चंडीगढ़: हरियाणा के डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला (Haryana Deputy CM Dushyant Chautala) ने प्रदेश के किसानों को बड़ी खुशखबरी दी है. डिप्टी सीएम ने ऐलान किया है कि हरियाणा की मंडियों में धान लेकर पहुंचने वाले किसानों को 72 घंटे की बजाय 48 घंटे में फसल भुगतान का पैसा दिया जायेगा. बता दें कि हरियाणा में धान की खरीद (Paddy Procurement In Haryana) आज से शुरू हो चुकी है. अनाज मंडी में किसान अपने धान की फसल लेकर पहुंच रहे हैं. मंडी में चारों तरफ धान की ढेरिया लगी (Paddy purchase in Haryana) हुई हैं.
48 घंटे में किसानों के खाते में आएगी रकम- दुष्यंत चौटाला ने कहा कि हरियाणा किसानों को आई-फार्म का इंतजार नहीं करना होगा, जैसे ही फसल का मंडी से एग्जिट पास बनेगा उसके 48 घंटे में किसानों को उनके खातों में पैसे आ जायेंगे. डिप्टी सीएम ने यह बात चंडीगढ़ स्थित हरियाणा निवास में राजस्व विभाग के अधिकारियों की बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत के दौरान कही है. बता दें कि हरियाणा सरकार इससे पहले सभी 22 जिलों के डीएम और एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट अफसरों को निर्देश दिए गए थे कि 72 घंटे में किसानों का पैसा उनके खाते में भेजे जाय.
यदि किसी किसान की धनराशि खाते में इस पीरियड के दौरान नहीं आ पाती है तो वह डिस्ट्रिक्ट एडमिनिस्ट्रेशन और एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट के ऑफिसर से शिकायत कर सकता है. उसका तुरंत सॉल्यूशन कराया जाएगा. इसके अलावा अधिकारियों को मंडियों में हो रही धान खरीद पर नजर रखे जाने के भी निर्देश दिए गए थे. इसके साथ ही उसका पूरा ब्यौरा तैयार कर रिपोर्ट सीनियर अफसरों को भेजने के भी निर्देश दिए गए थे.
हर जिले में तैनात किए गए डिस्ट्रिक्ट प्रभारी: हरियाणा में 400 से अधिक मंडियों में धान खरीद की व्यवस्था की गई है. सभी जिलों में प्रशासनिक सचिवों को जिला प्रभारी बनाया गया है. प्रशासनिक सूची समय-समय पर मंडियों का दौरा करेंगे. धान खरीद एमएसपी पर हो रही है या नहीं. इस पर नजर रखेंगे. मंडी में धान करने के लिए जगह है या नहीं. इसकी व्यवस्था कराने की जिम्मेदारी भी मंडी प्रभारी की होगी. धान में नमी नापने के लिए मॉइश्चर मीटर भी उपलब्ध कराया गया है.
बता दें कि इस बार हरियाणा में सरकारी धान की खरीद (Government paddy procurement in Haryana) तीन एजेंसियां करेंगी. इन एजेंसियों में डीएफसी, हैफेड और एचडब्ल्यूसी का नाम शामिल हैं. सरकार ने ग्रेड ए की धान के लिए 2060 रुपए का रेट रखा है. जबकि सामान्य धान के लिए 2040 रुपये रखी गई है. बात अगर मार्केट कमेटी की ओर से मिलने वाली सुविधाओं की करें तो मंडी में बिजली, पानी, शौचालय व किसानों के ठहरने की व्यवस्था की गई है. वहीं मार्केट सचिव ने किसानों से अपील है कि किसान अपने धान को सूखा कर लाएं और साफ करके लाएं, ताकि उन्हें किसी तरह की दिक्कत का सामना न करना पड़े.
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