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आपातकाल: जब 13 साल का बच्चा पहुंच गया था रोहतक जेल, जोश देख DIG भी हो गए थे हैरान - आपातकाल इन इंडिया

जब पूरे देश में आपातकाल के खिलाफ आवाजें बुलंद हो रही थीं तब एक 13 साल का बच्चा भी था, जो दूसरे सत्याग्रहियों के साथ मिलकर इंदिरा गांधी के खिलाफ नारे लगा रहा था. इसके बाद बच्चे को दूसरे बड़े नेताओं के साथ रोहतक जेल में 11 महीने के लिए बंद कर दिया गया था.

lalit batra rohtak jail
जब 13 साल का बच्चा पहुंच गया था रोहतक जेल, जोश देख DIG भी हो गए थे हैरान
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Published : Jun 25, 2021, 4:40 PM IST

सोनीपत: आज ही के दिन 46 साल पहले तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल (emergency in india 1975) लगा दिया था. आपातकाल को करीब से देखने वाले और इसका विरोध करने वाले सत्याग्रहियों और दूसरे लोगों के जेहन में वो खौफ हमेशा के लिए कैद हो गया. उस वक्त को याद करते ही आपातकाल का गवाह बने लोग ठिठक से जाते हैं.

उस आपातकाल में बीजेपी के चुनाव प्रदेश संयोजक ललित बत्रा ने भी महज 13 साल की उम्र (13 year old lalit batra) में ना सिर्फ सत्याग्रह में हिस्सा लिया था बल्कि वो कई बड़े नेताओं के साथ 11 महीने रोहतक जेल में भी बंद रहे थे. ईटीवी भारत के साथ आपातकाल के समय के अनुभव को याद करते हुए ललित बत्रा ने बताया कि वो उस वक्त 13 साल के थे और नौवीं कक्षा में पढ़ते थे.

जब 13 साल का बच्चा पहुंच गया था रोहतक जेल, जोश देख DIG भी हो गए थे हैरान

ललित बत्रा ने बताया कि हमने सोनीपत के अंदर गीता भवन चौक से लेकर पूरे शहर में आपातकाल के खिलाफ सत्याग्रह किया था और उस सत्याग्रह में नौ लोग शामिल थे, जिनको गिरफ्तार करके पहले सोनीपत की सबसे पुरानी चौकी पर ले जाया गया और वहां से हमें रोहतक जेल भेज दिया गया.

ये भी पढ़िए: 25 जून 1975...जिसके बाद जेल बन गया था हरियाणा!

जेल के अनुभव को याद करते हुए ललित बत्रा ने बताया कि मैं वहां पर सबसे छोटा सत्याग्रही था और जेल में देश के करीब 185 बड़े नेता बंद थे, जिनमें उड़ीसा के तत्कालीन मुख्यमंत्री भी थे. उन्होंने आगे बताया कि एक बार जेल का डीआईजी हमसे मुलाकात करने आया था. पहले तो इतने छोटे बच्चे को जेल में देखकर डीआईजी चौक गया और उसने जेलक से पूछा कि इतनी कम उम्र का बच्चा जेल में क्या कर रहा है.

emergency in india 1975
आपातकाल के दौरान हरियाणा की एक जेल का दृष्य(फाइल फोटो)

ये भी पढ़िए: 1975 में देश पर थोपी गई इमरजेंसी, सत्ता हरण के दुस्साहस को भुलाया नहीं जा सकता: मनोहर लाल

बत्रा ने आगे कहा कि डीआईजी इससे पहले की कुछ और बोलता मैंने भारत माता की जय और इंदिरा गांधी के खिलाफ नारे लगाने शुरू कर दिए. जिसपर डीआईजी का भ्रम टूट गया और उसने कहा कि ये बच्चा जेल में ही रहना चाहिए वरना ये हमारी नाक में दम कर देगा.

आखिर होता क्या है आपातकाल ?

आपातकाल भारतीय संविधान में एक ऐसा प्रावधान है, जिसका इस्तेमाल तब किया जाता है, जब देश को किसी आंतरिक, बाहरी या आर्थिक रूप से किसी तरह के खतरे की आशंका होती है. इसके बाद केंद्र सरकार बिना किसी रोकटोक के कोई भी फैसला ले सकती है. हमारे देश में एक बार नहीं बल्कि तीन बार आपातकाल लगा है, पहली बार 1968 में जब भारत-चीन युद्ध हुआ, दूसरी बार 1971 में जब भात-पाकिस्तान युद्ध हुआ और तीसरी बार 1975 में.

सोनीपत: आज ही के दिन 46 साल पहले तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल (emergency in india 1975) लगा दिया था. आपातकाल को करीब से देखने वाले और इसका विरोध करने वाले सत्याग्रहियों और दूसरे लोगों के जेहन में वो खौफ हमेशा के लिए कैद हो गया. उस वक्त को याद करते ही आपातकाल का गवाह बने लोग ठिठक से जाते हैं.

उस आपातकाल में बीजेपी के चुनाव प्रदेश संयोजक ललित बत्रा ने भी महज 13 साल की उम्र (13 year old lalit batra) में ना सिर्फ सत्याग्रह में हिस्सा लिया था बल्कि वो कई बड़े नेताओं के साथ 11 महीने रोहतक जेल में भी बंद रहे थे. ईटीवी भारत के साथ आपातकाल के समय के अनुभव को याद करते हुए ललित बत्रा ने बताया कि वो उस वक्त 13 साल के थे और नौवीं कक्षा में पढ़ते थे.

जब 13 साल का बच्चा पहुंच गया था रोहतक जेल, जोश देख DIG भी हो गए थे हैरान

ललित बत्रा ने बताया कि हमने सोनीपत के अंदर गीता भवन चौक से लेकर पूरे शहर में आपातकाल के खिलाफ सत्याग्रह किया था और उस सत्याग्रह में नौ लोग शामिल थे, जिनको गिरफ्तार करके पहले सोनीपत की सबसे पुरानी चौकी पर ले जाया गया और वहां से हमें रोहतक जेल भेज दिया गया.

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जेल के अनुभव को याद करते हुए ललित बत्रा ने बताया कि मैं वहां पर सबसे छोटा सत्याग्रही था और जेल में देश के करीब 185 बड़े नेता बंद थे, जिनमें उड़ीसा के तत्कालीन मुख्यमंत्री भी थे. उन्होंने आगे बताया कि एक बार जेल का डीआईजी हमसे मुलाकात करने आया था. पहले तो इतने छोटे बच्चे को जेल में देखकर डीआईजी चौक गया और उसने जेलक से पूछा कि इतनी कम उम्र का बच्चा जेल में क्या कर रहा है.

emergency in india 1975
आपातकाल के दौरान हरियाणा की एक जेल का दृष्य(फाइल फोटो)

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बत्रा ने आगे कहा कि डीआईजी इससे पहले की कुछ और बोलता मैंने भारत माता की जय और इंदिरा गांधी के खिलाफ नारे लगाने शुरू कर दिए. जिसपर डीआईजी का भ्रम टूट गया और उसने कहा कि ये बच्चा जेल में ही रहना चाहिए वरना ये हमारी नाक में दम कर देगा.

आखिर होता क्या है आपातकाल ?

आपातकाल भारतीय संविधान में एक ऐसा प्रावधान है, जिसका इस्तेमाल तब किया जाता है, जब देश को किसी आंतरिक, बाहरी या आर्थिक रूप से किसी तरह के खतरे की आशंका होती है. इसके बाद केंद्र सरकार बिना किसी रोकटोक के कोई भी फैसला ले सकती है. हमारे देश में एक बार नहीं बल्कि तीन बार आपातकाल लगा है, पहली बार 1968 में जब भारत-चीन युद्ध हुआ, दूसरी बार 1971 में जब भात-पाकिस्तान युद्ध हुआ और तीसरी बार 1975 में.

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