करसोग: उपमंडल में सामान्य से कम हुई बारिश और बर्फबारी का असर इस बार सर्दियों के मौसम में ही दिखने लगा है. करसोग में गर्मियों का सीजन शुरू होने से पहले ही जल शक्ति विभाग की 9 पेयजल स्कीमें हांफ गई है. फील्ड से प्राप्त रिपोर्ट के मुताबिक करसोग डिवीजन के तहत विभिन्न सब डिवीजनों में कुल 9 स्कीमें सूखे की वजह से प्रभावित हुई हैं.
इसमें 3 पेयजल स्कीमों में 75 फीसदी तक पानी की कमी आई है. इसके अलावा 6 पेयजल योजनाओं में सूखे का 50 फीसदी तक असर पड़ा है. ऐसे में अगर आने वाले दिनों में सूखे की स्थिति इसी तरह बनी रही तो गर्मियों में हालात काबू से बाहर हो सकते हैं. हालांकि, सूखे से पैदा हुई स्थिति को भांपते हुए जल शक्ति विभाग ने पेयजल किल्लत से निपटने के लिए अभी से अपनी तैयारियां शुरू कर दी हैं.
पेयजल योजना कार्य में लाई जाए तेजी
इसके लिए करसोग में करीब 16 करोड़ की लागत से दो बड़ी चैरा खड्ड-धमून व परलोग खड्ड-माहूंनाग उठाऊ पेयजल योजनाओं को जल्द पूरा करने के कार्य में तेजी लाई गई है. ताकि, इस माह के अंत तक इन योजनाओं का लोकार्पण कर पेयजल संकट पर काबू पाया जा सके.
फील्ड अधिकारियों से रोजाना ली जा रही प्रोग्रेस रिपोर्ट
इन पेयजल योजनाओं के शुरू होने से सूखे से प्रभावित हुई 4 स्कीमों को कवर किया जाएगा. वहीं, अन्य बची पांच स्कीमों को भी इंटरलिंक किया जाएगा. इसके इसलिए फील्ड अधिकारियों से रोजाना प्रोग्रेस रिपोर्ट ली जा रही है.
सर्दियों में ही पेयजल संकट से जूझने लगे ग्रामीण
प्रदेश में विंटर सीजन में 1 जनवरी से 28 फरवरी तक सामान्य से कम हुई बारिश व 1 मार्च से 31 मार्च तक प्री मानसून सीजन में सामान्य से बहुत कम बारिश होने से सूखे के हालात हो गए हैं.उपमंडल में पड़े इस सूखे की वजह से कई बावड़ियां व लोकल सोर्स सुख गए हैं. इसके अतिरिक्त पेयजल योजनाओं पर भी सूखे का असर पड़ा है. जिससे करसोग के कई क्षेत्रों में गर्मियों का सीजन शुरू होने से पहले ही पेयजल संकट पैदा हो गया है. इसको देखते हुए लोगों के आये दिन प्रतिनिधिमंडल जल शक्ति विभाग के डिवीजन में पहुंच रहे हैं.
75 फीसदी तक सूखे का असर
जल शक्ति विभाग करसोग डिवीजन के अधिशाषी अभियंता अशोक भूपल का कहना है कि सूखे की वजह से 6 स्कीमों के जलस्तर में 50 फीसदी की कमी आई है. इसके अलावा 3 स्कीमों में 75 फीसदी तक सूखे का असर पड़ा है. उन्होंने कहा कि इस स्थिति से निपटने के लिए जल्द से जल्द चैरा खड्ड- धमून व परलोग-माहूंनाग उठाऊ पेयजल योजनाओं के लोकार्पण का प्रयास रहेगा. ताकि, गर्मियों के सीजन में लोगों को राहत मिल सके.
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