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करनाल में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन का आयोजन, 12 देशों के प्रतिभागियों ने लिया हिस्सा

सम्मलेन का आयोजन योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने किया. योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के महासचिव नीरज कुमार ने बताया कि भारतीय संस्कृति और परम्पराओं को दूसरे देशों में लोकप्रिय बनाने के साथ योग को खेल का दर्जा देने के उद्देश्य से इसका आयोजन किया जा रहा है.

yoga conference in Karnal
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Published : Nov 4, 2019, 1:33 PM IST

करनाल: जिले में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन का आयोजन किया गया. इस सम्मेलन में ईरान, अमेरिका, हांगकांग, मैक्सिको, थाइलैंड समेत 12 देशों के प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया. सभी प्रतिभागियों ने वृक्षासन से लेकर वज्रासन और मंडूकासन जैसे कठिन योग क्रियाओं को बड़ी आसानी से किया.

12 देश के प्रतिभागियों ने लिया हिस्सा
अंतरराष्ट्रीय योग सम्मलेन में 12 देश हिस्सा लेने पहुंचे हैं. यही नहीं ईरान जैसे मुस्लिम देश से भी अनेक प्रतिभागी योग सम्मलेन में भाग लेने पहुंचे हैं. इनकी योग कला को देखकर हर कोई आश्चर्य चकित है. वृक्षासन से लेकर वज्रासन और मंडूकासन जैसे कठिन योग क्रियाओं को ये प्रतिभागी ऐसे कर रहे थे कि मानों इन्हें इसमें महारत हासिल हो.

करनाल में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन का आयोजन

योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने किया आयोजन
सम्मलेन का आयोजन योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने किया. योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के महासचिव नीरज कुमार ने बताया कि भारतीय संस्कृति और परम्पराओं को दूसरे देशों में लोकप्रिय बनाने के साथ योग को खेल का दर्जा देने के उद्देश्य से इसका आयोजन किया जा रहा है.

ये भी पढ़ें- करनाल में 50 फीट गहरे बोरवेल में गिरी बच्ची हार गई जिंदगी की जंग, डॉक्टरों ने किया मृत घोषित

'योग को खेल का दर्जा दिलाना मकसद'
उन्होंने कहा कि बच्चों में योग की भावना जागृत करना बहुत जरूरी है. योग केवल एक क्रिया ही नहीं बल्कि खुद को फिट रखने का एक बड़ा माध्यम भी है. आज विदेशों में इसके प्रति लगाव तेजी से बढ़ा है और वहां के लोग इसे जानना चाहते हैं. नीरज ने कहा की ये उनका दूसरा अंतर्राष्ट्रीय आयोजन है. जिसे आगे भी जारी रखने की उनकी योजना है.

करनाल: जिले में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन का आयोजन किया गया. इस सम्मेलन में ईरान, अमेरिका, हांगकांग, मैक्सिको, थाइलैंड समेत 12 देशों के प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया. सभी प्रतिभागियों ने वृक्षासन से लेकर वज्रासन और मंडूकासन जैसे कठिन योग क्रियाओं को बड़ी आसानी से किया.

12 देश के प्रतिभागियों ने लिया हिस्सा
अंतरराष्ट्रीय योग सम्मलेन में 12 देश हिस्सा लेने पहुंचे हैं. यही नहीं ईरान जैसे मुस्लिम देश से भी अनेक प्रतिभागी योग सम्मलेन में भाग लेने पहुंचे हैं. इनकी योग कला को देखकर हर कोई आश्चर्य चकित है. वृक्षासन से लेकर वज्रासन और मंडूकासन जैसे कठिन योग क्रियाओं को ये प्रतिभागी ऐसे कर रहे थे कि मानों इन्हें इसमें महारत हासिल हो.

करनाल में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन का आयोजन

योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने किया आयोजन
सम्मलेन का आयोजन योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने किया. योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के महासचिव नीरज कुमार ने बताया कि भारतीय संस्कृति और परम्पराओं को दूसरे देशों में लोकप्रिय बनाने के साथ योग को खेल का दर्जा देने के उद्देश्य से इसका आयोजन किया जा रहा है.

ये भी पढ़ें- करनाल में 50 फीट गहरे बोरवेल में गिरी बच्ची हार गई जिंदगी की जंग, डॉक्टरों ने किया मृत घोषित

'योग को खेल का दर्जा दिलाना मकसद'
उन्होंने कहा कि बच्चों में योग की भावना जागृत करना बहुत जरूरी है. योग केवल एक क्रिया ही नहीं बल्कि खुद को फिट रखने का एक बड़ा माध्यम भी है. आज विदेशों में इसके प्रति लगाव तेजी से बढ़ा है और वहां के लोग इसे जानना चाहते हैं. नीरज ने कहा की ये उनका दूसरा अंतर्राष्ट्रीय आयोजन है. जिसे आगे भी जारी रखने की उनकी योजना है.

Intro:योग को अंतर्राष्ट्रीय दर्जा देने का दिख रहा असर , भारत के योग को अपना रहे विदेशी , करनाल में तीन दिवसीय योग सम्मलेन में ईरान , अमेरिका , हांगकांग और मेक्सिकों सहित पहुंचे 12 देशों के प्रतिभागी , बिखरी भारतीय संस्कृति की छटा।


Body:जिस प्रकार प्रधानमंत्री मोदी अपने राजनयिक दौरों के दौरान भारतीय संस्कृति का परचम लहरा रहे हैं उससे विदेशियों में भी भारतीय संस्कृति और परम्पराओं को जानने की उत्सुकता तेजी से बढ़ी है। प्राचीन धरोहर योग को अंतर्राष्ट्रीय दर्जा देने का असर अब दिखने लगा है। विदेशियों में भारतीय योग के प्रति दिलचस्पी किस कदर बढ़ी है इसकी बानगी करनाल में देखने को मिली जहाँ अमेरिका , मेक्सिको , पेरू , हांगकांग और थाईलैंड सहित 12 देशों के प्रतिभागी दूसरे अंतर्राष्ट्रीय योग सम्मलेन में हिस्सा लेने पहुंचे हैं। यही नहीं ईरान जैसे मुस्लिम देश से भी अनेक प्रतिभागी योग सम्मलेन में भाग लेने पहुंचे हैं। इनकी योग कला को देखकर हर कोई आश्चर्य चकित है। वृक्षासन से लेकर वज्रासन और मंडूकासन जैसे कठिन योग क्रियाओं को ये प्रतिभागी ऐसे कर रहे हैं मानों इन्हे इसमें महारत हासिल हो।
Conclusion:सम्मलेन के आयोजक योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ़ इंडिया के महासचिव नीरज कुमार ने बताया भारतीय संस्कृति और परम्पराओं को दूसरे देशों में लोकप्रिय बनाने के साथ योग को खेल का दर्जा देने के उद्देश्य से इसका आयोजन किया जा रहा है। बच्चों में योग की भावना जागृत करना अति आवश्यक है। उन्होंने कहा की योग केवल एक क्रिया ही नहीं है अपितु खुद को फिट रखने का एक बड़ा माध्यम भी है , आज विदेशियों में इसके प्रति लगाव तेजी से बढ़ा है और वे इसे जानना चाहते हैं। नीरज ने कहा की ये उनका दूसरा अंतर्राष्ट्रीय आयोजन है जिसे आगे भी जारी रखने की उनकी योजना है।

बाइट - योगा स्पोर्ट्स फेडरेशन ऑफ़ इंडिया के महासचिव नीरज कुमार
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