शिमला: राजधानी शिमला में सफाई व्यवस्था चरमरा सकती है. सफाई कर्मचारियों ने नगर निगम के खिलाफ मोर्चा खोल (demands of sanitation workers in Shimla) दिया है और मांगें पूरी न होने पर शहर में सफाई व्यवस्था ठप करने की चेतावनी दे दी है. नगर निगम के नियमित सफाई कर्मचारी (cleanliness in shimla city) और सैहब कर्मचारियों ने बुधवार को नगर निगम की महापौर और आयुक्त को ज्ञापन सौंपा है. जिसमें खाली पदों को भरने के साथ-साथ आउटसोर्स पर की जा रही भर्तियों का विरोध किया है. साथ ही में 5 साल पूरे करने वाले कर्मचारियों को नियमित करने की मांग की है.
सफाई कर्मचारी यूनियन (Shimla Municipal Corporation Sweeper Union) और सैहब सोसाइटी के पदाधिकारियों (SEHAB SOCIETY WORKERS SHIMLA) के साथ करीब आधे घंटे तक बैठक हुई. जिसमें जनवरी के पहले सप्ताह में सभी मांगें पूरी करने का आश्वासन दिया. सफाई कर्मियों ने मांगे पूरी न होने पर सफाई व्यवस्था ठप कर हड़ताल पर जाने की चेतावानी भी दी. नगर निगम के नियमित के अध्यक्ष नागेश ने कहा कि इससे पहले नगर निगम आयुक्त को अपनी मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा गया है, लेकिन फिर भी एमसी में सफाई कर्मचारियों को आउटसोर्स पर भरा जा रहा है. इससे सीधे ठेकेदारों को फायदा पहुंचाने का काम किया जा रहा है और ठेकेदारी प्रथा को बढ़ाया जा रहा है.
इसके अलावा ढाई सौ पद सफाई कर्मियों के दस सालों से खाली चल रहे है जिन्हें भरा नहीं जा रहा है. अब नगर निगम (Municipal Corporation Shimla Latest News) के साथ आज बैठक हुई है और शहरी मंत्री के साथ जनवरी के पहले हफ्ते तक बैठक कर सभी मांगें पूरी करने का आश्वासन दिया गया है और यदि निगम प्रशासन उनकी मांगों को नहीं मानता है तो वे हड़ताल पर चले जाएंगे और शहर में सफाई व्यवस्था ठप कर दी जाएगी जिसके लिए एमसी प्रशासन जिम्मेदार होगा.
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