ETV Bharat / city

सात सालों में भी नहीं बन पाया धरोटी स्कूल का भवन, खुले में पढ़ाई करने को मजबूर छात्र - राजगढ़ धरोटी हाई स्कूल

शिक्षा खंड राजगढ़ के राजकीय उच्च विद्यालय धरोटी में भी देखा जा सकता हैं. जहां बच्चे भवन के लिए धन का प्रावधान होने के बावजूद भी खुले आसमान के नीचे पढ़ने को मजबूर हैं. स्कूल भवन का काम पिछले लगभग सात सालों से पूरा नहीं हो पाया है.

Dharoti High School building  could not be built in seven years in Rajgarh
फोटो
author img

By

Published : Oct 27, 2020, 3:30 PM IST

Updated : Oct 27, 2020, 4:05 PM IST

राजगढ़ः जिला में शिक्षा विभाग की ओर से हमेशा ही प्रदेश के दूर दराज व ग्रामीण क्षेत्रों में आधुनिक व गुणवत्ता के साथ शिक्षा देने के दावे किये जाते हैं. यह दावे सिर्फ कागजों तक ही सीमित रह जाते हैं.

इसका एक उदाहरण शिक्षा खंड राजगढ़ के राजकीय उच्च विद्यालय धरोटी में भी देखा जा सकता हैं. जहां बच्चे एक भवन के लिए धन का प्रावधान होने के बावजूीद भी खुले आसमान के नीचे पढ़ने को मजबूर है. स्कूल भवन का काम पिछले लगभग सात सालों से पूरा नहीं हो पाया है.

वीडियो रिपोर्ट

गौर रहे कि धरोटी स्कूल वर्ष 2010 में हाई स्कूल बन गया था. शिक्षा विभाग ने भवन निर्माण के लिए 45 लाख रुपये के बजट का प्रावधान करने के बाद भवन के निर्माण का कार्य हिमुडा को दिया गया.

दिसम्बर 2013 में इसका शिलान्यास राज्य योजना बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर ने किया था. नई बिल्डिंग बनाने का काम 2014 में शिमला डिविजन हिमुडा ने शुरू कर दिया था. दो वर्ष में इस दो मंजिला इमारत में दो हाल व चार कमरों का काम बजट की कमी के चलते ठेकेदार ने वर्ष 2016 में रोक दिया. नई सरकार के पूर्व विधायक सुरेश कश्यप और वर्तमान सांसद के सामने भी यह समस्या रखी गई थी. लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ.

जिला सिरमौर के अलग-अलग उपनिदेशकों ने कई बार यहां का दौरा किया है, लेकिन कोई भी स्कूल के लिए बजट का प्रावधान नहीं करवा पाया और बजट के अभाव में 7 वर्ष पूरे होने पर भी कार्य पूरा नहीं हो पा रहा है.

बता दें कि सरकार शिक्षा के क्षेत्र में अपनी उपलब्धियों का गुणगान हर मंच से करती है, लेकिन बच्चों के बैठने के लिए पर्याप्त कमरों को किसी भी माध्यम से बजट उपलब्ध नहीं करवाया जा रहा हैं. इसका खामियाजा धरोटी स्कूल के छात्रों को भुगतना पड़ रहा है. यहां छात्र खुले मैदान में पढ़ने को मजबूर है.

राजगढ़ः जिला में शिक्षा विभाग की ओर से हमेशा ही प्रदेश के दूर दराज व ग्रामीण क्षेत्रों में आधुनिक व गुणवत्ता के साथ शिक्षा देने के दावे किये जाते हैं. यह दावे सिर्फ कागजों तक ही सीमित रह जाते हैं.

इसका एक उदाहरण शिक्षा खंड राजगढ़ के राजकीय उच्च विद्यालय धरोटी में भी देखा जा सकता हैं. जहां बच्चे एक भवन के लिए धन का प्रावधान होने के बावजूीद भी खुले आसमान के नीचे पढ़ने को मजबूर है. स्कूल भवन का काम पिछले लगभग सात सालों से पूरा नहीं हो पाया है.

वीडियो रिपोर्ट

गौर रहे कि धरोटी स्कूल वर्ष 2010 में हाई स्कूल बन गया था. शिक्षा विभाग ने भवन निर्माण के लिए 45 लाख रुपये के बजट का प्रावधान करने के बाद भवन के निर्माण का कार्य हिमुडा को दिया गया.

दिसम्बर 2013 में इसका शिलान्यास राज्य योजना बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर ने किया था. नई बिल्डिंग बनाने का काम 2014 में शिमला डिविजन हिमुडा ने शुरू कर दिया था. दो वर्ष में इस दो मंजिला इमारत में दो हाल व चार कमरों का काम बजट की कमी के चलते ठेकेदार ने वर्ष 2016 में रोक दिया. नई सरकार के पूर्व विधायक सुरेश कश्यप और वर्तमान सांसद के सामने भी यह समस्या रखी गई थी. लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ.

जिला सिरमौर के अलग-अलग उपनिदेशकों ने कई बार यहां का दौरा किया है, लेकिन कोई भी स्कूल के लिए बजट का प्रावधान नहीं करवा पाया और बजट के अभाव में 7 वर्ष पूरे होने पर भी कार्य पूरा नहीं हो पा रहा है.

बता दें कि सरकार शिक्षा के क्षेत्र में अपनी उपलब्धियों का गुणगान हर मंच से करती है, लेकिन बच्चों के बैठने के लिए पर्याप्त कमरों को किसी भी माध्यम से बजट उपलब्ध नहीं करवाया जा रहा हैं. इसका खामियाजा धरोटी स्कूल के छात्रों को भुगतना पड़ रहा है. यहां छात्र खुले मैदान में पढ़ने को मजबूर है.

Last Updated : Oct 27, 2020, 4:05 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.