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NMC की टीम की आंखों में धूल झोंकने का प्रयास, फील्ड से उठाकर नाहन मेडिकल कॉलेज में तैनात किए 23 डॉक्टर

मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन एक बार फिर सुर्खियों में है. इस बार स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव के लिए नहीं, बल्कि नेशनल मेडिकल कमीशन (एनएमसी) की टीम की आंखों में धूल झोंकने का मामला सामने आया है. हुआ यूं कि मेडिकल कॉलेज नाहन में नेशनल मेडिकल कमीशन की टीम ने दौरा करना था, ऐसे में निरीक्षण से पहले जिले के अन्य स्वास्थ्य संस्थानों से डॉक्टरों को नाहन मेडिकल कॉलेज में तैनात कर दिया, लेकिन जैसे ही टीम का काम खत्म हुआ तो सभी डॉक्टरों को पुनः उनके निर्धारित स्थलों पर ड्यूटी पर वापस भेज दिया गया.

Nahan Medical College Latest News
मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन
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Published : Mar 26, 2022, 5:24 PM IST

नाहन: डॉ. यशवंत सिंह परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन अक्सर स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव सहित कई मामलों को लेकर विवादों में रहता है. एक बार फिर मेडिकल कॉलेज सुर्खियों में है. इस बार स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव के लिए नहीं, बल्कि नेशनल मेडिकल कमीशन (एनएमसी) की टीम की आंखों में धूल झोंकने का मामला सामने आया है. टीम के निरीक्षण से पहले जिले के अन्य स्वास्थ्य संस्थानों से उठाकर कई डॉक्टरों को नाहन मेडिकल कॉलेज में तैनात कर दिया गया.

ऐसे में एनएमसी की टीम का काम खत्म होते ही संबंधित डॉक्टरों को पुनः उनके निर्धारित स्थलों पर ड्यूटी पर वापस भेज दिया गया. इससे स्पष्ट है कि कहीं न कहीं फील्ड से डॉक्टरों को उठाकर एनएमसी की टीम की आंखों में धूल झोंकने का प्रयास किया गया. दरअसल नाहन मेडिकल कॉलेज प्रबंधन को यह पहले से पता था कि नेशनल मेडिकल कमीशन की टीम ने यहां का दौरा करना है. लिहाजा सारी व्यवस्थाओं को चकाचक करने के इरादे से पहले से ही सभी तैयारियां पूरी कर ली गई.

इसी के तहत जिला के स्वास्थ्य विभाग ने जिले के सिविल अस्पताल पांवटा साहिब, राजगढ़ सहित विभिन्न पीएचसी राजपुरा, शंभूवाला, बनेठी, धगेड़ा कौलांवालाभूड, सुरला, बर्मापापड़ी, कोलर, माजरा आदि से 23 डॉक्टरों को उठाकर उनकी तैनाती नाहन मेडिकल कॉलेज में दिखा दी गई. इस संबंध में जिले के सीएमओ द्वारा 21 मार्च को आदेश भी जारी कर दिए गए. फिर क्या था, इसके बाद टीम व्यक्तिगत तौर पर तो नाहन मेडिकल कॉलेज में नहीं पहुंची, लेकिन बीते दिन शुक्रवार को संबंधित टीम ने वर्चुअल माध्यम से मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण जरूर किया.

Nahan Medical College
ऑर्डर की कॉपी.

टीम ने यहां एमबीबीएस प्रशिक्षुओं की परीक्षा के जहां पेटर्न की जांच की, तो वहीं अन्य व्यवस्थाओं पर भी संतोष जताया. मेडिकल कॉलेज के सूत्रों की मानें तो अक्सर यहां जब भी टीम का दौरा होता है, तब-तब यहां इसी तरह फील्ड से स्टाफ को उठाकर तैनात कर दिया जाता है. ऐसे में स्पष्ट है कि महज 3 से 4 दिनों के लिए यहां डॉक्टरों की तैनाती कर टीम की आंखों में धूल झोंकने का प्रयास किया गया.

क्या कहते हैं मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक?: नाहन मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक डॉ. श्याम कौशिक ने बताया कि बीते कल एनएमसी की टीम ने वर्चुअल माध्यम से मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण किया है. इसके साथ-साथ एमबीबीएस प्रशिक्षुओं की परीक्षा के पेटर्न की भी जांच की. टीम ने मेडिकल कॉलेज की व्यवस्था पर संतोष जताया.

जिले के अन्य अस्पतालों से यहां डॉक्टरों की तैनाती को लेकर पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि दूसरे अस्पतालों से जो डॉक्टर यहां प्रतिनियुक्ति पर पहुंचे थे, वो वापस अपने पूर्व निर्धारित अस्पतालों में ड्यूटी पर लौट गए है. जिले के सीएमओ ने रखा यह पक्ष दूसरी तरफ पूछे जाने पर सिरमौर जिले के सीएमओ डॉ. सुनील गौतम ने बताया कि मेडिकल कॉलेज में एनएमसी के निरीक्षण के लेकर सरकार से डॉक्टरों को तैनात करने के आदेश मिले थे. लिहाजा करीब 23 डॉक्टरों की मेडिकल कॉलेज में तैनाती की गई थी.

ये भी पढ़ें- सोलन: नदी में गिरी निजी बस, चालक समेत तीन लोगों की मौत

नाहन: डॉ. यशवंत सिंह परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन अक्सर स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव सहित कई मामलों को लेकर विवादों में रहता है. एक बार फिर मेडिकल कॉलेज सुर्खियों में है. इस बार स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव के लिए नहीं, बल्कि नेशनल मेडिकल कमीशन (एनएमसी) की टीम की आंखों में धूल झोंकने का मामला सामने आया है. टीम के निरीक्षण से पहले जिले के अन्य स्वास्थ्य संस्थानों से उठाकर कई डॉक्टरों को नाहन मेडिकल कॉलेज में तैनात कर दिया गया.

ऐसे में एनएमसी की टीम का काम खत्म होते ही संबंधित डॉक्टरों को पुनः उनके निर्धारित स्थलों पर ड्यूटी पर वापस भेज दिया गया. इससे स्पष्ट है कि कहीं न कहीं फील्ड से डॉक्टरों को उठाकर एनएमसी की टीम की आंखों में धूल झोंकने का प्रयास किया गया. दरअसल नाहन मेडिकल कॉलेज प्रबंधन को यह पहले से पता था कि नेशनल मेडिकल कमीशन की टीम ने यहां का दौरा करना है. लिहाजा सारी व्यवस्थाओं को चकाचक करने के इरादे से पहले से ही सभी तैयारियां पूरी कर ली गई.

इसी के तहत जिला के स्वास्थ्य विभाग ने जिले के सिविल अस्पताल पांवटा साहिब, राजगढ़ सहित विभिन्न पीएचसी राजपुरा, शंभूवाला, बनेठी, धगेड़ा कौलांवालाभूड, सुरला, बर्मापापड़ी, कोलर, माजरा आदि से 23 डॉक्टरों को उठाकर उनकी तैनाती नाहन मेडिकल कॉलेज में दिखा दी गई. इस संबंध में जिले के सीएमओ द्वारा 21 मार्च को आदेश भी जारी कर दिए गए. फिर क्या था, इसके बाद टीम व्यक्तिगत तौर पर तो नाहन मेडिकल कॉलेज में नहीं पहुंची, लेकिन बीते दिन शुक्रवार को संबंधित टीम ने वर्चुअल माध्यम से मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण जरूर किया.

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ऑर्डर की कॉपी.

टीम ने यहां एमबीबीएस प्रशिक्षुओं की परीक्षा के जहां पेटर्न की जांच की, तो वहीं अन्य व्यवस्थाओं पर भी संतोष जताया. मेडिकल कॉलेज के सूत्रों की मानें तो अक्सर यहां जब भी टीम का दौरा होता है, तब-तब यहां इसी तरह फील्ड से स्टाफ को उठाकर तैनात कर दिया जाता है. ऐसे में स्पष्ट है कि महज 3 से 4 दिनों के लिए यहां डॉक्टरों की तैनाती कर टीम की आंखों में धूल झोंकने का प्रयास किया गया.

क्या कहते हैं मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक?: नाहन मेडिकल कॉलेज के वरिष्ठ मेडिकल अधीक्षक डॉ. श्याम कौशिक ने बताया कि बीते कल एनएमसी की टीम ने वर्चुअल माध्यम से मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण किया है. इसके साथ-साथ एमबीबीएस प्रशिक्षुओं की परीक्षा के पेटर्न की भी जांच की. टीम ने मेडिकल कॉलेज की व्यवस्था पर संतोष जताया.

जिले के अन्य अस्पतालों से यहां डॉक्टरों की तैनाती को लेकर पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि दूसरे अस्पतालों से जो डॉक्टर यहां प्रतिनियुक्ति पर पहुंचे थे, वो वापस अपने पूर्व निर्धारित अस्पतालों में ड्यूटी पर लौट गए है. जिले के सीएमओ ने रखा यह पक्ष दूसरी तरफ पूछे जाने पर सिरमौर जिले के सीएमओ डॉ. सुनील गौतम ने बताया कि मेडिकल कॉलेज में एनएमसी के निरीक्षण के लेकर सरकार से डॉक्टरों को तैनात करने के आदेश मिले थे. लिहाजा करीब 23 डॉक्टरों की मेडिकल कॉलेज में तैनाती की गई थी.

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