शिमला: हिमाचल प्रदेश सरकार ने लोकसेवा आयोग के चेयरमैन व मेंबर के लिए सौगात का पिटारा खोला है. चेयरमैन व मेंबर को सेवानिवृत होने के बाद एक हैंडसम अमाउंट मिलेगा. ये रकम एक निश्चित प्रक्रिया के अनुरूप मिलेगी. आयोग के चेयरमैन को अपने सेवाकाल के हर पूर्ण वर्ष पर छह हजार रुपए के हिसाब से पैसे मिलेंगे. तकनीकी रूप से इसे पेंशन की श्रेणी में नहीं रखा जाएगा. इसी तरह आयोग के सदस्य को सेवानिवृत होने पर सेवाकाल के हर पूर्ण वर्ष यानी एवरी कंप्लीट इयर ऑफ सर्विस पर पांच हजार रुपए मिलेंगे. आयोग में ये कार्यकाल छह साल का होता है.
इस तरह चेयरमैन को सेवानिवृत होने पर कम से कम 36 हजार महीना और सदस्य को तीस हजार रुपए महीना मिल सकेगा. एक तरह से सरकार ने पेंशन न देकर एक अन्य रास्ते से राहत पहुंचाई है. इस समय सरकारी कर्मचारी ओपीएस की मांग कर रहे हैं. ऐसे में यदि राज्य सरकार आयोग के चेयरमैन व सदस्य को पेंशन का ऐलान करती तो उसकी तीव्र प्रतिक्रिया होनी थी. आलम ये है कि आयोग के चेयरमैन व सदस्य को इस तरह का वित्तीय लाभ देने वाला फैसला कैबिनेट मीटिंग के बाद जारी होने वाले सरकारी प्रेस नोट में भी नहीं था. उल्लेखनीय है कि लोकसेवा आयोग के चेयरमैन कोई रिटायर्ड नौकरशाह या सेना के उच्च अधिकारी बनते आए हैं.
इसी तरह सदस्य भी समाज के क्रीम सेक्शन (HIMACHAL PRADESH CABINET MEETING DECISION) से आते हैं. यदि सरकार उन्हें पेंशन का ऐलान करती तो निश्चित रूप से आम जनता में तीखी प्रतिक्रिया होनी थी. इससे बचने के लिए सरकार ने ये दूसरा रास्ता अपनाया है. सरकार ने इस राहत के लिए पहले वित्त विभाग के साथ मशविरा किया था. फिर मुख्य सचिव के स्तर पर भी इस मामले पर बैठक हुई थी और अब कैबिनेट में चेयरमैन तथा मेंबर को सेवानिवृति के बाद ये वित्तीय लाभ देने का फैसला हुआ है. इससे पहले चेयरमैन व मेंबर को सेवानिवृति के बाद एक मामूली सी रकम मिलती थी. अब ये एवरी कंप्लीटिड वर्किंग ईयर के हिसाब से दिया जाएगा.
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