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नाहन मेडिकल कॉलेज को मिली Laparoscopic Machine, मरीजों को होगी सुविधा

ओपन सर्जरी की अपेक्षा लेप्रोस्कोपिक सर्जरी (laparoscopic machine ) ज्यादा सुरक्षित और दर्दरहित मानी जाती है. इसमें मरीज को परेशानी भी कम होती है. सामान्यत: वह 24 से 72 घंटे में ही चलने-फिरने की स्थिति में आ जाता है. अब तक मेडिकल कॉलेज(dr. ys parmar medical college and hospital nahan) में यह सुविधा मौजूद नहीं थी, लेकिन अब जल्द ही दूरबीन विधि से यहां ऑपरेशन संभव हो सकेंगे.

laparoscopic machine installed
लेप्रोस्कोपिक मशीन
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Published : Nov 24, 2021, 12:25 PM IST

Updated : Nov 24, 2021, 1:55 PM IST

नाहन: डॉ. वाईएस परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन(dr. ys parmar medical college and hospital nahan ) को एक और बड़ी सुविधा से लैस किया गया है. मेडिकल कॉलेज(medical college) को हाल ही में सरकार ने करीब डेढ़ करोड़ रुपये की लागत वाली लेप्रोस्कोपिक मशीन(laparoscopic machine) मुहैया करवाई है. लिहाजा अब यहां दूरबीन वाले ऑपरेशन की जल्द ही सुविधा मिल सकेगी.

दरअसल ओपन सर्जरी की अपेक्षा लेप्रोस्कोपिक सर्जरी (laparoscopic machine ) ज्यादा सुरक्षित और दर्दरहित मानी जाती है. इसमें मरीज को परेशानी भी कम होती है. सामान्यत: वह 24 से 72 घंटे में ही चलने-फिरने की स्थिति में आ जाता है. अब तक मेडिकल कॉलेज(dr. ys parmar medical college and hospital nahan) में यह सुविधा मौजूद नहीं थी, लेकिन अब जल्द ही दूरबीन विधि से यहां ऑपरेशन संभव हो सकेंगे.

मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक डॉ. श्याम कौशिक(senior medical superintendent dr. shyam kaushik) ने बताया कि सरकार द्वारा मेडिकल कॉलेज(medical college and hospital nahan) के ऑपरेशन थियेटर(operation theatre) के लिए करीब डेढ़ करोड़ की लागत वाली लेप्रोस्कोपिक मशीन(laparoscopic machine ) उपलब्ध करवाई गई है. ऐसे में अब एक छोटे से चीरे से दूरबीन के माध्यम से ऑपरेशन संभव हो सकेंगे. उन्होंने बताया कि मेडिकल कॉलेज में बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए सरकार प्रयासरत है.

स्वास्थ्य विशेषज्ञों की मानें तो दूरबीन वाले ऑपरेशनों में सामान्यत: ब्लड की जरूरत नहीं पड़ती है. ओपन सर्जरी(open surgery) की तुलना में मरीज की रिकवरी तेजी(patient recovery) से होती है. मरीज को 24 से 72 घंटे के अंदर अस्पताल से छुट्टी दे दी जाती है. इसके बाद उसे दर्द निवारक दवाएं(pain relievers) भी कम खानी पड़ती हैं.

ये भी पढ़ें: Gold and silver price today: सोने-चांदी की कीमतों में गिरावट जारी, जानें हिमाचल में 10 ग्राम सोने का भाव

नाहन: डॉ. वाईएस परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन(dr. ys parmar medical college and hospital nahan ) को एक और बड़ी सुविधा से लैस किया गया है. मेडिकल कॉलेज(medical college) को हाल ही में सरकार ने करीब डेढ़ करोड़ रुपये की लागत वाली लेप्रोस्कोपिक मशीन(laparoscopic machine) मुहैया करवाई है. लिहाजा अब यहां दूरबीन वाले ऑपरेशन की जल्द ही सुविधा मिल सकेगी.

दरअसल ओपन सर्जरी की अपेक्षा लेप्रोस्कोपिक सर्जरी (laparoscopic machine ) ज्यादा सुरक्षित और दर्दरहित मानी जाती है. इसमें मरीज को परेशानी भी कम होती है. सामान्यत: वह 24 से 72 घंटे में ही चलने-फिरने की स्थिति में आ जाता है. अब तक मेडिकल कॉलेज(dr. ys parmar medical college and hospital nahan) में यह सुविधा मौजूद नहीं थी, लेकिन अब जल्द ही दूरबीन विधि से यहां ऑपरेशन संभव हो सकेंगे.

मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक डॉ. श्याम कौशिक(senior medical superintendent dr. shyam kaushik) ने बताया कि सरकार द्वारा मेडिकल कॉलेज(medical college and hospital nahan) के ऑपरेशन थियेटर(operation theatre) के लिए करीब डेढ़ करोड़ की लागत वाली लेप्रोस्कोपिक मशीन(laparoscopic machine ) उपलब्ध करवाई गई है. ऐसे में अब एक छोटे से चीरे से दूरबीन के माध्यम से ऑपरेशन संभव हो सकेंगे. उन्होंने बताया कि मेडिकल कॉलेज में बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए सरकार प्रयासरत है.

स्वास्थ्य विशेषज्ञों की मानें तो दूरबीन वाले ऑपरेशनों में सामान्यत: ब्लड की जरूरत नहीं पड़ती है. ओपन सर्जरी(open surgery) की तुलना में मरीज की रिकवरी तेजी(patient recovery) से होती है. मरीज को 24 से 72 घंटे के अंदर अस्पताल से छुट्टी दे दी जाती है. इसके बाद उसे दर्द निवारक दवाएं(pain relievers) भी कम खानी पड़ती हैं.

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Last Updated : Nov 24, 2021, 1:55 PM IST
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