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शिमला: कच्ची घाटी में कई भवनों को खतरा, परिवारों को दूसरी जगह किया गया शिफ्ट

शिमला की कच्ची घाटी में गुरुवार को सात मंजिला भवन के गिरने के बाद अन्य भवनों के भी गिरने का खतरा पैदा हो गया है. डीसी शिमला आदित्य नेगी ने बताया कि पीड़ित परिवारों को फौरी राहत प्रदान की गई है. साथ ही, घटनास्थल के आस-पास की मिट्टी की मजबूती की जांच कराई जाएगी.

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फोटो.
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Published : Oct 1, 2021, 1:07 PM IST

शिमला: राजधानी शिमला के कच्ची घाटी में गुरुवार को जमींदोज हुई बहुमंजिला इमारत के बाद आप-पास के अन्य भवनों को भी खतरा पैदा हो गया है. इसके साथ लगते दो भवनों और एक होटल के गिरने का खतरा बढ़ गया है. ऐसे में कुछ परिवारों को जिला प्रशासन ने वहां से शिफ्ट किया गया है. जिला प्रशासन ने बीती रात ही संकट मोचन मंदिर लोक निर्माण विभाग के रेस्ट हाउस और कुछ परिवारों को होटल में शिफ्ट करवा दिया है.

शिमला डीसी आदित्य नेगी ने जानकारी देते हुए कहा कि बिल्डिंग के गिरने से बगल के दोनों भवनों की नींव भी हिल गई है. ऐसे में बारिश के दौरान इनके गिरने का खतरा भी बढ़ गया है. जिला प्रशासन इन भवनों की जांच करवाएगा कि यहां की जमीन कितनी पक्की है.

वीडियो.

आदित्य नेगी ने कहा कि कच्ची घाटी में भवन गिरने से सात परिवार प्रभावित हुए हैं. इसके अलावा एक अन्य भवन भी इसकी चपेट में आया है. इन परिवारों को फौरी राहत के दौर पर 10-10 हजार रुपए की आर्थिक सहायत दी गई है. नुकसान का आंकलन किया जा रहा है. बताया जा रहा है कि इन भवनों के नीचे जमीन खिसक रही है.

आपको बता दें कि शिमला के कच्ची घाटी में हुए हादसे के बाद प्रदेश के शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज घटना स्थल पर पहुंच कर पीड़ित परिवारों से मुलाकात की थी. साथ ही, उन्होंने वहां मौजूद अधिकारियों को पीड़ित परिवारों को राहत प्रदान करने के साथ ही नगर निगम को भवन के गिरने के कारणों का पता लगाने के आदेश दिए थे.

ये भी पढ़ें: बेटे को पुलिस ने चिट्टे के साथ किया गिरफ्तार, सदमे में चली गई डिप्टी डायरेक्टर पिता की जान

शिमला: राजधानी शिमला के कच्ची घाटी में गुरुवार को जमींदोज हुई बहुमंजिला इमारत के बाद आप-पास के अन्य भवनों को भी खतरा पैदा हो गया है. इसके साथ लगते दो भवनों और एक होटल के गिरने का खतरा बढ़ गया है. ऐसे में कुछ परिवारों को जिला प्रशासन ने वहां से शिफ्ट किया गया है. जिला प्रशासन ने बीती रात ही संकट मोचन मंदिर लोक निर्माण विभाग के रेस्ट हाउस और कुछ परिवारों को होटल में शिफ्ट करवा दिया है.

शिमला डीसी आदित्य नेगी ने जानकारी देते हुए कहा कि बिल्डिंग के गिरने से बगल के दोनों भवनों की नींव भी हिल गई है. ऐसे में बारिश के दौरान इनके गिरने का खतरा भी बढ़ गया है. जिला प्रशासन इन भवनों की जांच करवाएगा कि यहां की जमीन कितनी पक्की है.

वीडियो.

आदित्य नेगी ने कहा कि कच्ची घाटी में भवन गिरने से सात परिवार प्रभावित हुए हैं. इसके अलावा एक अन्य भवन भी इसकी चपेट में आया है. इन परिवारों को फौरी राहत के दौर पर 10-10 हजार रुपए की आर्थिक सहायत दी गई है. नुकसान का आंकलन किया जा रहा है. बताया जा रहा है कि इन भवनों के नीचे जमीन खिसक रही है.

आपको बता दें कि शिमला के कच्ची घाटी में हुए हादसे के बाद प्रदेश के शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज घटना स्थल पर पहुंच कर पीड़ित परिवारों से मुलाकात की थी. साथ ही, उन्होंने वहां मौजूद अधिकारियों को पीड़ित परिवारों को राहत प्रदान करने के साथ ही नगर निगम को भवन के गिरने के कारणों का पता लगाने के आदेश दिए थे.

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