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राज्यपाल बोले- तीन साल में बनकर तैयार होगा देश का पहला आयुष विश्वविद्यालय, 500 करोड़ किए जाएंगे खर्च - haryana latest news

हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने कहा है कि देश के पहले आयुष विश्वविद्यालय का काम अगले तीन सालों में पूरा हो जाएगा. ये यूनिवर्सिटी कुरुक्षेत्र के फतुपुर गांव (Fatupur village of Kurukshetra) में 103 एकड़ भूमि पर बन रही है. इसके निर्माण कार्य के लिए पांच सौ करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे. यूनिवर्सिटी बन जाने के बाद प्रदेश ही नहीं देश में आयुर्वेद को नई दिशा मिलेगी.

Sri Krishna Ayush University In Kurukshetra
राज्यपाल बोले- तीन साल में बनकर तैयार होगा देश का पहला आयुष विश्वविद्यालय, 500 करोड़ किए जाएंगे खर्च
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Published : Jul 15, 2022, 9:05 AM IST

कुरुक्षेत्र: हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय गुरूवार को कुरूक्षेत्र के श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय (Sri Krishna Ayush University In Kurukshetra) पहुंचे. उन्होंने ने विश्वविद्यालय की तरफ से तैयार की गई हाईटेक आयुर्वेदिक लैब का निरीक्षण भी किया. इसके बाद एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि कुरुक्षेत्र के फतुपुर गांव (Fatupur village of Kurukshetra) में 103 एकड़ भूमि पर देश का पहला श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय बनाया जाएगा. ये विश्वविद्यालय तीन साल में बन कर तैयार होगा. यूनिवर्सिटी की नई बिल्डिंग को बनाने के लिए सरकार की तरफ से 500 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे.

राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने विश्वविद्यालय प्रशासन की तरफ से कोरोना काल में किए गए कार्यों, नए शोध कार्यों, विश्वविद्यालय की 5 सालों की प्रगति आदि विषयों पर तैयार की गई पॉवर प्रेजेंटेशन की प्रशंसा करते हुए कहा कि देश का पहला आयुष विश्वविद्यालय कुरुक्षेत्र की पावन धरा पर बनने जा रहा है. इस विश्वविद्यालय को स्थापित करने पर सरकार और मुख्यमंत्री मनोहर लाल बधाई के पात्र है. इस विश्वविद्यालय का निर्माण विधायक सुभाष सुधा के प्रयासों से फतुपुर गांव में उपलब्ध करवाई गई 103 एकड़ जमीन पर बनेगा.

निर्धारित समय में पूरा करें नए भवन का निर्माण- राज्यपाल ने विश्वविद्यालय के अधिकारियों को निर्देश दिए कि विश्वविद्यालय के नए भवन का निर्माण निर्धारित समयावधि में पूरा किया जाना चाहिए. इसके साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासनिक अधिकारियों को आयुर्वेदिक कॉलेज और विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा करने की योजना तैयार करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि कोशिश करना चाहिए कि प्रदेश के प्रत्येक जिले में आयुर्वेदिक कालेज की स्थापना की जाए ताकि प्रत्येक बीमार व्यक्ति का इलाज आयुष पद्धति से किया जा सके.

कम समय में लक्ष्य को पाने का करें प्रयास- राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश के प्रत्येक जिले में आयुर्वेदिक कॉलेज खोलने के साथ-साथ आयुर्वेद को बढ़ावा देने के लिए सरकार को पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) की तरफ आगे बढ़ना चाहिए. विश्वविद्यालय प्रशासन को शोध व अन्य कार्य केवल कागजों तक ही सीमित रखने अपितु आयुर्वेद के क्षेत्र में किया गया कार्य सही मायने में धरातल पर नजर आना चाहिए. विश्वविद्यालय प्रशासन को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विजन का अनुसरण करते हुए अपने 100 फीसदी लक्ष्य को कम से कम समय में प्राप्त करने का प्रयास करना चाहिए.

पीएम मोदी ने रखी थी आयुष यूनिवर्सिटी की आधारशिला- बता दे कि साल 2016 में सीएम मनोहर लाल खट्टर की कोशिशो की बदौलत आयुष विश्वविद्यालय की स्थापना की गई थी. इसके एक साल बाद यानि 2017 में यूनिवर्सिटी के लिए नोटिफिकेशन जारी किया गया. इसके बाद साल 2018 के जून महीने में फतुपुर गांव में 103 एकड़ जमीन मिली. 12 फरवरी 2019 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय की आधारशिला रखी थी. विश्वविद्यालय की चारदीवारी का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है.

कुरुक्षेत्र: हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय गुरूवार को कुरूक्षेत्र के श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय (Sri Krishna Ayush University In Kurukshetra) पहुंचे. उन्होंने ने विश्वविद्यालय की तरफ से तैयार की गई हाईटेक आयुर्वेदिक लैब का निरीक्षण भी किया. इसके बाद एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि कुरुक्षेत्र के फतुपुर गांव (Fatupur village of Kurukshetra) में 103 एकड़ भूमि पर देश का पहला श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय बनाया जाएगा. ये विश्वविद्यालय तीन साल में बन कर तैयार होगा. यूनिवर्सिटी की नई बिल्डिंग को बनाने के लिए सरकार की तरफ से 500 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे.

राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने विश्वविद्यालय प्रशासन की तरफ से कोरोना काल में किए गए कार्यों, नए शोध कार्यों, विश्वविद्यालय की 5 सालों की प्रगति आदि विषयों पर तैयार की गई पॉवर प्रेजेंटेशन की प्रशंसा करते हुए कहा कि देश का पहला आयुष विश्वविद्यालय कुरुक्षेत्र की पावन धरा पर बनने जा रहा है. इस विश्वविद्यालय को स्थापित करने पर सरकार और मुख्यमंत्री मनोहर लाल बधाई के पात्र है. इस विश्वविद्यालय का निर्माण विधायक सुभाष सुधा के प्रयासों से फतुपुर गांव में उपलब्ध करवाई गई 103 एकड़ जमीन पर बनेगा.

निर्धारित समय में पूरा करें नए भवन का निर्माण- राज्यपाल ने विश्वविद्यालय के अधिकारियों को निर्देश दिए कि विश्वविद्यालय के नए भवन का निर्माण निर्धारित समयावधि में पूरा किया जाना चाहिए. इसके साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासनिक अधिकारियों को आयुर्वेदिक कॉलेज और विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा करने की योजना तैयार करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि कोशिश करना चाहिए कि प्रदेश के प्रत्येक जिले में आयुर्वेदिक कालेज की स्थापना की जाए ताकि प्रत्येक बीमार व्यक्ति का इलाज आयुष पद्धति से किया जा सके.

कम समय में लक्ष्य को पाने का करें प्रयास- राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश के प्रत्येक जिले में आयुर्वेदिक कॉलेज खोलने के साथ-साथ आयुर्वेद को बढ़ावा देने के लिए सरकार को पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) की तरफ आगे बढ़ना चाहिए. विश्वविद्यालय प्रशासन को शोध व अन्य कार्य केवल कागजों तक ही सीमित रखने अपितु आयुर्वेद के क्षेत्र में किया गया कार्य सही मायने में धरातल पर नजर आना चाहिए. विश्वविद्यालय प्रशासन को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विजन का अनुसरण करते हुए अपने 100 फीसदी लक्ष्य को कम से कम समय में प्राप्त करने का प्रयास करना चाहिए.

पीएम मोदी ने रखी थी आयुष यूनिवर्सिटी की आधारशिला- बता दे कि साल 2016 में सीएम मनोहर लाल खट्टर की कोशिशो की बदौलत आयुष विश्वविद्यालय की स्थापना की गई थी. इसके एक साल बाद यानि 2017 में यूनिवर्सिटी के लिए नोटिफिकेशन जारी किया गया. इसके बाद साल 2018 के जून महीने में फतुपुर गांव में 103 एकड़ जमीन मिली. 12 फरवरी 2019 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय की आधारशिला रखी थी. विश्वविद्यालय की चारदीवारी का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है.

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