शिमला: चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी में अश्लील वीडियो मामले में लगातार नए खुलासे सामने आ रहे हैं. रविवार को सोशल मीडिया पर अपनी फोटो वायरल होने के बाद रंकज वर्मा ने खुद शिमला पुलिस से अप्रोच किया और फोटो वायरल करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी. हालांकि इसके चंद घंटे बाद ही पंजाब पुलिस की सूचना पर हिमाचल पुलिस ने रंकज वर्मा को डिटेन कर लिया. पुलिस ने खुलासा किया कि गिरफ्तार आरोपी लड़की और लड़का सन्नी मेहता पिछले चार साल से रिलेशन में थे. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार लड़की वीडियो रिकॉर्ड करके सन्नी मेहता को भेजती थी और सन्नी मेहता रंकज वर्मा को भेजता था.
आरोपी रंकज वर्मा शिमला की एक (Chandigarh University MMS Case) ट्रैवल एजेंसी में काम करता है. मूल रूप से ठियोग में संधू एरिया के रहने वाले रंकज ने 10वीं तक की पढ़ाई कथोग स्कूल से की. उसने प्लस-टू और ग्रेजुएशन शिमला से की. रंकज के पिता गांव में ही खेतीबाड़ी करते हैं. दूसरी ओर सन्नी मेहता रोहड़ू की एक बेकरी में काम करता है. वहीं, सन्नी मूल रूप से रोहड़ू के खंगटेड़ी का रहने वाला है. उसने अपनी पढ़ाई रोहड़ू से ही की है. गांववालों के अनुसार, उन्होंने सन्नी के कभी इस तरह की गतिविधियों में शामिल रहने के बारे में नहीं सुना. रोहड़ू के डीएसपी चमन लाल ने बताया कि सन्नी पर कोई केस दर्ज नहीं है.
मामले में आरोपी रंकज का भाई (Mohali MMS Case) मीडिया के सामने आया है और उसने अपने भाई को बेकसूर बताया है. साथ ही रंकज के भाई ने सन्नी से जान-पहचान से भी इंकार किया है. रंकज के भाई ने कहा कि उन्हें पंजाब पुलिस की जांच पर भरोसा है. भाई की गिरफ्तारी के बाद से ही रंकज के परिजन मोहाली में हैं. भाई पंकज वर्मा ने कहा कि वह बेकसूर है और वह 18 सितंबर से मोहाली में है. पंकज ने कहा कि उसका भाई और उनका परिवार सन्नी नाम के शख्स को नहीं हैं. उसके भाई की डीपी लगाकर कोई छात्रा से चैट कर रहा था. इस संबंध में उसने ढली थाने में डीडीआर दर्ज करवाई थी. ढली थाने में दर्ज डीडीआर की कापी भी उसने सार्वजनिक की है. आरोपी के भाई पंकज ने कहा कि उसके भाई की गिरफ्तारी सड़क से नहीं की गई है.
वह तीन बार शिमला के ढली थाने में (Chandigarh university viral video case) गए थे. इस पर वहां से पंजाब पुलिस से भी बात की गई. उन्होंने खुद सरेंडर किया है. पंकज ने कहा कि ढली थाने की सीसीटीवी फुटेज देखी जा सकती है. पुलिस के पास कोई पुख्ता सुबूत नहीं. पंकज ने कहा कि फोटो फायरल होने की वजह से उसके भाई और परिवार की बदनामी हो रही है. पंकज ने कहा कि उसका भाई तो छात्रा को जानता तक नहीं है. पंजाब पुलिस के पास अगर वह नंबर है, जिस पर उसके भाई की डीपी लगी है तो वह उस नंबर की जांच करवाएं सच्चाई सामने आ जाएगी. लड़की के मोबाइल में उसकी डीपी वाला जो व्हाट्सएप अकाउंट दिखाया गया है, वह फेक है. न तो मोबाइल नंबर उसका है और न ही आईपी एड्रेस. फिलहाल रंकज को 7 दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा गया है.
यूनिवर्सिटी और पुलिस का दावा: इस मामले पर चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी ने कहा कि छात्राओं के आपत्तिजनक वीडियो शूट करने की अफवाह बिल्कुल निराधार है और गलत है. किसी भी छात्रा का कोई भी वीडियो नहीं पाया गया है, जो आपत्तिजनक हो. केवल एक वीडियो मिला है जो खुद उस छात्रा का है. ये वीडियो उसने अपने प्रेमी के साथ शेयर किया है. यूनिवर्सिटी ने जो दावा किया, वैसा ही दावा मोहाली पुलिस ने भी किया.
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