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गोहाना: नवजात शिशु के लिए मां का दूध सर्वोत्तम, आशा वर्कर्स को किया गया जागरूक - gohana civil hospital awareness program

गोहाना नागरिक अस्पताल में आशा वर्करों को जागरूक किया गया कि वो गांव-गांव जाकर जच्चा बच्चा से मिलें और उन्हें नवजात शिशु को मां का दूध पिलाने के लिए जागरूक करें.

नवजात शिशु के लिए मां का दूध सर्वोत्तम
नवजात शिशु के लिए मां का दूध सर्वोत्तम
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Published : Feb 1, 2020, 11:20 AM IST

Updated : Feb 1, 2020, 12:53 PM IST

सोनीपत: गोहाना नागरिक हस्पताल में एचबीवाईसी जागरुकता सेमिनार आयोजन किया गया. सेमिनार में डॉ. सचिन ने एएनएम और आशा वर्करों को एचबीवाईसी के बारे में जानकारी दी. इस दौरान उन्होंने कहा कि सरकार शिशु मृत्यु दर को कम करने के लिए कई कार्यक्रम चला रही है, क्योंकि आज के टाइम बच्चों को दूध कम मिल रहा है उससे मृत्यु दर बढ़ रही है.

डॉक्टर सचिन ने बताया आज आशा वर्कर और एएनएम को एचडीवाईसी जानकारी दी कि महिलाएं गांव में जाकर जच्चा बच्चा मिलें उन्हें समझाएं कि बच्चे के लिए माता का दूध सर्वोत्तम होता है इसलिए बच्चों को कम से कम से 6 महीने तक माता का दूध अवश्य पिलाएं. इससे वो स्वस्थ रहेगा क्योंकि अधिकतर जगह पर 2 महीनों के बाद बच्चों को दूध पिलाने के बाद कुछ चीजें खिलाना शुरू कर देते हैं.

नवजात शिशु के लिए मां का दूध सर्वोत्तम, देखें वीडियो

ये भी पढ़ें- पानीपत शहर के सीसीटीवी कैमरे, गायब है कंट्रोल रूम

उन्होंने कहा कि ये गलत है, क्योंकि बच्चों को दिमाग का पोषण नहीं हो पाता. इससे शिशु बीमार रहने लगते हैं कई बार तो मृत्यु भी हो जाती है इसलिए माता का दूध 6 महीने तक शिशु को अवश्य पिलाना चाहिए ताकि वो स्वस्थ रहे.

सोनीपत: गोहाना नागरिक हस्पताल में एचबीवाईसी जागरुकता सेमिनार आयोजन किया गया. सेमिनार में डॉ. सचिन ने एएनएम और आशा वर्करों को एचबीवाईसी के बारे में जानकारी दी. इस दौरान उन्होंने कहा कि सरकार शिशु मृत्यु दर को कम करने के लिए कई कार्यक्रम चला रही है, क्योंकि आज के टाइम बच्चों को दूध कम मिल रहा है उससे मृत्यु दर बढ़ रही है.

डॉक्टर सचिन ने बताया आज आशा वर्कर और एएनएम को एचडीवाईसी जानकारी दी कि महिलाएं गांव में जाकर जच्चा बच्चा मिलें उन्हें समझाएं कि बच्चे के लिए माता का दूध सर्वोत्तम होता है इसलिए बच्चों को कम से कम से 6 महीने तक माता का दूध अवश्य पिलाएं. इससे वो स्वस्थ रहेगा क्योंकि अधिकतर जगह पर 2 महीनों के बाद बच्चों को दूध पिलाने के बाद कुछ चीजें खिलाना शुरू कर देते हैं.

नवजात शिशु के लिए मां का दूध सर्वोत्तम, देखें वीडियो

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उन्होंने कहा कि ये गलत है, क्योंकि बच्चों को दिमाग का पोषण नहीं हो पाता. इससे शिशु बीमार रहने लगते हैं कई बार तो मृत्यु भी हो जाती है इसलिए माता का दूध 6 महीने तक शिशु को अवश्य पिलाना चाहिए ताकि वो स्वस्थ रहे.

Intro:बच्चों के लिए माता का दूध सर्वोत्तम डॉक्टर सचिन


Body:नागरिक हस्पताल में। एचबीवाईसी जागरूकता सेमिनार आयोजन किया गया जिसमे डॉ सचिन ने एएनएम और आशा वर्करों को एचबीवाईसी के बारे में जानकारी दें और कहा सरकार शिशु मृत्यु दर को कम करने के लिए कई कार्यक्रम चला रही है क्योंकि आज के टाइम बच्चों को दूध कम मिल रहा है जिनसे मृत्यु दर बढ़ रही हैं इससे जागरूकता अभियान गांव में जाकर आशा वर्कर और एएनएम महिलाओं को जागरूक करें ताकि शिशु मृत्यु दर में कमी आए


Conclusion:डॉक्टर सचिन ने बताया आज आशा वर्कर और एएनएम को एचडीवाईसी जानकारी दी गांव में जाकर जच्चा बच्चा मिले उन्हें समझाएं कि बच्चे के लिए माता का दूध सर्वोत्तम होता है इसलिए बच्चों को कम से कम से 6 महीने तक माता का दूध अवश्य पिलाएं इससे वह स्वस्थ रहेगा क्योंकि अधिकतर जगह पर 2 महीनों के बाद बच्चों को दूध पिलाने के बाद कुछ चीजें खिलाना शुरू कर देते हैं यह गलत है क्योंकि बच्चों को दिमाक का पोषण नहीं हो पाता इससे शिशु बीमार रहने लगते हैं कई बार तो मृत्यु भी हो जाती है इसलिए माता का दूध 6 महीने तक शिशु को अवश्य पिलाना चाहिए ताकि वह स्वस्थ रहे

बाईट सचिन कुमार डॉक्टर
Last Updated : Feb 1, 2020, 12:53 PM IST
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