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नालियों के गंदे पानी से लबालब नारनौल! सरकारी दफ्तर भी 'तालाब' में तब्दील

नारनौल में बीती रात से रूक-रूक कर हो रही बारिश से जिले में चारों तरफ पानी भर गया है. नालिंयों का गंदा पानी सड़कों पर आ गया है जिससे लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.

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Published : Jul 18, 2019, 9:10 PM IST

भारी बारिश से लबालब नारनौल

महेंद्रगढ़ः शहर के कई इलाकों में बारिश का पानी लोगों के घरों और दुकानों में घुस गया है. इतना ही नहीं नारनौल के पीडब्लयूडी रेस्ट हाउस और उपायुक्त निवास भी तालाब में तब्दील हो गए हैं. इसके साथ-साथ नारनौल में बनाये गए अंडरपास के हालात भी काफी खराब हैं.

सरकारी दफ्तर भी 'तालाब' में तब्दील, देखें वीडियो

शहर में हर साल लाखों-करोड़ों रुपये बारिश के पानी की निकासी करने के लिए खर्च किए जाते हैं. यही नहीं हाल ही में बारिश के पानी की निकासी के लिए पूरे शहर में नालों के निर्माण के लिए करोड़ों रूपये भी खर्च किए गए थे. उसके बावजूद कई महीने बीत जाने के बाद भी नाले का निर्माण पूरा नहीं हो सका.

साथ ही नगर परिषद ने अब तक निर्माण करवाए गए नालों में पानी की निकासी का कोई प्रबंध नहीं किया. जिसके परिणाम स्वरुप नालों में पानी भर गया और यही गंदा पानी लोगों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है.

महेंद्रगढ़ः शहर के कई इलाकों में बारिश का पानी लोगों के घरों और दुकानों में घुस गया है. इतना ही नहीं नारनौल के पीडब्लयूडी रेस्ट हाउस और उपायुक्त निवास भी तालाब में तब्दील हो गए हैं. इसके साथ-साथ नारनौल में बनाये गए अंडरपास के हालात भी काफी खराब हैं.

सरकारी दफ्तर भी 'तालाब' में तब्दील, देखें वीडियो

शहर में हर साल लाखों-करोड़ों रुपये बारिश के पानी की निकासी करने के लिए खर्च किए जाते हैं. यही नहीं हाल ही में बारिश के पानी की निकासी के लिए पूरे शहर में नालों के निर्माण के लिए करोड़ों रूपये भी खर्च किए गए थे. उसके बावजूद कई महीने बीत जाने के बाद भी नाले का निर्माण पूरा नहीं हो सका.

साथ ही नगर परिषद ने अब तक निर्माण करवाए गए नालों में पानी की निकासी का कोई प्रबंध नहीं किया. जिसके परिणाम स्वरुप नालों में पानी भर गया और यही गंदा पानी लोगों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है.

Intro:मानसून की पहली बारिश ने खोली नारनौल नगर परिषद् की कार्यशैली की पोल। 

नारनौल। नारनौल में रात साढ़े 12 बजे से दोपहर 1 बजे तक हुई करीब 12 घंटे की बारिश ने नगर परिषद के दावों की पोल खोल दी। मानसून की महज पहली बारिश में पूरा शहर जल मग्न हो गया। हालत यह थे की शहर के कई इलाको में तो इतना पानी आ गया कि दुकानों में घुस गया इतना ही नहीं नारनौल के pwd  रेस्ट हाउस और उपयुक्त निवास के हालत तो किसी तालाब या जोहड़ से कम नहीं थे। इसके साथ साथ ही नारनौल में बनाये गए अंडरपास के हालत भी काफी ख़राब नजर आये। जिसके तहत एक तरफ से दूसरी तरफ जाने वाले लोगो की आवाजाही रुक गयी। 




Body: गौर फरमाने लायक बात यह है शहर में हर वर्ष लाखो करोडो रुपये बारिश के पानी की निकासी करने के लिए खर्चे जाते है और हाल ही में शहर से पानी की निकासी के लिए पूरे शहर में नालो के निर्माण पर करोडो रूपये की लागत लगवाई गई थी, लेकिन कई महीने बीत जाने पर भी नाले का निर्माण पूरा नहीं हो सका और साथ ही नगर परिषद के द्वारा अब तक निर्माण करवाए गए नालो में भी पानी की निकासी का कोई प्रबंध नहीं कर सके। जिसके परिणाम स्वरुप नालो में पानी भर गया और दुकानदारों को परेशानी का सामना करना पड़  रहा है। हालात यह है की निर्माण किये गए नालो के पास की जमीन भी पहली बारिश से धसने लगी है जिस से व्यापारियों को अपने प्रतिष्ठानों की चिंता सताने लगी है। 


Conclusion:हलाकि जिले के उपायुक्त होने के कारण प्रशासन द्वारा तो वहा जनरेटर लगा कर पानी निकालने की व्यवस्था कर दी गई है, लेकिन व्यापारियों की परेशानी की तरफ प्रशासन का ध्यान तक नहीं गया।


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