शिमला/कुल्लू: हिमाचल प्रदेश में ठेकेदारों ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. सोमवार से सभी ठेकेदारों ने सरकारी निर्माण कार्य रोक दिए गए हैं और सरकार को अनिश्चितकालीन हड़ताल की चेतावनी (Contractors started strike in Himachal) दी है. सोमवार को शिमला सैकड़ों ठेकेदार लोक निर्माण विभाग के कार्यालय विंटर फील्ड पहुंचे और एक्सईएन को ज्ञापन सौंप कर हड़ताल पर जाने की सूचना दी.
इसके साथ ही ठेकेदारों ने नगर निगम कार्यालय पहुंच कर आयुक्त और महापौर को भी ज्ञापन सौंपा. ठेकेदारों ने कहा कि वह 22 फरवरी तक हड़ताल पर रहेंगे और इस दौरान बर्फ हटाने के अलावा कोई अन्य कार्य ठेकेदारों द्वारा नहीं किया जाएगा. हिमाचल प्रदेश ठेकेदार एसोसिएशन (Himachal Pradesh Contractors Association) के अध्यक्ष सतीश विज ने कहा कि सरकार के समक्ष काफी समय से मांगों को उठाया जा रहा है. लेकिन, सरकार इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रही है. जिसके चलते मजबूर होकर ठेकेदारों को हड़ताल पर जाना पड़ रहा है.
उन्होंने कहा कि आज से प्रदेशभर में कोई भी कार्य नहीं किया जाएगा. उन्होंने कहा कि विभागों के अधीन किए जा रहे निर्माण कार्यों में एम फार्म लगाने का फैसला सुनाकर सरकार ने ठेकेदारों की परेशानी बढ़ा दी है. ठेकेदारों का करोड़ों का भुगतान एम फार्म (M Form dispute in Himachal) की वजह से लटक गया है. निर्माण कार्य पूरा करने के उपरांत भी ठेकेदारों को उनका हक नहीं मिल पा रहा है. ऐसे में मुख्यमंत्री को जल्द से जल्द इन मांगों को पूरा करना चाहिए. उन्होंने कहा कि ये हड़ताल 22 फरवरी तक जारी रहेगी.
वहीं, कुल्लू में भी ठेकेदार यूनियन के द्वारा डीसी आशुतोष गर्ग को एक ज्ञापन सौंपा गया और नारेबाजी भी की गई. ज्ञापन के जरिए मांग उठाई गई की मार्च माह से उनके विकास कार्यों के जो भी बिल लंबित पड़े हुए हैं, उन्हें जल्द से जल्द जारी किया जाए. कुल्लू ठेकेदार यूनियन के कार्यकारी अध्यक्ष संजीव ने कहा कि ठेकेदारों के हालात यह है कि वह अपनी लेबर का भुगतान नहीं कर पा रहे हैं.
उन्होंने कहा कि ठेकेदारों के बिल लंबित होने के चलते उन्हें अपने परिवार का भरण पोषण करने में भी खासी दिक्कतें उठानी पड़ रही हैं. संजीव ने कहा कि इस मुद्दे को सरकार के समक्ष रखा गया था, लेकिन सरकार इस मसले को हल करने में नाकाम साबित रही है. इसका नतीजा यह है कि ठेकेदारों को हड़ताल करनी पड़ रही है. उन्होंने कहा कि अगर उनके इस मुद्दे को सरकार जल्द हल नहीं करती है, तो वे अपनी हड़ताल (Himachal Contractors On Strike) जारी रखेंगे.
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