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हिसार के बाल सुधार गृह से क्यों भाग रहे हैं किशोर? देखें ये रिपोर्ट - juvenile home minor escaped

हिसार के मधुबन में हरियाणा सरकार का बाल सुधार गृह है. ये बाल सुधार गृह कई समय से सवालों के घेरे में है. कई बार यहां से बाल कैदी भागने की कोशिश कर चुके हैं और कई तो भाग भी चुके हैं. बाल कैदियों के भागने का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है. जिससे प्रशासन की कार्यशैली पर कई सवाल उठ रहे हैं.

Child prisoner are escaping from hisar juvenile home
Child prisoner are escaping from hisar juvenile home
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Published : Feb 22, 2021, 7:18 PM IST

हिसार: कम उम्र में अपराध की दुनिया में कदम रखने वाले किशोरों के लिए बनाए गए बाल सुधार गृह को अभी और सुधारने की जरूरत है. प्रशासन तो ये दावा जरूर करता है कि बाल सुधार गृह में शिक्षा, काउंसलिंग और खेलों का प्रबंध किया गया है, लेकिन फिर भी बाल सुधार गृह में पुलिस कर्मचारियों पर जानलेवा हमला कर किशोर भागने में कामयाब हो जाते हैं, जो कई तरह के सवालों को जन्म देता है.

कई बार बाल कैदी हुए फरार?

बीते साल 12 अक्टूबर को जो कुछ हुआ वो प्रशासन के ऊपर कई तरह के सवाल खड़ा करता है, आखिर कैसे 17 बाल कैदी पुलिस कर्मचारियों पर हमला कर फरार होने में कामयाब हो गए? आपको बता दें कि बाल सुधार गृह से किशोरों के भाग जाने की ये पहली घटना नहीं है. इससे पहले साल 2017 में 6 बाल कैदी फरार हो गए थे और मार्च 2019 में भी 24 बच्चे बाल भवन से भाग गए थे. इनके भागने से यही पता चलता है कि बाल सुधार गृह में बच्चे सुधर कम बल्कि बिगड़ ज्यादा रहे हैं.

हिसार के बाल सुधार गृह से क्यों भाग रहे हैं किशोर? देखें ये रिपोर्ट

ये भी पढे़ं- हिसार बाल सुधार गृह से फरार दूसरे आरोपी को झज्जर पुुलिस ने किया गिरफ्तार

बाल सुधार गृह में किशोरों के लिए कई तरह की सुविधाओं की जरूरत होती है, जैसे बाल कैदियों के लिए स्पेशल टीचर होते हैं. डॉक्टरों के माध्यम से इनकी काउंसलिंग करवाई जाती है. साथ ही शारीरिक विकास के लिए इनडोर और आउटडोर गेम्स खिलाई जाती हैं, लेकिन इतना कुछ होने के बावजूद अगर बाल सुधार गृह से लगातार बच्चे भागने की कोशिश कर रहे हैं, तो ऐसे में प्रशासन पर सवाल उठने लाजमी हैं.

ये भी पढे़ं- हिसार के बाल सुधार गृह में जेल स्टाफ पर हमला कर 17 बाल कैदी भागे, सभी पुलिस नाके एक्टिव

बाल सुधार गृह और जुवेनाइल बच्चों पर काम करने वाल एक्टिविस्ट तो यही कहते हैं कि अभी स्थिति काफी खराब है. बाल सुधार गृह में काफी चीजों को सुधारने की जरूरत है. अधिकारी से लेकर नियम और बच्चों की काउंसलिंग तक में काफी दिक्कतें हैं. उम्मीद है कि सरकार और प्रशासन इस ओर ध्यान देगी, ताकि अपराध को इन बाल कैदियों से जड़ से खत्म किया जा सके.

ये भी पढे़ं- बाल सुधार गृह में बच्चों की आपसी भिड़ंत, जांच में जुटा जिला प्रशासन

हिसार: कम उम्र में अपराध की दुनिया में कदम रखने वाले किशोरों के लिए बनाए गए बाल सुधार गृह को अभी और सुधारने की जरूरत है. प्रशासन तो ये दावा जरूर करता है कि बाल सुधार गृह में शिक्षा, काउंसलिंग और खेलों का प्रबंध किया गया है, लेकिन फिर भी बाल सुधार गृह में पुलिस कर्मचारियों पर जानलेवा हमला कर किशोर भागने में कामयाब हो जाते हैं, जो कई तरह के सवालों को जन्म देता है.

कई बार बाल कैदी हुए फरार?

बीते साल 12 अक्टूबर को जो कुछ हुआ वो प्रशासन के ऊपर कई तरह के सवाल खड़ा करता है, आखिर कैसे 17 बाल कैदी पुलिस कर्मचारियों पर हमला कर फरार होने में कामयाब हो गए? आपको बता दें कि बाल सुधार गृह से किशोरों के भाग जाने की ये पहली घटना नहीं है. इससे पहले साल 2017 में 6 बाल कैदी फरार हो गए थे और मार्च 2019 में भी 24 बच्चे बाल भवन से भाग गए थे. इनके भागने से यही पता चलता है कि बाल सुधार गृह में बच्चे सुधर कम बल्कि बिगड़ ज्यादा रहे हैं.

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बाल सुधार गृह में किशोरों के लिए कई तरह की सुविधाओं की जरूरत होती है, जैसे बाल कैदियों के लिए स्पेशल टीचर होते हैं. डॉक्टरों के माध्यम से इनकी काउंसलिंग करवाई जाती है. साथ ही शारीरिक विकास के लिए इनडोर और आउटडोर गेम्स खिलाई जाती हैं, लेकिन इतना कुछ होने के बावजूद अगर बाल सुधार गृह से लगातार बच्चे भागने की कोशिश कर रहे हैं, तो ऐसे में प्रशासन पर सवाल उठने लाजमी हैं.

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बाल सुधार गृह और जुवेनाइल बच्चों पर काम करने वाल एक्टिविस्ट तो यही कहते हैं कि अभी स्थिति काफी खराब है. बाल सुधार गृह में काफी चीजों को सुधारने की जरूरत है. अधिकारी से लेकर नियम और बच्चों की काउंसलिंग तक में काफी दिक्कतें हैं. उम्मीद है कि सरकार और प्रशासन इस ओर ध्यान देगी, ताकि अपराध को इन बाल कैदियों से जड़ से खत्म किया जा सके.

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