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हमारी भी फरियाद सुनो सरकार! पहले बारिश से फसल बर्बाद, अब मंडी में सरकारी खरीद ना होने से बढ़ी परेशानी - किसानों का रजिस्ट्रेशन

किसानों की परेशानियां बढ़ती ही जा रही है. पहले तो बारिश से पक्की हुई फसल बर्बाद हो गई. जो थोड़ी बहुत सुरक्षित थी भी उसकी मंडी में कीमत सही नहीं मिल रही है. (non government procurement of mustard)

haryana Farmers upset due to non government procurement
हमारी भी फरियाद सुनो सरकार! पहले बारिश से फसल बर्बाद
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Published : Mar 30, 2023, 8:29 PM IST

Updated : Mar 30, 2023, 10:38 PM IST

मंडी में सरकारी खरीद ना होने से बढ़ी परेशानी.

फरीदाबाद: एक तरफ बारिश की मार दूसरी और सरकार की सरसों की खरीद न होने से किसान परेशान. फरीदाबाद में बल्लभगढ़ अनाज मंडी में सरसों की सरकारी खरीद न होने से किसानों की परेशानियां और भी बढ़ गई है. ईटीवी भारत से बातचीत में बल्लभगढ़ के किसान ने कहा कि, काफी लंबे समय से हम सरसों लेकर मंडी में आते हैं. पर हमारी सरसों की फसल सरकार नहीं खरीद रही. किसानों ने सरकार से अपील की हमारी भी फरियाद सुनो सरकार. सरसों की खरीद न होने से किसानों के चेहरों पर रोष नजर आ रहा है. किसानों ने सरकार से अपील की कि सरसों की सरकारी खरीद जल्द से जल्द करें.

बारिश की मार ने गेहूं की फसल और किसान दोनों को ही बर्बादी की कगार की ओर धकेल दिया है. तेज हवाओं के साथ आई बारिश ने गेहूं की खड़ी फसल को जमीन में लेटा गई. किसान अब बेमौसमी बारिश और अपनी किस्मत को कोस रहा है. क्योंकि गेहूं को जो दाना अभी तक हरा नजर आ रहा है, वह पकने तक सूख जाएगा. सूखे हुए दानों का सीधा असर उत्पादन और गुणवत्ता पर पड़ेगा. उत्पादन और गुणवत्ता में कमी फसल की रेट को नुकसान पहुंचाएंगे. जब किसान अपनी फसल को मंडियों में लेकर पहुंचेंगे तो उन्हें एमएसपी से भी कम रेट मिलेंगे. ऐसे में सरकार खेतों में हुए नुकसान के लिए कुछ मुआवजा किसान को दें, ताकि उसे कुछ राहत मिल सके.

haryana Farmers upset due to non government procurement
फरीदाबाद में मंडी में सरकारी खरीद ना होने से बढ़ी परेशानी

मेरी फसल मेरा ब्यौरा पर 500 से अधिक किसानों का रजिस्ट्रेशन है. जिसमें से सात से आठ रजिस्टर किसान मंडी में आ चुके हैं. वहीं, आगे और आने की उम्मीद है. 4750-60 के करीब अभी तक प्राइवेट खरीद हो चुकी है. वहीं, फसलों की सरकारी खरीद के लिए कुछ मापदंड निर्धारित है. जो की गुणवत्ता के आधार पर है. ऐसे में सरकारी एजेंसी हैफेड नमूनों की जांच करती है. जिसके बाद फसल की खरीद की जाती है. फिलहाल सरकारी खरीद ज्यादा ना होने के कारण फसलों में नमी होना है.

haryana Farmers upset due to non government procurement
मंडी में सरकारी खरीद ना होने से किसान परेशान.

ये भी पढ़ें: निराशा! मंडी में फसल लेकर पहुंचे किसान परेशान, इन नई मुसीबतों से होना पड़ रहा दो चार

मंडी में सरकारी खरीद ना होने से बढ़ी परेशानी.

फरीदाबाद: एक तरफ बारिश की मार दूसरी और सरकार की सरसों की खरीद न होने से किसान परेशान. फरीदाबाद में बल्लभगढ़ अनाज मंडी में सरसों की सरकारी खरीद न होने से किसानों की परेशानियां और भी बढ़ गई है. ईटीवी भारत से बातचीत में बल्लभगढ़ के किसान ने कहा कि, काफी लंबे समय से हम सरसों लेकर मंडी में आते हैं. पर हमारी सरसों की फसल सरकार नहीं खरीद रही. किसानों ने सरकार से अपील की हमारी भी फरियाद सुनो सरकार. सरसों की खरीद न होने से किसानों के चेहरों पर रोष नजर आ रहा है. किसानों ने सरकार से अपील की कि सरसों की सरकारी खरीद जल्द से जल्द करें.

बारिश की मार ने गेहूं की फसल और किसान दोनों को ही बर्बादी की कगार की ओर धकेल दिया है. तेज हवाओं के साथ आई बारिश ने गेहूं की खड़ी फसल को जमीन में लेटा गई. किसान अब बेमौसमी बारिश और अपनी किस्मत को कोस रहा है. क्योंकि गेहूं को जो दाना अभी तक हरा नजर आ रहा है, वह पकने तक सूख जाएगा. सूखे हुए दानों का सीधा असर उत्पादन और गुणवत्ता पर पड़ेगा. उत्पादन और गुणवत्ता में कमी फसल की रेट को नुकसान पहुंचाएंगे. जब किसान अपनी फसल को मंडियों में लेकर पहुंचेंगे तो उन्हें एमएसपी से भी कम रेट मिलेंगे. ऐसे में सरकार खेतों में हुए नुकसान के लिए कुछ मुआवजा किसान को दें, ताकि उसे कुछ राहत मिल सके.

haryana Farmers upset due to non government procurement
फरीदाबाद में मंडी में सरकारी खरीद ना होने से बढ़ी परेशानी

मेरी फसल मेरा ब्यौरा पर 500 से अधिक किसानों का रजिस्ट्रेशन है. जिसमें से सात से आठ रजिस्टर किसान मंडी में आ चुके हैं. वहीं, आगे और आने की उम्मीद है. 4750-60 के करीब अभी तक प्राइवेट खरीद हो चुकी है. वहीं, फसलों की सरकारी खरीद के लिए कुछ मापदंड निर्धारित है. जो की गुणवत्ता के आधार पर है. ऐसे में सरकारी एजेंसी हैफेड नमूनों की जांच करती है. जिसके बाद फसल की खरीद की जाती है. फिलहाल सरकारी खरीद ज्यादा ना होने के कारण फसलों में नमी होना है.

haryana Farmers upset due to non government procurement
मंडी में सरकारी खरीद ना होने से किसान परेशान.

ये भी पढ़ें: निराशा! मंडी में फसल लेकर पहुंचे किसान परेशान, इन नई मुसीबतों से होना पड़ रहा दो चार

Last Updated : Mar 30, 2023, 10:38 PM IST
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