शिमलाः कोरोना संक्रमण के दौरान सरकार ने कोविड फंड में सरकारी कर्मियों और विधायकों के वेतन में कटौती की है. सरकार ने विधायकों के वेतन में 30 फीसदी कटौती की है. वहीं, कांग्रेस विधायक सुखविंदर सिंह सुक्खू ने महामारी तक केवल एक रुपया वेतन लेने का फैसला लिया है.
इसको लेकर सुक्खू ने प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष को एक पत्र भी दिया है. जिसमें लिखा गया है कि प्रदेश के साथ ही देश कोरोना महामारी से जूझ रहा है. जनप्रतिनिधि होने के नाते जरूरतमंद व गरीब लोगों की सहायता उनका दायित्व है, ऐसे में उन्होंने निर्णय लिया है कि उनका मूल वेतन जनता की मदद के लिए उपयोग किया जाए.
![Congress MLA Sukhwinder Singh Sukhu took a big decision, will take one rupee salary](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/hp-sml-shimlacangressmlasukhvindersingh-img-hp10009_24052020215130_2405f_1590337290_154.jpg)
इसके तहत जब तक कोरोना महामारी रहेगी तब तक वह सिर्फ एक रुपया वेतन लेंगे. सुक्खू ने कहा कि वे दिसम्बर माह या जबतक ये महामारी रहती है, तब तक सिर्फ एक रुपए वेतन के रूप में लेंगे. उन्होंने कहा कि ‘मैं अपना वेतन कोरोना काल में प्रदेश की जनता की सेवा के लिए दे रहा हूं’. उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधि होने के नाते ये हमारा कर्तव्य है कि इस संकट की घड़ी में उनकी मदद की जाए.
बता दे कि हिमाचल में विधायक का प्रतिमाह वेतन और भत्ते मासिक 2.10 लाख रुपए के आसपास बनते हैं. प्रदेश में माननीयों के लिए 15 हजार रुपए प्रतिमाह टैलीफोन भत्ते का भी प्रावधान है. इसके साथ ही साल में विधायकों को यात्रा करने के लिए 2.50 लाख रुपए का प्रावधान है. विधायकों को प्रतिदिन अधिकतम यह राशि 7500 रुपए तक देय करने का प्रावधान है.
इसके अलावा पूर्व विधायकों को भी सालाना 1.25 लाख रुपए दिए जाने का प्रावधान किया गया है, साथ ही पूर्व विधायकों को भी प्रतिदिन 7500 रुपए अधिकतम देय करने का प्रावधान है. विधायक व पूर्व विधायक इसके लिए रेल, वायु एवं बस के माध्यम से सफर कर सकते हैं, जिसकी एवज में उन्हें यह सुविधा दिए जाने का प्रावधान है. डाटा आप्रेटर अलाऊंस के तौर पर 15 हजार रुपए और ऑफिस अलाऊंस को लेकर 30 हजार रुपए का प्रावधान है.