्होंने कहा कि हैंड सेनिटाइजर से लेकर हाथ धोने के लिए साबुन की व्यवस्था के साथ ही थर्मल स्कैनर का प्रबंध भी स्कूल में किया गया है.

भूपेंद्र सिंह ने बताया कि सभी कमरों को सेनिटाइज किया गया है और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया जा सके, इसलिए पूरी व्यवस्था बनाई गई है. उन्होंने बताया कि अभिभावकों को अभी ये बात स्पष्ट नहीं है कि उन्हें अपने बच्चों को स्कूल भेजना अनिवार्य नहीं है. मात्र जिन बच्चों को अपने विषयों से संबंधित कुछ दिक्कतें आ रही हैं. वहीं, छात्र स्कूल आ सकते हैं. नौवीं कक्षा से लेकर बाहरवीं कक्षा तक के छात्र अपने अभिभावकों की अनुमति लेकर स्कूल आ सकते हैं.

ये भी पढ़ें: अभिभावकों ने स्कूल खोलने के फैसले पर जताई आपत्ति, कहा: बच्चे घर में रहेंगे सुरक्षित

Last Updated : Sep 20, 2020, 1:21 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.